नई दिल्ली : केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में लिए गए अहम फैसलों की जानकारी दी. उन्होंने कहा कि देशभर के गरीब परिवारों को नवंबर तक मुफ्त राशन मिलेगा. सरकार सुनिश्चित करेगी कि देश में कोई भूखा न रहे. केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावडेकर ने बताया कि कैबिनेट ने शहरी प्रवासियों/गरीबों को किराये पर प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत बने आवास परिसर (एएचआरसी) देने की मंजूरी दी है.
- कैबिनेट ने उज्जवला लाभार्थियों के लिए प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए समय सीमा के विस्तार को मंजूरी दी. इसमें 13500 करोड़ रुपये का खर्च आएगा.
- कैबिनेट ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना/आत्मनिर्भर भारत के तहत जून से अगस्त 2020 तक तीन महीने के लिए ईपीएफ 24% (12% कर्मचारी और 12% नियोक्ता) के विस्तार को मंजूरी दी.
- 4,860 करोड़ रुपये के कुल अनुमानित खर्च के साथ, इस कदम से 72 लाख से अधिक कर्मचारियों को लाभ होगा.
- कैबिनेट ने तीन सार्वजनिक क्षेत्र की जनरल इंश्योरेंस कंपनियों - ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड, नेशनल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड और यूनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (वित्त वर्ष 2019-20 में 2500 करोड़ रुपये सहित) के लिए 12,450 करोड़ रुपये की पूंजीगत निकासी को मंजूरी दी है.
इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक आयोजित की गई. बैठक में गृहमंत्री अमित शाह, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मौजूद रहे.
बता दें कि पिछली कैबिनेट बैठक में संविधान के अनुच्छेद 340 के तहत छह महीने तक गठित आयोग के कार्यकाल के विस्तार सहित कई महत्वपूर्ण अनुमोदन किए गए थे.
इससे पहले बीते 24 जून को हुई एक अन्य कैबिनेट बैठक में कोऑपरेटिव बैंकों को रिजर्व बैंक के अधीन लाने का फैसला लिया गया था. सरकार के मुताबिक इससे आठ करोड़ लोगों को लाभ मिलेगा.
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24 जून की कैबिनेट बैठक में खासकर बैंकिंग में बड़े सुधार के अध्यादेश को मंजूरी दी गई. मोदी कैबिनेट ने बैंकिंग सेक्टर के एक अध्यादेश पर मुहर लगाते हुए सभी 1540 कोऑपरेटिव और मल्टी बैंकों के रिजर्व बैंक के अंतर्गत लाने का फैसला लिया.
इससे पहले मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल की पहली वर्षगांठ के बाद बीते एक जून को केंद्रीय कैबिनेट की पहली बैठक हुई थी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई बैठक में MSME को लोन देने के लिए 3 लाख करोड़ की योजना शुरू करने का फैसला लिया गया.
वहीं, बीते 20 मई को पीएम मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में एमएसएमई सेक्टर को तीन लाख करोड़ रुपये देने का एलान किया गया था. यह राशि इमरजेंसी क्रेडिट लाइन गारंटी योजना के तहत सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSME) को दिए जाने का लक्ष्य तय किया गया है.
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