अमरोहा: कोरोना महामारी ने कई घरों को उजाड़ दिया. कई बच्चे अनाथ हो गए. जिले भी कई बच्चे ऐसे हैं, जिनका पूरा परिवार ही कोरोना की चपेट में आ गया और उन्होंने अपने माता-पिता को खो दिया. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संक्रमण के चलते अनाथ और निराश्रित हुए बच्चों को लेकर अहम फैसला लिया है. उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के बीच प्रदेश के भीतर अनाथ अथवा निराश्रित हुए बच्चे अब राज्य की संपत्ति हैं, उनका ध्यान रखने के लिए राज्य सरकार की ओर से सभी जिम्मेदारियां निभाई जाएंगी.
बता दें, गजरौला ब्लॉक के गांव सलेमपुर गोसाई में अवनीश की पत्नी विजयलक्ष्मी कोरोना पॉजिटिव थीं. उनकी मौत हो गई और करीब 9 दिन के भीतर अवनीश की भी मौत हो गई. हालांकि अवनीश की रिपोर्ट निगेटिव आई थी. इन दोनों ने अपने पीछे अपने परिवार में दो बेटी और एक बेटे को छोड़ गए. इन बच्चों के लिए अब सिर्फ उनकी बूढ़ी दादी सहारा हैं. इन्हें पालन पोषण में काफी दिक्कत का सामना करना पड़ा है.
ताई और ताऊ बने बच्चियों का सहारा
दूसरा परिवार भी इसी गांव में रहने वाले हैं. रविकांत की पत्नी की मौत 7 साल पहले हो चुकी थी. रविकांत की तीन बेटियां हैं. वह अपने बेटियों का भरण पोषण कर रहे थे, लेकिन इस महामारी ने रविकांत को अपनी चपेट में ले लिया, जिससे उनकी मौत हो गई. रविकांत की तीनों बेटियां अनाथ हो गईं. उन बच्चियों का सहारा सिर्फ उनके ताई व ताऊ के ऊपर है. बच्ची ने बताया कि हमें पालन पोषण में काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
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अनाथ बच्चों को मिलेगा योजना का लाभ
जिलाधिकारी बालकृष्ण त्रिपाठी का कहना है, कोरोना काल में अनाथ हुए बच्चों को चयनित करके मुख्यमंत्री द्वारा चलाई गई योजना का लाभ दिलाया जाएगा.