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बोले दिनेश चन्द्र- मंदिर निर्माण तक रहेगी विहिप की भूमिका, निर्मोही अखाड़े की देखरेख में होगी पूजा

अयोध्या भूमि विवाद पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद अब राम मंदिर निर्माण को लेकर चर्चा शुरू हो गई है. वहीं विश्व हिंदू परिषद के संरक्षक ने गर्भगृह में विराजमान रामलला को मंदिर निर्माण तक शिफ्ट करने पर अपनी बात रखी.

हिंदू परिषद के सरंक्षक ने रखी अपनी बात.
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Published : Nov 14, 2019, 12:48 PM IST

अयोध्या: विश्व हिंदू परिषद के सरंक्षक ने गर्भगृह में विराजमान रामलला पर अपनी बात रखी. उन्होंने कहा कि विग्रह तो परिसर में ही रहेगा, लेकिन उसकी उचित व्यवस्था होगी. निर्मोही अखाड़े की परंपरा में पूजा-अर्चना चलती रही. हम आज भी कहना चाहते हैं कि इसमें कोई दूसरा मत नहीं है. विश्व हिंदू परिषद की भूमिका मंदिर निर्माण तक बनी रहेगी.

हिंदू परिषद के सरंक्षक ने रखी अपनी बात.

सरंक्षक दिनेश चंद्र ने कहा कि ऐसी स्थिति में इस पर सोचने का विषय ही नहीं है. वास्तुकार, यहां के प्रबुद्ध जन और पूज्य संत से परामर्श करके स्थान का चयन कर लिया जाएगा. यहां पर अस्थाई रूप से एक स्थान का निर्माण करके अर्चन-पूजन होता रहेगा. उन्होंने कहा कि इतना बड़ा परिसर है तो मैं समझता हूं कि समय लगेगा. व्यवस्थित ढंग से काम हो, जितना समय की आवश्यकता हो उतना समय लगाकर काम हो. यह हमारी अपेक्षा होगी.

ये भी पढ़ें- बस्ती: जहां राजा दशरथ की पूरी हुई थी मनोकामना, अब वहां 12 साल तक होगा रामनाम का जप

उन्होंने कहा कि यदि कोई वैदिक सनातन धर्म, संस्कृति और परंपराओं आदि के बारे में जानना चाहता है तो वह यहां आकर अपनी जिज्ञासा शांत कर सके. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी जी महाराज से मैं निवेदन करूंगा कि अयोध्या का विकास हो. यहां पर आकर कोई भी किसी गली-मोहल्ले में घूमे तो उसको श्री अयोध्या जी का पुरातन काला स्मरण आए और उसे अपने मन की तृप्ति मिल सके. सभी बात को ध्यान में रखकर विकास का चिंतन करें.

अयोध्या: विश्व हिंदू परिषद के सरंक्षक ने गर्भगृह में विराजमान रामलला पर अपनी बात रखी. उन्होंने कहा कि विग्रह तो परिसर में ही रहेगा, लेकिन उसकी उचित व्यवस्था होगी. निर्मोही अखाड़े की परंपरा में पूजा-अर्चना चलती रही. हम आज भी कहना चाहते हैं कि इसमें कोई दूसरा मत नहीं है. विश्व हिंदू परिषद की भूमिका मंदिर निर्माण तक बनी रहेगी.

हिंदू परिषद के सरंक्षक ने रखी अपनी बात.

सरंक्षक दिनेश चंद्र ने कहा कि ऐसी स्थिति में इस पर सोचने का विषय ही नहीं है. वास्तुकार, यहां के प्रबुद्ध जन और पूज्य संत से परामर्श करके स्थान का चयन कर लिया जाएगा. यहां पर अस्थाई रूप से एक स्थान का निर्माण करके अर्चन-पूजन होता रहेगा. उन्होंने कहा कि इतना बड़ा परिसर है तो मैं समझता हूं कि समय लगेगा. व्यवस्थित ढंग से काम हो, जितना समय की आवश्यकता हो उतना समय लगाकर काम हो. यह हमारी अपेक्षा होगी.

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उन्होंने कहा कि यदि कोई वैदिक सनातन धर्म, संस्कृति और परंपराओं आदि के बारे में जानना चाहता है तो वह यहां आकर अपनी जिज्ञासा शांत कर सके. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी जी महाराज से मैं निवेदन करूंगा कि अयोध्या का विकास हो. यहां पर आकर कोई भी किसी गली-मोहल्ले में घूमे तो उसको श्री अयोध्या जी का पुरातन काला स्मरण आए और उसे अपने मन की तृप्ति मिल सके. सभी बात को ध्यान में रखकर विकास का चिंतन करें.

Intro:अयोध्या. विश्व हिंदू परिषद की ओर से दिनेश चंद्र सरक्षक ने कहा कि, विहिप गर्भगृह में विराजमान रामलला को शिफ्ट करने के सम्बन्ध में पूछा गया है कि मंदिर जब बनेगा और इतने साल लगेंगे तो फिर विग्रह को आप कहां रखेंगे जिससे नित्य दैनिक दर्शन अर्चन पूजन होता रहे तो व्यवहारिक पक्ष है ऐसी स्थिति में इस पर सोचने का विषय ही नहीं है चल साथ एकड़ भूमि में जो भी वास्तुकार होंगे यहां के प्रबुद्ध जन होंगे पूज्य संत गण होंगे उन सब से परामर्श करके उस स्थान का चयन करके वहां पर उनके लिए उतने समय के लिए अस्थाई रूप से एक स्थान का निर्माण करके उसमें वहां पर रखकर अर्चन पूजन दर्शन नित्य उसी विद्युत परंपरा से होता रहे यह सब विषय उसमें से आया है और एक बात हम जिसको प्रारंभ से बोलते रहे हैं विग्रह तो परिसर में ही रहेगा निश्चित रूप से लेकिन उसकी उचित व्यवस्था होगी Body:निर्मोही अखाड़े की परंपरा में अर्चन पूजन चलता रहा हम भी कहते रहेगी उसमें रहेगा अर्चन पूजन आज भी हम वही कहेंगे इसमें कहीं कोई अपनी ओर से दूसरा राय मत नहीं है यदि हम बहुत स्पष्ट करना चाहते हैं।

-दिनेश चंद्र सरक्षक विहिप राम मंदिर निर्माण समय सीमा पर मैंनेे कहा जो यह  पत्थर है जो पहली मंजिल तक का तैयार है पत्थर को व्यवस्थित करके रखनेे में कितना समय लगेगा तो पता चला कम से कम  तीन साढे 3 साल लगेगा। इतना बड़ा परिसर है तो मैं समझता हूं कि समय लगेगा व्यवस्थित ढंग से काम हो जितना समय की आवश्यकता हो। उतना समय लगा कर के काम हो यह हमारी अपेक्षा होगी।
विहिप का पार्ट विश्व हिंदू परिषद की जो भूमिका है वही मंदिर निर्माण तक अवश्य रहेगी अंदर से कोई लेकर कहे तो अंदर से नहीं तो बाहर से रहकर हम अपनी भूमिका मंदिर निर्माण की भूमिका निभाएंगे मंदिर बनना हमारा मूल उद्देश्य है।

अयोध्या की सांस्कृतिक सीमा के बाहर कहीं भी जगह दे कोर्ट का निर्णय है उन्हें जगह देनी है तो दे दे इतना हमारा ध्यान रखें।अयोध्या को सांस्कृतिक हब बनाने को लेकर पूर्व काल में विश्व के अंदर एक सांस्कृतिक केंद्र के रूप में श्री अयोध्या जी हुआ करती थी और उस नाते से वह विश्व विख्यात एक इस प्रकार का जिसको कि कहीं भी दुनिया के अंदर से कोई भी आता है और वैदिक सनातन धर्म के संबंध में ग्रंथों में संस्कृति के संबंध में मर्यादाओं व्यवस्थाओं परंपराओं आदि के संबंध में जानना चाहता है तो वह जहां आकर ऐसा एक शोध केंद्र बने कि वह यहां आकर के कभी भी उस प्रकार की जो भूख ले करके आ रहा है वह उसकी भूख शांत हो अर्थात उसकी जो इच्छाएं हैं जानना चाहता है उसको जानने को मिले ऐसा एक शोध केंद्र पुस्तकालय शब्द उसके लिए छोटा पड़ेगा इस प्रकार का विषय है तो निश्चित रूप से हमारे भारत सरकार विशेष रुप से उत्तर प्रदेश के सम्मानीय योगी जी महाराज से मैं निवेदन करूंगा कि अयोध्या के विकास का भी उसी स्वरूप की दृष्टि से दुनिया का कोई भी आकर यहां पर आकर किसी भी गली मोहल्ले मैं घूमे तो उसको श्री अयोध्या जी का वह पुरातन काला स्मरण आए और वह उससे अपने मन की तृप्ति कर सके मन के भाव को वह संतुष्ट कर सके ऐसा भी मैं निवेदन आगे भविष्य में अयोध्या जी के विकास की दृष्टि से ऐसा करना चाहते हैं उस नाते से उस बात को बिंदु को भी ध्यान में रखकर विकास का चिंतन करें मास्टर प्लान बनवाएं जो भी करना है । 

Byte-विश्व हिंदू परिषद संरक्षक दिनेश चन्द्र शर्मा Conclusion:दिनेश मिश्रा
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