आगराः जिले के जिला अस्पताल में इन दिनों केला देवी भर्ती हैं. उनकी देखभाल में उनकी सात साल की बच्ची जुटी हुई है. साथ ही अपने छोटे भाई का भी ध्यान रख रही है. केला देवी को उनके पति ने छोड़ दिया है. यहीं नहीं उनकी बीमारी के चलते नाते-रिश्तेदार भी छोड़कर चले गए हैं. केला देवी को अपने बच्चों की चिंता सता रही है. वहीं, उनकी सात साल की उनकी बेटी का कहना है कि वह बड़ी होकर डॉक्टर बनेगी और अपनी मां का इलाज करेगी.
केला देवी का इलाज आगरा के जिला अस्पताल में चल रहा है. पिछले 4 दिनों से वह जिला अस्पताल में भर्ती है. केला देवी की रीड़ की हड्डी का ऑपरेशन होना है. खून की कमी के कारण उनकी तबीयत खराब है. पैसे न होने की वजह से उन्होंने आपरेशन टाल दिया है. उनकी सात साल की बेटी प्रीता और छोटा बेटा सत्यम है.
उनका कहना है कि वह कई सालों से बीमार हैं. इस वजह से पति हरेंद्र और परिवार वालों ने भी साथ छोड़ दिया है. पहले दूसरों के घरों में झाड़ू पोछा करके बच्चों का पालन पोषण कर लेती थी जब तबीयत ज्यादा खराब रहने लगी तो ठेले पर गुटखा बेचा. जब ज्यादा तबीयत खराब रहने लगी तो वह भी काम बंद हो गया. अस्पताल में भर्ती होना पड़ा. अब उनकी सेवा उनकी सात साल की बेटी प्रीता कर रही है. वह घर के काम करने के साथ ही अपने भाई सत्यम का भी ध्यान रख रही है. उधर, केला देवी का कहना है कि उनका बस एक ही सपना है कि उनके बच्चे पढ़-लिखकर कुछ बन जाएं.
चौथी कक्षा में पढ़ने वाली प्रीता प्रजापति का कहना है कि मां की आए दिन तबीयत खराब रहती है. ऐसे में अब डॉक्टर बनने का सपना देखा है. वह चाहती हैं कि डॉक्टर बनकर वह अपनी मां का इलाज करे. उसका छोटा भाई सत्यम कक्षा एक में पढ़ता है. प्रीता मां की देखभाल के साथ ही घर का सारा काम निपटाकर भाई का ख्याल रखती है. साथ ही पढ़ती भी है.
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