अलीगढ़: अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के जवाहर लाल नेहरू मेडिकल कॉलेज में कोरोना रोगियों की रिकवरी दर 71.9 प्रतिशत पहुंच गई है. ये दर 56 प्रतिशत राष्ट्रीय रिकवरी दर से 15.9 प्रतिशत अधिक है. जेएन मेडिकल कॉलेज ने रोगियों के सफल उपचार में 18 जून तक 57.68 प्रतिशत से 71.9 प्रतिशत तक की वृद्वि दर्ज की है.
कुलपति प्रो. तारिक मंसूर ने जेएन मेडिकल कॉलेज के चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ द्वारा समर्पित भाव से किये जा रहे कार्यों एवं सेवाओं की प्रशंसा की. उन्होंने कहा कि चिकित्सकों के प्रयासों के चलते जेएन मेडिकल कॉलेज की रिकवरी दर में वृद्वि हुई है. उन्होंने कहा कि यह भी आवश्यक है कि भारत सरकार द्वारा इस बीमारी के प्रसार को रोकने के लिये अपनाये जा रहे सही दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन किया जाए. सामाजिक दूरी इस महामारी को रोकने के लिये अति आवश्यक है. कुलपति ने कहा है कि स्वास्थ्यकर्मी इस कठिन समय में असाधारण कार्य कर रहे हैं. हम सभी को स्वास्थ्यकर्मियों के साथ अन्य सरकारी संगठनों द्वारा किये जा रहे कार्यों में सहयोग करना चाहिए.
डॉक्टर संक्रमितों के उपचार में व्यस्त
जेएन मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य और सीएमएस प्रो. शाहिद अली सिद्दीकी ने कहा कि मेडिकल कॉलेज सरकार द्वारा कोविड एल-2 सेन्टर घोषित किया गया है. वहां पर लगातार निशुल्क परीक्षण किये जा रहे हैं. स्वास्थ्यकर्मी संक्रमित लोगों के उपचार में व्यस्त हैं. इसी बीच जेएन मेडिकल कॉलेज में एक स्वस्थ बच्ची को जन्म देनी वाली कोविड पॉजिटिव महिला को कोरोना वायरस संक्रमण मुक्त होने के बाद छुट्टी दे दी गई. स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग की अध्यक्ष प्रो. तमकीन खान ने बताया कि बच्ची और उसकी मां पूरी तरह से स्वस्थ हैं. उन्होंने बताया कि इस महिला को कोरोना वायरस संक्रमण के चलते कई अस्पतालों द्वारा प्रवेश से मना कर दिया गया था. वहीं जेएन मेडिकल कॉलेज में महिला का सफलतापूर्वक सिजेरियन प्रसव किया गया. इसके अतिरिक्त कोरोना वायरस संक्रमण से मुक्त होने पर जूनियर रेजीडेंट डॉ. खलफ सबा, पीजी स्टूडेंट डॉ. दानिश के अलावा मधु, अनवर अली, वसीम हाशमी और सना को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है.