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UP Assembly Election 2022: तब बिसौली के लोगों ने चुना था युवा प्रतिनिधि, लेकिन अबकी भाजपा-सपा में तय है मुकाबला

वर्तमान में बिसौली (112) विधानसभा सीट पर भाजपा का कब्जा होने के बावजूद यहां समाजवादी पार्टी की स्थिति बेहतर नजर आ रही है. यही कारण है कि अबकी यहां भाजपा और सपा के बीच ही मुकाबला तय माना जा रहा है. लेकिन सबसे अहम बात यह है कि इस सीट पर उसी पार्टी के प्रत्याशी की जीत सुनिश्चित होती है, जिसकी सरकार बननी होती है. यानी यहां के मतदाता सूबे की सियासी फिजां को पहले ही भांप लेते हैं.

बिसौली (112) विधानसभा सीट
बिसौली (112) विधानसभा सीट
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Published : Oct 6, 2021, 10:40 AM IST

बदायूं: बदायूं की बिसौली (112) (Bisauli assembly) विधानसभा सीट जिले की एकमात्र आरक्षित विधानसभा सीट है. वर्तमान में बिसौली विधानसभा से भाजपा के कुशाग्र सागर (BJP MLA Kushagra Sagar) विधायक हैं. यह विधानसभा सीट इस वजह से भी महत्वपूर्ण है कि यहां से जीते विधायक योगी सरकार में सबसे कम उम्र के विधायक हैं. हालांकि, 2007 के विधानसभा चुनाव में कद्दावर नेता डीपी यादव की पत्नी उमलेश यादव यहां से चुनाव जीती थी.

बिसौली नगर बदायूं से करीब 40 किलोमीटर दूर मुरादाबाद राजमार्ग पर पड़ता है. इस विधानसभा क्षेत्र के कई गांवों के बहु प्रतीक्षित गंगा एक्सप्रेस-वे के मार्ग में आने के कारण वर्तमान सरकार ने वहां के किसानों की जमीनों का अधिग्रहण भी किया है. वहीं, बिसौली विधानसभा क्षेत्र हमेशा से ही अपनी गंगा-जमुनी तहजीब को जाना जाता रहा है.

साल 2012 के चुनाव में बिसौली क्षेत्र अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित कर दिया गया था और यहां से समाजवादी पार्टी के आशुतोष मौर्या उर्फ राजू करीब 43 हजार वोटों से चुनाव जीते थे. वहीं, बात अगर 2017 के विधानसभा चुनाव की करें तो भाजपा के सबसे कम उम्र के विधायक कुशाग्र सागर को यहां से सफलता मिली थी और उन्होंने करीब 11 हजार वोटों से जीत दर्ज की थी. वर्तमान में कुशाग्र सागर यूपी विधानसभा में सबसे कम उम्र के विधायक हैं.

इसे भी पढ़ें - UP Assembly Election 2022 : मऊ जिले की मधुबन विधानसभा-353 का डेमोग्राफी

क्षेत्र की समस्या

  • बिसौली कस्बे से भारी वाहनों के गुजरने के कारण यहां हमेशा जाम की स्थिति बनी रहती है, जिसके कारण यहां के लोगों को खासा परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
  • यहां की मुख्य मांग बाईपास की रही है. साथ ही बिसौली में एक शुगर मिल भी है, लेकिन गन्ने का भुगतान समय से न हो पाने के कारण किसानों की यहां बदहाली के हालात बने रहते हैं.

कुल मतदाता

  • बिसौली विधानसभा (112) में कुल मतदाताओं की संख्या करीब 3,93,750 है.
  • इसमें पुरुष मतदाताओं की संख्या 2,13,905 और महिला मतदाताओं की संख्या 1,79,830 है.

क्षेत्र की जातिगत समीकरण

बिसौली विधानसभा क्षेत्र में यादव, शाक्य, ब्राह्मण और दलित वोटरों की आबादी में कुछ खास अंतर नहीं है. इस सीट का इतिहास यही कहता है कि जिस दल की सूबे में सत्ता रहती है. उसी का बिसौली से विधायक चुना जाता है. 2007 में इस सीट से कद्दावर नेता डीपी यादव की पत्नी उमलेश यादव विधायक थी. वहीं, 2012 में जब समाजवादी पार्टी की सरकार बनी तो पार्टी के वरिष्ठ नेता आशुतोष मौर्य बिसौली से विधायक बने और 2017 में भाजपा सरकार में कुशाग्र सागर यहां से सबसे कम उम्र के विधायक चुने गए.

बात अगर 2022 के आगामी विधानसभा चुनाव की करें तो इस बार भी बिसौली विधानसभा सीट पर समाजवादी पार्टी और भाजपा के बीच मुकाबले की उम्मीद है. वहीं, कांग्रेस, बसपा, आम आदमी पार्टी और निर्दलीय यहां प्रत्याशी यहां जीत और हार का समीकरण बिगाड़ने का काम करेंगे.

बदायूं: बदायूं की बिसौली (112) (Bisauli assembly) विधानसभा सीट जिले की एकमात्र आरक्षित विधानसभा सीट है. वर्तमान में बिसौली विधानसभा से भाजपा के कुशाग्र सागर (BJP MLA Kushagra Sagar) विधायक हैं. यह विधानसभा सीट इस वजह से भी महत्वपूर्ण है कि यहां से जीते विधायक योगी सरकार में सबसे कम उम्र के विधायक हैं. हालांकि, 2007 के विधानसभा चुनाव में कद्दावर नेता डीपी यादव की पत्नी उमलेश यादव यहां से चुनाव जीती थी.

बिसौली नगर बदायूं से करीब 40 किलोमीटर दूर मुरादाबाद राजमार्ग पर पड़ता है. इस विधानसभा क्षेत्र के कई गांवों के बहु प्रतीक्षित गंगा एक्सप्रेस-वे के मार्ग में आने के कारण वर्तमान सरकार ने वहां के किसानों की जमीनों का अधिग्रहण भी किया है. वहीं, बिसौली विधानसभा क्षेत्र हमेशा से ही अपनी गंगा-जमुनी तहजीब को जाना जाता रहा है.

साल 2012 के चुनाव में बिसौली क्षेत्र अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित कर दिया गया था और यहां से समाजवादी पार्टी के आशुतोष मौर्या उर्फ राजू करीब 43 हजार वोटों से चुनाव जीते थे. वहीं, बात अगर 2017 के विधानसभा चुनाव की करें तो भाजपा के सबसे कम उम्र के विधायक कुशाग्र सागर को यहां से सफलता मिली थी और उन्होंने करीब 11 हजार वोटों से जीत दर्ज की थी. वर्तमान में कुशाग्र सागर यूपी विधानसभा में सबसे कम उम्र के विधायक हैं.

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क्षेत्र की समस्या

  • बिसौली कस्बे से भारी वाहनों के गुजरने के कारण यहां हमेशा जाम की स्थिति बनी रहती है, जिसके कारण यहां के लोगों को खासा परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
  • यहां की मुख्य मांग बाईपास की रही है. साथ ही बिसौली में एक शुगर मिल भी है, लेकिन गन्ने का भुगतान समय से न हो पाने के कारण किसानों की यहां बदहाली के हालात बने रहते हैं.

कुल मतदाता

  • बिसौली विधानसभा (112) में कुल मतदाताओं की संख्या करीब 3,93,750 है.
  • इसमें पुरुष मतदाताओं की संख्या 2,13,905 और महिला मतदाताओं की संख्या 1,79,830 है.

क्षेत्र की जातिगत समीकरण

बिसौली विधानसभा क्षेत्र में यादव, शाक्य, ब्राह्मण और दलित वोटरों की आबादी में कुछ खास अंतर नहीं है. इस सीट का इतिहास यही कहता है कि जिस दल की सूबे में सत्ता रहती है. उसी का बिसौली से विधायक चुना जाता है. 2007 में इस सीट से कद्दावर नेता डीपी यादव की पत्नी उमलेश यादव विधायक थी. वहीं, 2012 में जब समाजवादी पार्टी की सरकार बनी तो पार्टी के वरिष्ठ नेता आशुतोष मौर्य बिसौली से विधायक बने और 2017 में भाजपा सरकार में कुशाग्र सागर यहां से सबसे कम उम्र के विधायक चुने गए.

बात अगर 2022 के आगामी विधानसभा चुनाव की करें तो इस बार भी बिसौली विधानसभा सीट पर समाजवादी पार्टी और भाजपा के बीच मुकाबले की उम्मीद है. वहीं, कांग्रेस, बसपा, आम आदमी पार्टी और निर्दलीय यहां प्रत्याशी यहां जीत और हार का समीकरण बिगाड़ने का काम करेंगे.

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