लखनऊ: राजधानी में जीआईएस सर्वे में इस बात का खुलासा हुआ है कि 1 लाख 85 हजार गृह स्वामियों ने हाउस टैक्स में हेराफेरी की. हाउस टैक्स बचाने के लिए इन्होंने मकान को छोटा दिखाया. लखनऊ नगर निगम (ucknow municipal corporation) ने अब इन लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने का फैसला लिया है. नगर निगम प्रशासन की तरफ से इन सभी गृह स्वामियों से बकाया हाउस टैक्स के साथ जुर्माना वसूलने की प्रक्रिया शुरू की है. मुख्य कर निर्धारण अधिकारी अशोक सिंह ने बताया कि सभी लोगों को नोटिस भेज दी गई है. सभी से निर्धारित हाउस टैक्स दिए जाने की प्रक्रिया शुरू की गई है.
ऐसे किया खेल
लखनऊ नगर निगम की तरफ से सभी गृह स्वामियों को स्वकर निर्धारण प्रणाली की व्यवस्था की गई है. इसके तहत वह खुद कर का निर्धारण कर उसे नगर निगम में जमा कर सकते हैं. जीआईएस सर्वे में मकान एरिया 30 से 70% तक कम दिखा दिया है. ऐसे 1.85 लाख लोगों का विवरण नगर निगम को मिल गया है, जिन्होंने मकान का क्षेत्रफल या तल कम दिखाया है. तीन-तीन मंजिल का मकान एक मंजिल दिखा कर कर निर्धारण किया है. 2200 वर्गफुट का मकान 1000 वर्गफुट दिखाया.
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यह की जाएगी वसूली
नगर निगम ने अब बकाया टैक्स वसूलने का फैसला लिया है. अगर एक्चुअल हाउस टैक्स 2000 रुपये था और गृह स्वामी ने 1000 रुपये ही जमा किए तो बकाया 1000 के साथ जुर्माना लिया जाएगा. जानकारों की मानें तो गलत हाउस टैक्स चले धारण कर इन गृह स्वामियों ने नगर निगम को काफी मोटी घाटा लगाई है. ऐसे में भारी भरकम हाउस टैक्स वसूले जाने की उम्मीद जताई जा रही है.
लूपहोल्स पर है नजर
ईटीवी भारत से एक खास बातचीत के दौरान नगर आयुक्त इंद्रजीत सिंह पहले ही साफ कर चुके हैं कि फिलहाल अभी हाउस टैक्स बढ़ाने का कोई प्रस्ताव नहीं है लेकिन नगर निगम प्रशासन आय बढ़ाने के लिए प्रयास कर रहा है. अभी तक जितने भी Loopholes छूटे हैं, उन पर काम किया जाएगा. इसे उसी दिशा में एक अहम कदम माना जा रहा है.
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