लखनऊ : अयोध्या में लता मंगेशकर की स्मृति चौक के विकास के सम्बंध में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को बैठक करते हुए दिशा-निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि स्वर कोकिला भारतरत्न, स्व. लता मंगेशकर की स्मृति को जीवंत बनाने के लिए अयोध्या में 'स्मृति चौक' विकसित करने के विचार के साथ विगत जून माह में एक प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था. भगवान राम के सर्वाधिक भजन लता मंगेशकर ने ही गाए हैं.
मुख्यमंत्री ने कहा कि अयोध्या में नया घाट चौराहा को लता मंगेशकर स्मृति चौक के रूप में विकसित किया जाए. यह अयोध्या में सांस्कृतिक महत्व के विभिन्न स्थानों को जोड़ने वाले प्रमुख स्थल में से एक है. स्मृति चौक पर लता के जीवन और व्यक्तित्व को दर्शाने वाले महत्वपूर्ण पहलू जैसे संगीत क्षेत्र में उनकी उपलब्धि, आत्मा को छूने वाली उनकी आवाज, शालीन व्यक्तित्व आदि को स्थान दिया जाए. सीएम ने कहा कि स्मृति चौक के मध्य में वाग्देवी सरस्वती का प्रतीक 'वीणा' को अवश्य चित्रित करें. यहां अन्य शास्त्रीय वाद्य यंत्र भी प्रदर्शित करें.
उन्होंने कहा कि चौक के चारों ओर लता मंगेशकर के संगीत क्षेत्र में सक्रियता के दशकों को प्रदर्शित किया जाना चाहिए. दीप स्तंभ भी तैयार करें. म्यूजिकल फाउंटेन बनाएं, आगामी 31 जुलाई तक इसकी डिजाइन को अंतिम रूप से तय करते हुए प्रस्तुत करें. उन्होंने कहा कि चौक विकास की कार्ययोजना में अयोध्या की संस्कृति, लोकाचार, यहां के महान इतिहास और यहां के विकास से संबंधित भविष्य की महत्वाकांक्षी रूपरेखा के बीच सामजंस्य होना चाहिए.
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उन्होंने कहा कि स्मृति चौक पर अयोध्या की वैभवपूर्ण समृद्ध विरासत और संस्कृति को प्रदर्शित करते हुए तथा चौक के डिजाइन को पैदल चलने वाले लोगों को ध्यान में रखते हुए उपयुक्त सड़क डिजाइन, भूमिगत पार्किंग सुविधाओं के साथ तैयार किया जाए.
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