कोलकाता: रॉयल चैलेंजर्स बेंगलोर के खिलाफ आईपीएल एलिमिनेटर में मिली हार के बाद लखनऊ सुपर जायंट्स के कप्तान केएल राहुल ने स्वीकार किया कि उनकी टीम को बीच के ओवरों में दो बड़े शॉट्स की जरूरत थी. राहुल ने मैच के बाद प्रेस कांफ्रेंस में कहा, बीच के ओवरों में दो बड़े शॉट खेलने से मैच की तस्वीर बदल सकती थी. अब देखने पर ऐसा ही लगता है.
पॉवर प्ले के बाद सात ओवरों के दौरान राहुल एक ही चौका लगा सके, जबकि वह इतने काबिल बल्लेबाज हैं कि दुनिया के किसी भी गेंदबाजी आक्रमण की बखिया उधेड़ सकते हैं. इस सत्र में उन्होंने दो शतक और चार अर्धशतक लगाए हैं, लेकिन लक्ष्य का पीछा करते हुए बल्लेबाजी पर उन्हें मेहनत करनी होगी. लखनऊ की टीम लक्ष्य का पीछा करते हुए सात में से पांच मैच हारी है.
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राहुल ने कहा, हमने कुछ मैच जीते लेकिन लक्ष्य का पीछा करते हुए उतने कामयाब नहीं रहे. हमें यह सीखना होगा. मेरे लिए बाकी सत्र की तरह यह सत्र भी अच्छा सबक रहा. एक टीम के रूप में यह काफी चुनौतीपूर्ण था और हमने बहुत कुछ सीखा. दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ आगामी सीरीज में भारतीय टीम की कमान संभालने जा रहे राहुल ने 15 मैचों में 616 रन बनाए.
उन्होंने कहा, यह बड़ा मैच था और बड़े मैच में आप अपना फॉर्म और पिछले 14 मैचों के रन भूल जाते हैं. इसे नए मैच की तरह ही खेलकर अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने की कोशिश करते हैं. मैने भी एलिमिनेटर में वही किया, लेकिन मुझे बहुत कुछ सीखने को मिला.
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उन्होंने कहा, ऐसा नहीं है कि हमने चौके छक्के लगाने की कोशिश नहीं की. लेकिन बीच के ओवरों में उन्होंने शानदार गेंदबाजी की. हर्षल के दो ओवरों ने हम पर दबाव बना दिया. उसने दो ओवर में आठ ही रन दिए. उन्होंने यह भी कहा कि लचर क्षेत्ररक्षण ने टीम की राह और मुश्किल कर दी.
उन्होंने कहा, हमने कई आसान कैच टपकाए. मैंने दिनेश कार्तिक का कैच छोड़ा, जब वह दोहरे अंक तक नहीं पहुंचे थे. रजत पाटीदार को जीवनदान मिले. इसके बावजूद हमने अपनी ओर से पूरी कोशिश की और 208 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए दो बड़े शॉट से चूक गए.