टोंक. जिले के पीपलू क्षेत्र के डारडातुर्की ग्राम पंचायत के खेडूल्या गांव का 24 वर्षीय एक वीर जवान हनुमान देवंदा की शनिवार देर रात को जम्मू कश्मीर के ऊधमपुर में संदिग्ध मौत हो गई. जानकारी के अनुसार हनुमान देवंदा 12 आरआर राइफल्स में सिपाही के पद पर तैनात था. शनिवार रात्रि को मिलिट्री के ऑपरेशन के दौरान गोली लगने के बाद भी वीर जवान हनुमान देवंदा की मौत हो गई. हनुमान की शहादत की खबर मिलते ही उनके पैतृक गांव खेडूल्या सहित टोंक जिले में शौक की लहर दौड़ गई है. परिजनों से मिली जानकारी के अनुसार जवान की पार्थिव देह सोमवार दोपहर बाद घर पहुंचेगी. जहां सैन्य सम्मान के साथ उसका अंतिम संस्कार किया जाएगा.
14 मई को होनी थी शादी
खेडूल्या के रतनलाल जाट के घर में पैदा हुआ हनुमान का करीब 17 साल की उम्र में ही भारतीय सेना में चयन हो गया, जो वर्तमान में जम्मू कश्मीर में तैनात था. शहीद जवाना का बड़ा भाई ओमप्रकाश चौधरी भी आर्मी में हैं. जिसकी प्रेरणा और मार्गदर्शन से ही वह 12 वीं पास करते ही सेना में नौकरी पाने में सफल हुआ. शहीद जवान की 14 मई को बगड़ी निवासी रामलाल जाट की सुपुत्री से शादी होनी थी. परिजन जवान के हाथ पीले करने को लेकर तैयारियों में जुटे हुए थे. वहीं जवान भी 25 अप्रैल को अपने गांव आने वाला था.
पिता करते हैं खेती
जवान के पिता रतनलाल जाट खेती करते हैं. जानकारी अनुसार उनका परिवार करीब 28 साल पहले टोडारायसिंह के माधोगंज में रहता था. जहां से वह पीपलू क्षेत्र के खेडूल्या में अपनी जमीन होने के चलते यहां आकर बस गए.माता काली देवी गृहणी हैं. वहीं एक बड़ा भाई ओमप्रकाश गुजरात में आर्मी में हैं. छोटा भाई रामफूल पिता के साथ खेती में सहयोग करता हैं. वहीं दो बहने सीमा और मनराज बीए प्रथम वर्ष में टोंक के एक निजी कॉलेज में अध्ययनरत हैं.
शहीद के बड़े भाई की तबीयत बिगड़ी
अपने छोटे भाई की शहादत की सूचना मिलने के बाद उसके बड़े भाई की तबीयत बिगड़ने पर उसे जिला सहादत अस्पताल लाया गया. जहां हालत खराब होने पर उसे आईसीयू में भर्ती किया गया. फिलहाल उसकी तबीयत ठीक है. परिजनों के अनुसार सुबह जैसे ही सेना के जवान हनुमान देवंदा के शहीद होने की सूचना मिली. परिवार वालों ने सुबह से कुछ नहीं खाया था. इसी वजह से बड़े भाई रामपुर की तबीयत खराब हो गई थी. उसकी हालत खराब होने पर उसे टोंक जिला अस्पताल लाया गया.