टोंक. राजस्थान में अवैध बजरी खनन का कारोबार सालों से फल-फूल रहा है. पुलिस की तमाम कोशिशों के बावजूद बजरी माफिया पर लगाम नहीं लग पा रही है. गुरुवार को जिला कलेक्टर ने अधिकारियों की बैठक ली. जिसमें बजरी खनन के मुद्दे पर भी चर्चा की गई.
बता दें कि टोंक की बनास नदी में देवली से लेकर उनियारा के बनेठा-सुरेली तक बजरी माफिया का राज है. आमजन तो क्या बजरी माफिया पुलिस और आरएसी पर भी हमला करने से नहीं चूकते हैं. वहीं पुलिस के साथ बजरी माफियाओं की साठ-गांठ भी जगजाहिर है. पीपलू और मालपुरा एसीबी कार्यवाहियों में मिलीभगत कि पोल खुल भी चुकी है.
टोंक में पुलिस का 'ऑपरेशन आवाज' महिला अपराधों में कमी, लैंगिक समानता लाने और महिला सुरक्षा सुनिश्चित करने में मदद करेगा. ऑपरेशन आवाज का उद्देश्य महिला अपराधों के खिलाफ कार्रवाई करने के साथ ही न्याय दिलाने के लिए युवाओं को भी जागरूक करना है. इस अभियान का आज आगाज गुरुवार को कलेक्टर गौरव अग्रवाल, एसपी ओमप्रकाश ने कलेक्ट्रेट सभागार में किया.
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इसके लिए जिले के सभी एएसपी, सभी डीएसपी और थानाधिकारियों को निर्देश दिए हैं. एसपी ओमप्रकाश ने बताया कि प्रदेश के एडीजी सिविल राइट्स एवं एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग के आदेश की पालना में टोंक पुलिस विशेष अभियान ऑपरेशन आवाज (एक्शन अगेंस्ट वुमन रिलेटेड क्राइम एंड अवेयरनेस फॉर जस्टिस) चलाएगी.