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मथुरा: थैले में बंद मिले बच्चे को लौटाने को नहीं तैयार हो रही महिला

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Published : Apr 25, 2019, 9:54 AM IST

गोवर्धन में चार दिन पहले राधा कुंड छोटी परिक्रमा मार्ग पर एक थैले में नवजात शिशु रखा मिला, जिसे शिशु सदन भेजा जाना है, लेकिन तीन दिन से बच्चे को पाल रही महिला अब किसी कीमत में बच्चे को शिशु सदन में देने को तैयार नहीं है.

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मथुरा : किशोरी रमण मंदिर के सामने चार दिन पहले पुजारी तो थैले में बंद नवजात मिला था. जिसके बाद एक महिला ने उस बच्चे को पालने की जिम्मेदारी ले ली और अपने साथ ले गई. वहीं अब पुलिस नवजात को शिशु सदन भेजने के लिए कह रही है, लेकिन बच्चे का तीन से लालन-पालन कर रही महिला उसे छोड़ने को तैयार नहीं है.

बच्चे के बारे में बताती उसको पालने वाली महिला.

क्या है मामला

  • चार दिन पहले राधा कुंड छोटी परिक्रमा मार्ग के किशोरी रमण मंदिर के सामने एक मासूम को पत्थर दिल मां भगवान भरोसे थैले में बंद कर छोड़कर चली गई थी.
  • वहीं जब मंदिर के पुजारी हरिओम कौशिक को अबोध बच्चे की रोने की आवाज सुनाई दी. उन्होंने अपने भाई के सहयोग से थैला खोल कर देखा तो उसमें करीब नवजात बच्चा रो रहा था.
  • पुजारी ने मंदिर के आसपास बच्चे की मां को तलाशना शुरू किया, लेकिन दूर दूर तक कोई दिखाई नहीं दिया.
  • सूचना पर पुलिस के पहुंचने से पहले ही बच्चे की आवाज सुनकर लोगों की भीड़ जमा हो गई. तभी राधा कुंड छोटी परिक्रमा में रह रही महिला आरती ने नवजात को अपनी गोद में लेकर पालन पोषण की जिम्मेदारी ले ली.
  • वहीं मामले की सूचना पर पहुंची पुलिस ने भी महिला को ही बच्चे को पालने की जिम्मेदारी सौंप दी, लेकिन तीन दिन बाद ही थाना पुलिस ने बच्चे का पालन करने वाली युक्ति को बुलाकर बच्चे को शिशु सेवा सदन मथुरा करने के लिए कहा.
  • इस पर महिला आरती सहित उसके पिता राजू व अन्य सभी हैरान हो गए.सभी लोग बच्चे को छोड़ने को तैयार नहीं थे.

महिला का कहना है कि बच्चा अगर तुरंत परवरिश में ना लिया होता तो वह नहीं बचता. उन्होंने उसको चिकित्सक को भी दिखाया था मगर अब पुलिस उनसे बच्चा छीनकर शिशु सदन भेजने पर आमादा है. बच्चे से बिछड़ने के नाम से ही महिला रोने लग रही है.

मथुरा : किशोरी रमण मंदिर के सामने चार दिन पहले पुजारी तो थैले में बंद नवजात मिला था. जिसके बाद एक महिला ने उस बच्चे को पालने की जिम्मेदारी ले ली और अपने साथ ले गई. वहीं अब पुलिस नवजात को शिशु सदन भेजने के लिए कह रही है, लेकिन बच्चे का तीन से लालन-पालन कर रही महिला उसे छोड़ने को तैयार नहीं है.

बच्चे के बारे में बताती उसको पालने वाली महिला.

क्या है मामला

  • चार दिन पहले राधा कुंड छोटी परिक्रमा मार्ग के किशोरी रमण मंदिर के सामने एक मासूम को पत्थर दिल मां भगवान भरोसे थैले में बंद कर छोड़कर चली गई थी.
  • वहीं जब मंदिर के पुजारी हरिओम कौशिक को अबोध बच्चे की रोने की आवाज सुनाई दी. उन्होंने अपने भाई के सहयोग से थैला खोल कर देखा तो उसमें करीब नवजात बच्चा रो रहा था.
  • पुजारी ने मंदिर के आसपास बच्चे की मां को तलाशना शुरू किया, लेकिन दूर दूर तक कोई दिखाई नहीं दिया.
  • सूचना पर पुलिस के पहुंचने से पहले ही बच्चे की आवाज सुनकर लोगों की भीड़ जमा हो गई. तभी राधा कुंड छोटी परिक्रमा में रह रही महिला आरती ने नवजात को अपनी गोद में लेकर पालन पोषण की जिम्मेदारी ले ली.
  • वहीं मामले की सूचना पर पहुंची पुलिस ने भी महिला को ही बच्चे को पालने की जिम्मेदारी सौंप दी, लेकिन तीन दिन बाद ही थाना पुलिस ने बच्चे का पालन करने वाली युक्ति को बुलाकर बच्चे को शिशु सेवा सदन मथुरा करने के लिए कहा.
  • इस पर महिला आरती सहित उसके पिता राजू व अन्य सभी हैरान हो गए.सभी लोग बच्चे को छोड़ने को तैयार नहीं थे.

महिला का कहना है कि बच्चा अगर तुरंत परवरिश में ना लिया होता तो वह नहीं बचता. उन्होंने उसको चिकित्सक को भी दिखाया था मगर अब पुलिस उनसे बच्चा छीनकर शिशु सदन भेजने पर आमादा है. बच्चे से बिछड़ने के नाम से ही महिला रोने लग रही है.

Intro:थैले में बंद मिले नवजात को शिशु सदन में भेजने पर मां की आंखें भावुक हो गई और मां फफक फफक कर रोने लगी। खबर मथुरा के गोवर्धन से है 4 दिन पूर्व राधा कुंड छोटी परिक्रमा मार्ग स्थित किशोरी रमण मंदिर के आगे एक थैले में 4 दिन का नवजात शिशु रखा मिला जिसे शिशु सदन भेजा जाएगा। लेकिन 3 दिन से बच्चे को पाल रही महिला आरती अब किसी कीमत मैं बच्चे को शिशु सदन में देने को तैयार नहीं है। 4 दिन के मासूम को पत्थर दिल मा भगवान भरोसे थैले में बंद कर मंदिर में छोड़कर चली गई थी, तो मंदिर के पुजारी हरिओम कौशिक को अबोध बच्चे की रोने की आवाज सुनाई दी।


Body:पुजारी ने इधर-उधर देखा कोई दिखाई नहीं दिया उन्होंने अपने भाई के सहयोग से थैला खोल कर देखा तो उसमें करीब 4 दिन का मासूम बच्चा रो रहा था ,और दूध के लिए तड़प रहा था। पुजारी ने मंदिर के आसपास बच्चे की मां को तलाशना शुरू कर दिया लेकिन दूर दूर तक कोई दिखाई नहीं दिया ।सूचना पर पुलिस के पहुंचने से पहले ही बच्चे की आवाज सुनकर लोगों की भीड़ जमा हो गई ।वहीं राधा कुंड छोटी परिक्रमा में रह रही युवती आरती ने नवजात को अपनी गोद में लेकर पालन पोषण की जिम्मेदारी ले ली ।वहीं मामले की सूचना पर पहुंची पुलिस ने भी युवती को ही बच्चे को पालने की जिम्मेदारी सौंप दी। मगर 3 दिन बाद ही थाना पुलिस ने बच्चे का पालन करने वाली युक्ति को बुलाकर बच्चे को शिशु सेवा सदन मथुरा करने के लिए कहा।


Conclusion:इस पर युवती आरती सहित उसके पिता राजू व अन्य सभी हैरान हो गए। सभी लोग बच्चे को छोड़ने को तैयार नहीं थे युवती का कहना था कि बच्चा अगर तुरंत परवरिश में ना लिया होता तो वह नहीं बचता ।उन्होंने उसको चिकित्सक को भी दिखाया था मगर अब पुलिस उनसे बच्चा छीनकर शिशु सदन भेजने पर आमादा है। बच्चे से बिछड़ने के नाम से ही युवती आरती रोने लगती है। बुधवार की दोपहर s.i. दीपक तिवारी मय महिला कांस्टेबल युवती आरती को साथ लेकर बच्चे को मथुरा जिला अस्पताल ले गए।
बाइट -आरती बच्चे को पालने वाली मां
स्ट्रिंगर मथुरा
राहुल खरे
mb-9897000608
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