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बदायूं में खाद की समस्या से जूझ रहे किसान, डीएम बोले- पर्याप्त है स्टॉक - खाद समस्या

उत्तर प्रदेश के बदायूं में किसान लगातार खाद की समस्या से जूझ रहे हैं. किसानों का आरोप है कि खाद बिचौलिए के माध्यम से सेल जा रही है. मार्केट में खाद ओवर रेट पर दी जा रही है. वहीं डीएम का कहना है कि खाद का पर्याप्त स्टॉक है.

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खाद की समस्या से परेशान बंदायू के किसान.
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Published : Aug 18, 2020, 8:14 PM IST

बदायूं: जिले में किसान लगातार खाद की समस्या से जूझ रहे हैं. किसानों को भरपूर खाद नहीं मिल पा रही है. वहीं खाद क्रय केंद्रों पर लगातार बिचौलिए हावी हैं. किसानों का आरोप है कि दलालों के माध्यम से खाद आसानी से मिल जाती है और मार्केट में खाद ओवर रेट पर बेची जा रही है, जिसकी कीमत 350 से लेकर 370 रुपये तक है. किसानों को खाद न मिल पाने की वजह से फसल को लगातार नुकसान हो रहा है. साथ ही खाद केंद्रों पर सोशल डिस्टेंसिंग की भी धज्जियां उड़ रही हैं. वहीं डीएम का कहना है कि जिले में खाद का पर्याप्त स्टॉक है.

खाद की समस्या से परेशान बंदायू के किसान.

किसानों को नहीं मिल रही खाद
डीएम कुमार प्रशांत के निर्देश के बावजूद भी खाद केंद्रों पर बिचौलिए हावी हैं. लगातार किसान इसकी समस्याओं का सामना कर रहे हैं. किसानों को खाद क्रय केंद्रों पर नहीं मिल पा रही है. किसानों ने आरोप लगाया कि केंद्रों पर खाद तो भरपूर है, लेकिन खाद क्रय केंद्र प्रभारी किसानों को अपने तरीके से खाद वितरण कर रहे हैं, जबकि सुबह चार बजे से खाद केंद्रों पर लाइन लग जाती है. उसके बावजूद भी किसानों को खाद नहीं मिल पाती है.

किसानों का कहना है कि क्रय केंद्रों पर खाद माफिया हावी हैं, जो लोग उन बिचौलिए से सेटिंग करते हैं, उन्हें खाद आसानी से उपलब्ध हो जाती हैं और किसानों को नहीं मिलती है. किसान सुबह 4 बजे से लाइन में खड़े होकर खाद का इंतजार करते हैं, उन्हें खाद नहीं मिल पा रही है. वहीं खाद की दुकानों पर खाद को ओवर रेट पर बेचा जा रहा है.

उड़ रही सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां
किसानों ने जानकारी देते हुए बताया कि खाद की एक बोरी के लिए 350 रुपये से लेकर 370 रुपये तक देना पड़ता है, जबकि खाद का सरकारी मूल्य 270 रुपये है. यूरिया की किल्लत ने किसान का कोरोना का डर भी खत्म कर दिया है. केन्द्रों पर भीड़ इतनी है कि सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ रही हैं.

डीएम ने बताया
वहीं डीएम कुमार प्रशांत ने जानकारी देते हुए बताया कि जिले में कहीं भी खाद की किल्लत नहीं है. खाद भारी मात्रा में हमें उपलब्ध हुई है. किसानों को डिस्ट्रीब्यूट हो रही है. कई केंद्रों पर समस्या यह आ रही है कि खाद पोस मशीन से वितरण की जा रही है, उसमें नेटवर्क प्रॉब्लम की वजह से खाद वितरण में देरी हो रही है. वितरण की समस्या को देखते हुए खाद क्रय केंद्रों पर पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगा दी गई है, जिससे किसानों को कोई समस्या न हो. इसके बावजूद भी अगर कहीं किसान भाइयों को कोई समस्या उत्पन्न होती है, तो जिला कृषि अधिकारी से संपर्क कर शिकायत दर्ज करा सकते हैं, उनकी समस्या का तुरंत समाधान किया जाएगा.

बदायूं: जिले में किसान लगातार खाद की समस्या से जूझ रहे हैं. किसानों को भरपूर खाद नहीं मिल पा रही है. वहीं खाद क्रय केंद्रों पर लगातार बिचौलिए हावी हैं. किसानों का आरोप है कि दलालों के माध्यम से खाद आसानी से मिल जाती है और मार्केट में खाद ओवर रेट पर बेची जा रही है, जिसकी कीमत 350 से लेकर 370 रुपये तक है. किसानों को खाद न मिल पाने की वजह से फसल को लगातार नुकसान हो रहा है. साथ ही खाद केंद्रों पर सोशल डिस्टेंसिंग की भी धज्जियां उड़ रही हैं. वहीं डीएम का कहना है कि जिले में खाद का पर्याप्त स्टॉक है.

खाद की समस्या से परेशान बंदायू के किसान.

किसानों को नहीं मिल रही खाद
डीएम कुमार प्रशांत के निर्देश के बावजूद भी खाद केंद्रों पर बिचौलिए हावी हैं. लगातार किसान इसकी समस्याओं का सामना कर रहे हैं. किसानों को खाद क्रय केंद्रों पर नहीं मिल पा रही है. किसानों ने आरोप लगाया कि केंद्रों पर खाद तो भरपूर है, लेकिन खाद क्रय केंद्र प्रभारी किसानों को अपने तरीके से खाद वितरण कर रहे हैं, जबकि सुबह चार बजे से खाद केंद्रों पर लाइन लग जाती है. उसके बावजूद भी किसानों को खाद नहीं मिल पाती है.

किसानों का कहना है कि क्रय केंद्रों पर खाद माफिया हावी हैं, जो लोग उन बिचौलिए से सेटिंग करते हैं, उन्हें खाद आसानी से उपलब्ध हो जाती हैं और किसानों को नहीं मिलती है. किसान सुबह 4 बजे से लाइन में खड़े होकर खाद का इंतजार करते हैं, उन्हें खाद नहीं मिल पा रही है. वहीं खाद की दुकानों पर खाद को ओवर रेट पर बेचा जा रहा है.

उड़ रही सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां
किसानों ने जानकारी देते हुए बताया कि खाद की एक बोरी के लिए 350 रुपये से लेकर 370 रुपये तक देना पड़ता है, जबकि खाद का सरकारी मूल्य 270 रुपये है. यूरिया की किल्लत ने किसान का कोरोना का डर भी खत्म कर दिया है. केन्द्रों पर भीड़ इतनी है कि सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ रही हैं.

डीएम ने बताया
वहीं डीएम कुमार प्रशांत ने जानकारी देते हुए बताया कि जिले में कहीं भी खाद की किल्लत नहीं है. खाद भारी मात्रा में हमें उपलब्ध हुई है. किसानों को डिस्ट्रीब्यूट हो रही है. कई केंद्रों पर समस्या यह आ रही है कि खाद पोस मशीन से वितरण की जा रही है, उसमें नेटवर्क प्रॉब्लम की वजह से खाद वितरण में देरी हो रही है. वितरण की समस्या को देखते हुए खाद क्रय केंद्रों पर पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगा दी गई है, जिससे किसानों को कोई समस्या न हो. इसके बावजूद भी अगर कहीं किसान भाइयों को कोई समस्या उत्पन्न होती है, तो जिला कृषि अधिकारी से संपर्क कर शिकायत दर्ज करा सकते हैं, उनकी समस्या का तुरंत समाधान किया जाएगा.

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