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सावधान! साइबर क्रिमिनल सर्जरी के नाम पर डॉक्टर्स को एडवांस भुगतान का झांसा देकर कर रहे खाता साफ

आगरा में साइबर अपराधी सर्जरी के नाम पर डॉक्टरों से ठगी कर रहे हैं. डॉक्टर्स को यूपीआई के जरिए भुगतान करने का झांसा देकर ठगा गया है. आईएमए ने डॉक्टरों को साइबर ठगों से सतर्क रहेने की हिदायत दी है.

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साइबर क्रिमिनल का नया झांसा
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Sep 11, 2023, 6:02 PM IST

आगरा: साइबर क्रिमिनल सर्जरी के नाम पर ठगी का खेल डाॅक्टर्स के साथ खेल रहे हैं. बीते दिनों शाहजहांपुर के एक डाॅक्टर के साथ साइबर क्रिमिनल ने सर्जरी कराने के बाद यूपीआई से पेमेंट का झांसा देकर डाॅक्टर को 2 लाख का चूना लगाया था. इसी तरह साइबर क्रिमिनल ने आगरा के 12 से अधिक डाॅक्टर्स को जाल में फंसाने की कोशिश की. लेकिन, सतर्कता से एक भी डाॅक्टर साइबर क्रिमिनल के झांसे में नहीं आया है. आईएमए की ओर से सभी सदस्यों ने डाॅक्टर्स को सतर्क रहने की अपील की है, जिससे साइबर ठगी से बचा जा सके.


इस तरह देते हैं झांसा: आईएमए आगरा के सचिव डाॅ. पंकज नगायच ने बताया कि साइबर क्रिमिनल का तरीका एकदम नया है. साइबर क्रिमिनल खुद को आर्मी, बीएसएफ या किसी सैन्य या अर्द्धसैन्य बल में कार्यरत बताते हैं. जिससे डाॅक्टर की उससे भावनाएं जुड़ जाती हैं. फिर, डाॅक्टर्स के नंबर पर एक्सरे या बीमारी की रिपोर्ट भेजकर खर्चा पूछते हैं. फिर, ठगी का खेल शुरू होता है.

इसे भी पढ़े-सावधान! वेबसाइट से फिंगर प्रिंट डाउनलोड कर साइबर क्रिमिनल कर रहे लोगों के बैंक खाते साफ

एडवांस भुगतान का झांसा देकर खाता कर रहे साफ: आईएमए आगरा के सचिव डाॅ. पंकज नगायच ने बताया कि साइबर क्रिमिनल यह कहते हैं कि मरीज पहुंच रहा है. लेकिन, मुझे आने में देर लगेगी. इलाज और सर्जरी में देरी न करें. आप रुपयों की चिंता नां करें. मैं अभी एडवांस भेज रहा हूं. आप आपना यूपीआई नंबर दीजिए. जैसे शाहजहांपुर के मामले में हुआ कि साइबर क्रिमिनल ने डाॅक्टर से यूपीआई वाले मोबाइल को किसी दूसरे फोन से वीडियो काॅल करके दिखाने की कही. जिससे भुगतान हुआ या नहीं. जैसे ही डाॅक्टर ने ऐसा किया. वैसे ही साइबर क्रिमिनल ने स्क्रीन पर आए ओटीपी को देखकर बैंक खाता साफ कर दिया.

आईएमए कर रहा सतर्क: आईएमए आगरा के सचिव डाॅ. पंकज नगायच ने बताया कि साइबर ठग नित नए नए झांसे से ठगी कर रहे हैं. यह तरीका भी अब शुरू किया है. आगरा के डाॅक्टर्स सतर्क हैं. इस बारे में आईएमए भी सतर्क कर रहा है कि ऑनलाइन भुगतान लेने के सुरक्षित माध्यम ही अपनाएं. आईएमए के पूर्व सचिव डाॅ. संजय चतुर्वेदी ने बताया कि बीते दिनों साइबर क्रिमिनल ने इसी तरह से मुझे फंसाने की कोशिश की. वह अपनी सतर्कता से बच गए. साइबर क्रिमिनल का गैंग सेना और अर्द्ध सैन्य बलों के नाम पर डाॅक्टर्स को भावनात्मक तरीके से जोड़कर ठगी कर रहा है. उन्हें पहले से ये सूचना थी. सतर्क भी था. इसलिए, आईएमए के ग्रुप में सावधान कर दिया था. जो भी डाॅक्टर्स यूपीआई या आनलाइन बैंकिंग से भुगतान लेते हैं, वे सतर्क रहें.

यह भी पढ़े-साइबर अपराधियों ने पेंशन अधिकारी बनकर रिटायर्ड दारोगा को ठगा, खाते से उड़ाए 2.70 लाख रुपये

आगरा: साइबर क्रिमिनल सर्जरी के नाम पर ठगी का खेल डाॅक्टर्स के साथ खेल रहे हैं. बीते दिनों शाहजहांपुर के एक डाॅक्टर के साथ साइबर क्रिमिनल ने सर्जरी कराने के बाद यूपीआई से पेमेंट का झांसा देकर डाॅक्टर को 2 लाख का चूना लगाया था. इसी तरह साइबर क्रिमिनल ने आगरा के 12 से अधिक डाॅक्टर्स को जाल में फंसाने की कोशिश की. लेकिन, सतर्कता से एक भी डाॅक्टर साइबर क्रिमिनल के झांसे में नहीं आया है. आईएमए की ओर से सभी सदस्यों ने डाॅक्टर्स को सतर्क रहने की अपील की है, जिससे साइबर ठगी से बचा जा सके.


इस तरह देते हैं झांसा: आईएमए आगरा के सचिव डाॅ. पंकज नगायच ने बताया कि साइबर क्रिमिनल का तरीका एकदम नया है. साइबर क्रिमिनल खुद को आर्मी, बीएसएफ या किसी सैन्य या अर्द्धसैन्य बल में कार्यरत बताते हैं. जिससे डाॅक्टर की उससे भावनाएं जुड़ जाती हैं. फिर, डाॅक्टर्स के नंबर पर एक्सरे या बीमारी की रिपोर्ट भेजकर खर्चा पूछते हैं. फिर, ठगी का खेल शुरू होता है.

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एडवांस भुगतान का झांसा देकर खाता कर रहे साफ: आईएमए आगरा के सचिव डाॅ. पंकज नगायच ने बताया कि साइबर क्रिमिनल यह कहते हैं कि मरीज पहुंच रहा है. लेकिन, मुझे आने में देर लगेगी. इलाज और सर्जरी में देरी न करें. आप रुपयों की चिंता नां करें. मैं अभी एडवांस भेज रहा हूं. आप आपना यूपीआई नंबर दीजिए. जैसे शाहजहांपुर के मामले में हुआ कि साइबर क्रिमिनल ने डाॅक्टर से यूपीआई वाले मोबाइल को किसी दूसरे फोन से वीडियो काॅल करके दिखाने की कही. जिससे भुगतान हुआ या नहीं. जैसे ही डाॅक्टर ने ऐसा किया. वैसे ही साइबर क्रिमिनल ने स्क्रीन पर आए ओटीपी को देखकर बैंक खाता साफ कर दिया.

आईएमए कर रहा सतर्क: आईएमए आगरा के सचिव डाॅ. पंकज नगायच ने बताया कि साइबर ठग नित नए नए झांसे से ठगी कर रहे हैं. यह तरीका भी अब शुरू किया है. आगरा के डाॅक्टर्स सतर्क हैं. इस बारे में आईएमए भी सतर्क कर रहा है कि ऑनलाइन भुगतान लेने के सुरक्षित माध्यम ही अपनाएं. आईएमए के पूर्व सचिव डाॅ. संजय चतुर्वेदी ने बताया कि बीते दिनों साइबर क्रिमिनल ने इसी तरह से मुझे फंसाने की कोशिश की. वह अपनी सतर्कता से बच गए. साइबर क्रिमिनल का गैंग सेना और अर्द्ध सैन्य बलों के नाम पर डाॅक्टर्स को भावनात्मक तरीके से जोड़कर ठगी कर रहा है. उन्हें पहले से ये सूचना थी. सतर्क भी था. इसलिए, आईएमए के ग्रुप में सावधान कर दिया था. जो भी डाॅक्टर्स यूपीआई या आनलाइन बैंकिंग से भुगतान लेते हैं, वे सतर्क रहें.

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