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वर्ल्ड हैंडवाश डे : स्वस्थ शरीर के लिए स्वच्छ हाथों का होना जरूरी

उत्तर प्रदेश के बलरामपुर में विश्व हैंडवाश डे मनाया गया. इसमें बच्चों को हाथ धोने के फायदे के बारे में बताया गया. वहीं हाथ धोने से कैसे सुरक्षित रह सकेंगे इसके बारे में भी बताया गया.

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Published : Oct 15, 2019, 8:47 PM IST

विश्व हैंडवाश डे पर बच्चों को बताया गया हैंडवाश के फायदे.

बलरामपुर: स्वस्थ शरीर का रास्ता स्वस्थ हाथों और पेट से होकर गुजरता है क्योंकि हाथों के जरिए ही हम खाते हैं और जब पेट सही से काम करता है तो पूरा शरीर और मस्तिष्क स्वस्थ रहता है. इसी परिकल्पना के आधार पर मंगलवार को पूरी दुनिया वर्ल्ड हैंड वाश डे मना रही है. इसे मनाने के पीछे यह मकसद है कि हाथ धुलने के उन तरीकों पर काम किया जा सके और लोगों को हर बार खाने-पीने से पहले हाथ धुलने और उसे सैनिटाइज करने की प्रक्रिया को समझाया जा सके. उन्हें जागरूक बनाया जा सके, जिससे वह बीमार न हो.

विश्व हैंडवाश डे पर बच्चों को बताया गया हैंडवाश के फायदे.
मंगलवार को जिले के कई विद्यालयों में वर्ड हैंडवाश डे मनाया गया. वर्ल्ड हैंड वाश डे पर स्वास्थ्य विभाग की टीमें और स्वच्छता विभाग की टीमों ने बच्चों को हाथ धुलने की प्रक्रिया के बारे में प्रशिक्षित किया. उन्हें जानकारी दी कि कैसे हाथ धुलने से स्वस्थ शरीर और स्वस्थ मस्तिष्क को बनाया जा सकता है. विश्व हैंड वॉश के दिन जिलेभर के 2235 प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों, इंटर कॉलेजों और सभी प्राइवेट स्कूलों में पढ़ने वाले तकरीबन 6,00,000 विद्यार्थियों हाथ धुलाई के महत्व के बारे में समझाया गया.कक्षा आठ में पढ़ने वाले अश्वनी त्रिपाठी बताते हैं कि हाथ धुलने के कई फायदे हैं. हाथ धुलने के कारण साफ हाथों से कुछ भी ग्रहण किया जा सकता है. खासतौर पर खाना खाने से पहले हाथों की धुलाई बहुत जरूरी है, अगर ऐसा होता है तो बीमारियां नहीं होती हैं.

इसे भी पढ़ें- गोरखपुर: सरकारी अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों की कमी, स्वास्थ्य सेवाएं खस्ता हाल

वहीं, इस बारे में इशावस्यम एजुकेशनल एकेडमी के प्रबंधक बताते हैं कि माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की तरफ से मंगलवार को निर्देशित किया गया था कि सभी स्कूलों में हैंडवाश डे मनाया जाए और बच्चों को स्वास्थ्य विभाग की टीमों के साथ हाथ धुलाई की प्रक्रिया के बारे में जागरूक करने का काम किया जाए. हमने बच्चों को हाथ धुलाई के महत्व के बारे में प्रेरित करने का काम किया है. वहीं बच्चे साफ हाथों से कुछ भी खाने पीने की चीजें ग्रहण करेंगे तो उन्हें छोटी-मोटी बीमारियां नहीं छू सकेंगी, जिससे वह स्वस्थ रहकर एक स्वस्थ समाज के निर्माण में अपना सहयोग कर सकेंगे.

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तुलसीपुर के प्रभारी डॉ. सुमन सिंह चौहान बताते हैं कि स्वास्थ्य विभाग और स्वच्छता विभाग की टीमों की ओर से लगातार हाथ धुलाई के महत्व के बारे में गर्भवती महिलाओं से लेकर बच्चों तक को प्रशिक्षित किया जाता है. इसमें हमारी आशा, संगीनी, एएनएम और डॉक्टरों की टीम काम करती है, लेकिन मंदलवार को वर्ल्ड हैंड वाश डे के मौके पर जिले भर में तमाम तरह के कार्यक्रम आयोजित किए गए. इसका मकसद यह है कि बच्चों को बड़ों को भी हाथ धुलाई के महत्व के बारे में जानकारी दी जा सके और उन्हें जागरूक बनाकर स्वच्छ हाथों से कुछ भी खाने-पीने के लिए प्रेरित किया जा सके.

बलरामपुर: स्वस्थ शरीर का रास्ता स्वस्थ हाथों और पेट से होकर गुजरता है क्योंकि हाथों के जरिए ही हम खाते हैं और जब पेट सही से काम करता है तो पूरा शरीर और मस्तिष्क स्वस्थ रहता है. इसी परिकल्पना के आधार पर मंगलवार को पूरी दुनिया वर्ल्ड हैंड वाश डे मना रही है. इसे मनाने के पीछे यह मकसद है कि हाथ धुलने के उन तरीकों पर काम किया जा सके और लोगों को हर बार खाने-पीने से पहले हाथ धुलने और उसे सैनिटाइज करने की प्रक्रिया को समझाया जा सके. उन्हें जागरूक बनाया जा सके, जिससे वह बीमार न हो.

विश्व हैंडवाश डे पर बच्चों को बताया गया हैंडवाश के फायदे.
मंगलवार को जिले के कई विद्यालयों में वर्ड हैंडवाश डे मनाया गया. वर्ल्ड हैंड वाश डे पर स्वास्थ्य विभाग की टीमें और स्वच्छता विभाग की टीमों ने बच्चों को हाथ धुलने की प्रक्रिया के बारे में प्रशिक्षित किया. उन्हें जानकारी दी कि कैसे हाथ धुलने से स्वस्थ शरीर और स्वस्थ मस्तिष्क को बनाया जा सकता है. विश्व हैंड वॉश के दिन जिलेभर के 2235 प्राथमिक और उच्च प्राथमिक विद्यालयों, इंटर कॉलेजों और सभी प्राइवेट स्कूलों में पढ़ने वाले तकरीबन 6,00,000 विद्यार्थियों हाथ धुलाई के महत्व के बारे में समझाया गया.कक्षा आठ में पढ़ने वाले अश्वनी त्रिपाठी बताते हैं कि हाथ धुलने के कई फायदे हैं. हाथ धुलने के कारण साफ हाथों से कुछ भी ग्रहण किया जा सकता है. खासतौर पर खाना खाने से पहले हाथों की धुलाई बहुत जरूरी है, अगर ऐसा होता है तो बीमारियां नहीं होती हैं.

इसे भी पढ़ें- गोरखपुर: सरकारी अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों की कमी, स्वास्थ्य सेवाएं खस्ता हाल

वहीं, इस बारे में इशावस्यम एजुकेशनल एकेडमी के प्रबंधक बताते हैं कि माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की तरफ से मंगलवार को निर्देशित किया गया था कि सभी स्कूलों में हैंडवाश डे मनाया जाए और बच्चों को स्वास्थ्य विभाग की टीमों के साथ हाथ धुलाई की प्रक्रिया के बारे में जागरूक करने का काम किया जाए. हमने बच्चों को हाथ धुलाई के महत्व के बारे में प्रेरित करने का काम किया है. वहीं बच्चे साफ हाथों से कुछ भी खाने पीने की चीजें ग्रहण करेंगे तो उन्हें छोटी-मोटी बीमारियां नहीं छू सकेंगी, जिससे वह स्वस्थ रहकर एक स्वस्थ समाज के निर्माण में अपना सहयोग कर सकेंगे.

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तुलसीपुर के प्रभारी डॉ. सुमन सिंह चौहान बताते हैं कि स्वास्थ्य विभाग और स्वच्छता विभाग की टीमों की ओर से लगातार हाथ धुलाई के महत्व के बारे में गर्भवती महिलाओं से लेकर बच्चों तक को प्रशिक्षित किया जाता है. इसमें हमारी आशा, संगीनी, एएनएम और डॉक्टरों की टीम काम करती है, लेकिन मंदलवार को वर्ल्ड हैंड वाश डे के मौके पर जिले भर में तमाम तरह के कार्यक्रम आयोजित किए गए. इसका मकसद यह है कि बच्चों को बड़ों को भी हाथ धुलाई के महत्व के बारे में जानकारी दी जा सके और उन्हें जागरूक बनाकर स्वच्छ हाथों से कुछ भी खाने-पीने के लिए प्रेरित किया जा सके.

Intro:स्वस्थ शरीर का रास्ता स्वस्थ हाथों और पेट से होकर गुजरता है। क्योंकि हाथों के जरिए ही हम खाते हैं और जब पेट सही से काम करता है तो पूरा शरीर और मस्तिष्क स्वस्थ रहता है। इसी परिकल्पना के आधार पर आज पूरी दुनिया वर्ल्ड हैंड वाश डे मना रही है। इसे मनाने के पीछे मकसद यह है कि हाथ धुलने के उन तरीकों पर काम किया जा सके और लोगों को हर बार खाने पीने से पहले हाथ धुलने और उसे सैनिटाइज करने की प्रक्रिया को समझाया जा सके। उन्हें जागरूक बनाया जा सके, जिससे वह बीमार ना हो।


Body:आज बलरामपुर जिले के कई विद्यालयों में वर्ड हैंडवाश डे मनाया गया। वर्ल्ड हैंड वाश डे पर स्वास्थ्य विभाग की टीमें और स्वच्छता विभाग की टीमों ने बच्चों को हाथ धुलने की प्रक्रिया के बारे में प्रशिक्षित किया। उन्हें जानकारी दी कि कैसे हाथ धुलने से स्वस्थ शरीर और स्वस्थ मस्तिष्क को बनाया जा सकता है।
विश्व हैंड वॉश के दिन जिलेभर के 2235 प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों, इंटर कॉलेजों व सभी प्राइवेट स्कूलों में पढ़ने वाले तकरीबन 6,00,000 विद्यार्थियों हाथ धुलाई के महत्व के बारे में समझाया गया।


Conclusion:कक्षा आठ में पढ़ने वाले अश्वनी त्रिपाठी बताते हैं कि हाथ धुलने के कई फायदे हैं। हाथ धुलने के कारण साफ हाथों से कुछ भी ग्रहण करता है। खासतौर पर खाना खाने से पहले हाथों की धुलाई बहुत जरूरी है। यदि ऐसा होता है तो बीमारियां नहीं होती हैं।
वही, इस बारे में इशावस्यम एजुकेशनल एकेडमी के प्रबंधक अक्षत पांडे बताते हैं कि माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की तरफ से आज निर्देशित किया गया था कि सभी स्कूलों में हैंडवाश डे मनाया जाए और बच्चों को स्वास्थ्य विभाग की टीमों के साथ हाथ धुलाई की प्रक्रिया के बारे में जागरूक करने का काम किया जाए। हमने बच्चों को हाथ धुलाई के महत्व के बारे में प्रेरित करने का काम किया है। यदि बच्चे साफ हाथों से कुछ भी खाने पीने की चीजें ग्रहण करेंगे तो उन्हें छोटी मोटी बीमारियां नहीं छू सकेंगे। जिससे वह स्वस्थ रहकर एक स्वस्थ समाज के निर्माण में अपना सहयोग कर सकेंगे।
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तुलसीपुर के प्रभारी डॉ सुमन सिंह चौहान बताते हैं कि स्वास्थ्य विभाग और स्वच्छता विभाग की टीमों द्वारा लगातार हाथ धुलाई के महत्व के बारे में गर्भवती महिलाओं से लेकर बच्चों तक को प्रशिक्षित किया जाता है। जिसमें हमारी आशा, संगीनी, एएनएम व डॉक्टरों की टीम काम करती है। लेकिन आज वर्ल्ड हैंड वाश डे के मौके पर जिले भर में तमाम तरह के कार्यक्रम आयोजित किए गए। इसका मकसद यह है कि बच्चों को बड़ों को भी हाथ धुलाई के महत्व के बारे में जानकारी दी जा सके और उन्हें जागरूक बनाकर स्वच्छ हाथों से कुछ भी खाने-पीने के लिए प्रेरित किया जा सके।
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