क्राइस्टचर्च: भारत के लिए एक महत्वपूर्ण मैच से झूलन गोस्वामी को चोट लगना तगड़ा झटका था. एकदिवसीय विश्व कप में भारत के लिए अपने पांच मैचों में यह पहली बार था कि गोस्वामी प्लेइंग इलेवन से अनुपस्थित रहीं. उनकी अनुपस्थिति में, भारत के तेज गेंदबाज मेघना सिंह और पूजा वस्त्रेकर अपने-अपने छह ओवरों में समान 37 रन देकर एक भी विकेट नहीं ले सकीं, जिससे दक्षिण अफ्रीका ने 275 रनों के लक्ष्य का पीछा करते हुए अंतिम गेंद पर तीन विकेट से जीत दर्ज की.
मिताली ने कहा, मुझे यकीन है कि झूलन को इससे फर्क पड़ा होगा. क्योंकि ऐसे अनुभवी तेज गेंदबाज का न होना विशुद्ध रूप से यह होगा फर्क पड़ता है. मुझे यकीन है कि वह बहुत निराश महसूस कर रही होंगी कि वह भारतीय टीम के आखिरी मैच (इस विश्व कप में) का हिस्सा नहीं बन सकीं.
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उन्होंने आगे कहा, प्रशिक्षण सत्र के दौरान उन्हें साइड स्ट्रेन हो गया था और वह ठीक नहीं हो सकीं. मैं वास्तव में यह मैच जीतना चाहती थी, ताकि हम उन्हें सेमीफाइनल खेलने के लिए एक और मैच दे सकें. लेकिन जीत न सकें.
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मिताली इस बात से खुश थीं कि दीप्ति शर्मा ने अंतिम ओवर में मिग्नॉन डू प्रीज का विकेट लेते हुए अपने फ्रंट फुट से क्रीज को पार करने के बावजूद मैच में कैसा प्रदर्शन किया. कुल मिलाकर अपने दस ओवरों में दीप्ति ने बिना किसी विकेट के केवल 41 रन दिए और अंतिम ओवर में अपनी पहली चार गेंदों पर चार रन दिए.