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मुस्लिम महिलाओं को मिले बुर्के से आजादी: राज्यमंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल

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Published : Mar 25, 2021, 12:56 PM IST

उत्तर प्रदेश के संसदीय कार्य राज्य मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने के बयान के बाद मुस्लिम महिलाओं के बुर्के वाले पहनावे को लेकर विवादास्पद बयान दिया है. उन्होंने ने कहा कि मुस्लिम महिलाओं का पहनावा बुर्का उनके साथ अमानवीय व्यवहार और कुप्रथा है.

मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल.
मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल.

बलिया: योगी सरकार के मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल एक बार फिर अपने बयान को लेकर चर्चा में आ गए हैं. मस्जिदों में बजने वाले लाउडस्पीकर पर आपत्ति जताने के बाद अब बुर्के को लेकर उनका विवादित बयान सामने आया है. गुरुवार को एक बार फिर राज्य मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ला ने एक बयान जारी कर बुर्के को कुप्रथा करार बताते हुए कहा कि मुस्लिम महिलाओं को बुर्का पहनाना उनके साथ अमानवीय व्यवहार और आजादी छीनने वाली कुप्रथा है.

मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल.

इसे भी पढ़ें-राज्यमंत्री ने मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाने के लिए जिला अधिकारी को लिखा पत्र

तीन तलाक की तर्ज पर बुर्के से मिले मुक्ति
राज्य मंत्री ने कहा कि सभी को वस्त्र पहनने का एक समान अधिकार होना चाहिए. किसी को भी धार्मिक और रुढ़िवादी परतंत्रता का आधीन नहीं होना चाहिए. सभी को अपने हिसाब से वस्त्र पहनने का अधिकार मिलना चाहिए. उन्होंने कहा कि जिस प्रकार केंद्र सरकार तीन तलाक की बेड़ियों में जकड़ी मुस्लिम महिलाओं की आजादी के लिए आगे आई थी, ठीक उसी प्रकार महिलाओं को वस्त्र पहने की स्वतंत्रता दिलाने के लिए सरकार को आगे आना होगा.

इसे भी पढ़ें-राज्यमंत्री के समर्थन में भाजपा, कहा-जब लाउडस्पीकर नहीं था तब भी होती थी अजान

देश में तीन तलाक की तर्ज पर मुस्लिम महिलाओं को बुर्के से भी मुक्ति दिलाई जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि चीन, श्रीलंका समेत अन्य विकसित देशों से बुर्का हटाने की प्रथा के लिए प्रयास चल रहा है. विकसित सोच वाले लोग न ही बुर्का पहन रहे हैं और न ही इसे बढ़ावा दे रहे हैं.

बलिया: योगी सरकार के मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल एक बार फिर अपने बयान को लेकर चर्चा में आ गए हैं. मस्जिदों में बजने वाले लाउडस्पीकर पर आपत्ति जताने के बाद अब बुर्के को लेकर उनका विवादित बयान सामने आया है. गुरुवार को एक बार फिर राज्य मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ला ने एक बयान जारी कर बुर्के को कुप्रथा करार बताते हुए कहा कि मुस्लिम महिलाओं को बुर्का पहनाना उनके साथ अमानवीय व्यवहार और आजादी छीनने वाली कुप्रथा है.

मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल.

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तीन तलाक की तर्ज पर बुर्के से मिले मुक्ति
राज्य मंत्री ने कहा कि सभी को वस्त्र पहनने का एक समान अधिकार होना चाहिए. किसी को भी धार्मिक और रुढ़िवादी परतंत्रता का आधीन नहीं होना चाहिए. सभी को अपने हिसाब से वस्त्र पहनने का अधिकार मिलना चाहिए. उन्होंने कहा कि जिस प्रकार केंद्र सरकार तीन तलाक की बेड़ियों में जकड़ी मुस्लिम महिलाओं की आजादी के लिए आगे आई थी, ठीक उसी प्रकार महिलाओं को वस्त्र पहने की स्वतंत्रता दिलाने के लिए सरकार को आगे आना होगा.

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देश में तीन तलाक की तर्ज पर मुस्लिम महिलाओं को बुर्के से भी मुक्ति दिलाई जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि चीन, श्रीलंका समेत अन्य विकसित देशों से बुर्का हटाने की प्रथा के लिए प्रयास चल रहा है. विकसित सोच वाले लोग न ही बुर्का पहन रहे हैं और न ही इसे बढ़ावा दे रहे हैं.

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