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आजमगढ़: दीपों का लगा अनोखा मेला, गरीबों का घर रोशन करेंगी स्वयंसेवी संस्थाएं

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Published : Oct 25, 2019, 5:08 PM IST

उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ जिले में स्वयंसेवी संस्था द्वारा पिछले तीन सालों से दीपावली पर नि:शुल्क स्टॉल लगाए जाते हैं. इस स्टॉल में कुम्हार दीयों और खिलौनों को उचित मूल्यों पर बेचकर मुनाफा कमाते हैं.

स्वयंसेवी संस्था द्वारा लगाया गया दीपों का मेला

आजमगढ़: जनपद के चौधरी गेस्ट हाउस में एक अनोखा दीपों का मेला लगा हुआ है. इस दीप मेले की सबसे खास बात यह है कि स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा लगाए गए इस मेले में गरीबों को एक नि:शुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है, जिससे वे वहां अपने उत्पाद बेचकर मुनाफा कमा सकें.

स्वयंसेवी संस्था द्वारा लगाया गया दीपों का मेला.

कुम्हार हुए खुश
ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए स्वयंसेवी अनीता द्विवेदी का कहना है कि हम लोगों का उद्देश्य है कि जितने भी गांव में गरीब कुम्हार हैं वे लोग अपने प्रोडक्ट को बेच सकें. दीयों की सही कीमत गांव में नहीं मिल पाती है, जो कीमत शहर में मिल जाती है. इसी कारण इन गरीबों को एक नि:शुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है, जहां वह अपने द्वारा बनाए गए उत्पादों को बेचकर मुनाफा कमा सकें.

इसे भी पढ़ें:- हाथ की कारीगरी हुई बेजार, 2 वक्त की रोटी के लिए मशक्कत कर रहे कुम्हार

नि:शुल्क स्टॉल लगाकर लोगों की कर रहीं सेवा
अनीता द्विवेदी का कहना है कि विगत 3 वर्षों से गरीबों के लिए नि:शुल्क स्टॉल लगाया जाता है और गरीबों की सेवा करना हम लोगों को अच्छा लगता है. गरीबों का त्यौहार भी हम ही लोगों से है या लोग खुद अपना सामान बनाते हैं और खुद ही स्टॉल लगाकर बेजते हैं. सभी स्वयंसेवी संस्थाओं से अपील करते हुए उन्होंने कहा कि सभी स्वयंसेवी संस्थाओं को गरीबों की सेवा करना चाहिए और उन्हें प्लेटफार्म उपलब्ध कराना चाहिए.

जानिए महिला कुम्हार ने क्या कहा
कुम्हार ज्ञानमती प्रजापति का कहना है कि निश्चित रूप से जिस तरह से नि:शुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है, हम लोगों को फायदा हो रहा है. ज्ञानवती का कहना है कि गांव में हमारे सामानों की बिक्री नहीं हो पाती थी और हम लोगों को वह मुनाफा भी नहीं मिल पाता था, लेकिन अब जब शहर में हमारे स्टॉक लग चुके हैं. निश्चित रूप से 2000 रुपये से ज्यादा का मुनाफा एक दिन में हम लोग कमा रहे हैं.

आजमगढ़: जनपद के चौधरी गेस्ट हाउस में एक अनोखा दीपों का मेला लगा हुआ है. इस दीप मेले की सबसे खास बात यह है कि स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा लगाए गए इस मेले में गरीबों को एक नि:शुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है, जिससे वे वहां अपने उत्पाद बेचकर मुनाफा कमा सकें.

स्वयंसेवी संस्था द्वारा लगाया गया दीपों का मेला.

कुम्हार हुए खुश
ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए स्वयंसेवी अनीता द्विवेदी का कहना है कि हम लोगों का उद्देश्य है कि जितने भी गांव में गरीब कुम्हार हैं वे लोग अपने प्रोडक्ट को बेच सकें. दीयों की सही कीमत गांव में नहीं मिल पाती है, जो कीमत शहर में मिल जाती है. इसी कारण इन गरीबों को एक नि:शुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है, जहां वह अपने द्वारा बनाए गए उत्पादों को बेचकर मुनाफा कमा सकें.

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नि:शुल्क स्टॉल लगाकर लोगों की कर रहीं सेवा
अनीता द्विवेदी का कहना है कि विगत 3 वर्षों से गरीबों के लिए नि:शुल्क स्टॉल लगाया जाता है और गरीबों की सेवा करना हम लोगों को अच्छा लगता है. गरीबों का त्यौहार भी हम ही लोगों से है या लोग खुद अपना सामान बनाते हैं और खुद ही स्टॉल लगाकर बेजते हैं. सभी स्वयंसेवी संस्थाओं से अपील करते हुए उन्होंने कहा कि सभी स्वयंसेवी संस्थाओं को गरीबों की सेवा करना चाहिए और उन्हें प्लेटफार्म उपलब्ध कराना चाहिए.

जानिए महिला कुम्हार ने क्या कहा
कुम्हार ज्ञानमती प्रजापति का कहना है कि निश्चित रूप से जिस तरह से नि:शुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है, हम लोगों को फायदा हो रहा है. ज्ञानवती का कहना है कि गांव में हमारे सामानों की बिक्री नहीं हो पाती थी और हम लोगों को वह मुनाफा भी नहीं मिल पाता था, लेकिन अब जब शहर में हमारे स्टॉक लग चुके हैं. निश्चित रूप से 2000 रुपये से ज्यादा का मुनाफा एक दिन में हम लोग कमा रहे हैं.

Intro:anchor:आजमगढ़। आजमगढ़ जनपद के चौधरी गेस्ट हाउस में एक अनोखा दीपों का मेला लगा हुआ है। इस दीप मेला की सबसे खास बात यह है कि स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा लगाए गए इस मेले में गरीबों को एक निशुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है जिससे वहां अपने उत्पाद बेचकर मुनाफा कमा सकें।


Body:वीओ: 1 ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए स्वयंसेवी अनीता द्विवेदी का कहना है कि हम लोगों का उद्देश्य है कि जितने भी गांव गरीब के कुंभकार हैं उनके प्रोडक्ट को वह कीमत गांव में नहीं मिल पाती है जो कीमत शहर में मिलती है इसी कारण से इन गरीबों को एक निशुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है जहां वह अपने द्वारा बनाए गए उत्पादों को बेचकर मुनाफा कमा सकें। अनीता द्विवेदी का कहना है कि विगत 3 वर्षों से गरीबों के लिए निशुल्क स्टाल लगाया जाता है और गरीबों की सेवा करना हम लोगों को अच्छा लगता है क्योंकि गरीबों का त्यौहार भी हम ही लोगों से है या लोग खुद अपना सामान बनाते हैं और खुद ही स्टाल लगाकर भेजते हैं। सभी स्वयंसेवी संस्थाओं से अपील करते हुए उन्होंने कहा कि सभी स्वयंसेवी संस्थाओं को गरीबों की सेवा करना चाहिए और उन्हें प्लेटफार्म उपलब्ध कराना चाहिए। अपना सामान बेचने आए ज्ञानमती प्रजापति का कहना है कि निश्चित रूप से जिस तरह से निशुल्क प्लेटफार्म उपलब्ध कराया गया है हम लोगों को फायदा हो रहा है ज्ञानवती का कहना है कि गांव में हमारे सामानों की बिक्री नहीं हो पाती थी और हम लोगों को वह मुनाफा भी नहीं मिल पाता था लेकिन अब जब शहर में हमारे स्टार लग चुके हैं निश्चित रूप से ₹2000 से ज्यादा का मुनाफा एक दिन में हम लोग कमा रहे हैं।


Conclusion:बाइट: अनीता द्विवेदी समाजसेवी
बाइट: ज्ञानमती प्रजापति कुंभकार
अजय कुमार मिश्रा आजमगढ़ 9453766900

बताते चलें कि आजमगढ़ जनपद की कुछ स्वयंसेवी संस्थाओं ने शहर से दूर गांव में रहने वाले कुंभ कारों को आजमगढ़ जिला मुख्यालय में एक प्लेटफार्म उपलब्ध कराया है जहां से वह अपने द्वारा बनाए गए उत्पादों को बेच सकें। स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा शुरू किए गए इस प्रयोग का फायदा निश्चित रूप से गांव के रहने वाले कुंभ कारों को मिलता दिख रहा है और बड़ी मात्रा में मुनाफा भी कमा रहे हैं।
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