मेरठ: जिले में ब्लैक लिस्टेड फास्टैग वाहन आए दिन टोल प्लाजा पर जाम का कारण बन रहे हैं. यह ब्लैक लिस्टेड फास्टैग वह हैं जिनमें रिचार्ज नहीं होता. कैश लाइन में जाम से बचने के लिए वाहन चालक फास्टैग लाइन में आ जाते हैं. हालांकि वहां बूथ पर जब उन्हें बताया जाता है कि आपके फास्टैग में बैलेंस नहीं है, आपको पेनाल्टी के साथ कैश में दोगुना टोल टैक्स इस लाइन से गुजरने पर देना होगा, तब दोगुना टैक्स देने से बचने के लिए ड्राइवर को अपनी गाड़ी पीछे हटानी पड़ती है, जिस कारण मौके पर जाम लग जाता है.
जिले में NH-58 पर स्थित वेस्टर्न यूपी टोल प्लाजा प्रबंधन के अनुसार ब्लैक लिस्ट फास्टैग वाले वाहन जब टोल बूथ से बैलेंस ना होने की वजह से वापस किए जाते हैं. तब पीछे खड़े वाहनों को हटाने के चक्कर में टोल टैक्स वसूलने की प्रक्रिया रुक जाती है. जिस कारण मौके पर जाम लग जाता है. एक वाहन चालक की इस गलती से दूसरे वाहन चालक को भी परेशान होना पड़ता है.
टोल प्लाजा अधिकारी ने दी जानकारी
टोल प्लाजा के अधिकारियों का कहना है कि लाॅकडाउन के कारण बहुत से वाहन चालक यह सोच कर अपना फास्टैग रिचार्ज नहीं करा रहे हैं कि वह कहीं जाएंगे नहीं, इसलिए रिचार्ज कराने से कोई लाभ नहीं. ऐसे वाहन चालक बिना बैलेंस के ही फास्टैग लाइन में आ जाते हैं. नियमानुसार यदि फास्टैग से पैसा नहीं कटता है तो वाहन चालक को कैश में टैक्स पेनल्टी के साथ देना होता है. यही कारण है कि पेनाल्टी से बचने के लिए वाहन चालक अपने वाहन को पीछे हटाकर कैश लाइन में लेकर जाते हैं, जिस कारण मौके पर जाम लग जाता है.
टोल प्लाजा के सुरक्षा अधिकारी मनिंदर विहान ने बताया कि वाहन चालकों से लगातार अपील की जाती है कि टोल पर वाहनों के जाम से बचने के लिए वह अपने फास्टैग को हमेशा अपडेट रखें. फास्टैग में जो पैसा होता है वह तभी यूज होता है जब उससे किसी टोल पर टैक्स कटता है. अधिकतर वाहन चालक यह सोचते हैं अकाउंट का पैसा अपने आप समाप्त हो जाएगा. जबकि ऐसा नहीं होता. वाहन चालकों को सफर करते समय अपने फास्टैग अकाउंट को अपडेट रखने के लिए कहा जाता है, ताकि वह जाम की परेशानी से बचें और समय से अपनी मंजिल पर पहुंचे.
मेरठ: ब्लैक लिस्ट फास्टैग वाहनों के कारण टोल प्लाजा पर लग रहा जाम
मेरठ जिले में ब्लैक लिस्टेड फास्टैग वाहन टोल प्लाजा पर जाम का कारण बन रहे हैं. यह ब्लैक लिस्टेड फास्टैग वह है जिनमें रिचार्ज नहीं होता और फास्ट टैग लाइन से गुजरने पर दोगुना पेनाल्टी देने के बारे में जब उन्हें पता चलता है तो वह गाड़ी मोड़कर बाहर जाते हैं. जिससे पीछे फंसी गाड़ियों को काफी दिक्कत का सामना करना पड़ता है.
मेरठ: जिले में ब्लैक लिस्टेड फास्टैग वाहन आए दिन टोल प्लाजा पर जाम का कारण बन रहे हैं. यह ब्लैक लिस्टेड फास्टैग वह हैं जिनमें रिचार्ज नहीं होता. कैश लाइन में जाम से बचने के लिए वाहन चालक फास्टैग लाइन में आ जाते हैं. हालांकि वहां बूथ पर जब उन्हें बताया जाता है कि आपके फास्टैग में बैलेंस नहीं है, आपको पेनाल्टी के साथ कैश में दोगुना टोल टैक्स इस लाइन से गुजरने पर देना होगा, तब दोगुना टैक्स देने से बचने के लिए ड्राइवर को अपनी गाड़ी पीछे हटानी पड़ती है, जिस कारण मौके पर जाम लग जाता है.
जिले में NH-58 पर स्थित वेस्टर्न यूपी टोल प्लाजा प्रबंधन के अनुसार ब्लैक लिस्ट फास्टैग वाले वाहन जब टोल बूथ से बैलेंस ना होने की वजह से वापस किए जाते हैं. तब पीछे खड़े वाहनों को हटाने के चक्कर में टोल टैक्स वसूलने की प्रक्रिया रुक जाती है. जिस कारण मौके पर जाम लग जाता है. एक वाहन चालक की इस गलती से दूसरे वाहन चालक को भी परेशान होना पड़ता है.
टोल प्लाजा अधिकारी ने दी जानकारी
टोल प्लाजा के अधिकारियों का कहना है कि लाॅकडाउन के कारण बहुत से वाहन चालक यह सोच कर अपना फास्टैग रिचार्ज नहीं करा रहे हैं कि वह कहीं जाएंगे नहीं, इसलिए रिचार्ज कराने से कोई लाभ नहीं. ऐसे वाहन चालक बिना बैलेंस के ही फास्टैग लाइन में आ जाते हैं. नियमानुसार यदि फास्टैग से पैसा नहीं कटता है तो वाहन चालक को कैश में टैक्स पेनल्टी के साथ देना होता है. यही कारण है कि पेनाल्टी से बचने के लिए वाहन चालक अपने वाहन को पीछे हटाकर कैश लाइन में लेकर जाते हैं, जिस कारण मौके पर जाम लग जाता है.
टोल प्लाजा के सुरक्षा अधिकारी मनिंदर विहान ने बताया कि वाहन चालकों से लगातार अपील की जाती है कि टोल पर वाहनों के जाम से बचने के लिए वह अपने फास्टैग को हमेशा अपडेट रखें. फास्टैग में जो पैसा होता है वह तभी यूज होता है जब उससे किसी टोल पर टैक्स कटता है. अधिकतर वाहन चालक यह सोचते हैं अकाउंट का पैसा अपने आप समाप्त हो जाएगा. जबकि ऐसा नहीं होता. वाहन चालकों को सफर करते समय अपने फास्टैग अकाउंट को अपडेट रखने के लिए कहा जाता है, ताकि वह जाम की परेशानी से बचें और समय से अपनी मंजिल पर पहुंचे.