सीकर. प्रदेश में एक बार फिर पंचायती राज चुनाव का बिगुल बज चुका है. प्रदेश के कई जिलों में 28 सिंतबर के 4 चरण के पंचायत चुनाव शुरू होने वाले हैं. पंचायत चुनाव के पहले चरण में सीकर जिले की पिपराली पंचायत समिति की 26 ग्राम पंचायतों में 28 सितंबर को सरपंच और पंच पद के लिए वोट डाले जाएंगे. इन ग्राम पंचायतों के मुखिया चुने जाएंगे और आगामी 5 साल तक गांव का भविष्य तय होगा. वैसे तो पिपराली पंचायत समिति सीकर जिला मुख्यालय के सबसे नजदीक पंचायत समिति है. इसकी ग्राम पंचायतें भी जिला मुख्यालय से ज्यादा दूर नहीं है. उसके बाद भी कई ग्राम पंचायत आज भी सुविधाओं से वंचित है.
पिपराली पंचायत समिति की चैनपुरा दादली ग्राम पंचायत उन्हीं में से एक है. वैसे तो यह ग्राम पंचायत जिला मुख्यालय से ज्यादा दूर नहीं है, लेकिन कुछ सुविधाओं का आज भी बहुत ज्यादा अभाव है. ग्रामीणों का कहना है कि गांव में चिकित्सा सुविधाएं न के बराबर है. किसी ने भी इस तरफ ध्यान नहीं दिया. ग्राम पंचायत में एक स्वास्थ्य केंद्र होना जरूरी है. शिक्षा की बात की जाए तो ग्राम पंचायत में दो सीनियर सेकेंडरी स्कूल हैं, लेकिन एक में भी विज्ञान संकाय नहीं है. चुनाव से पहले ईटीवी भारत के संवाददाता ग्रामीणों के बीच गए और उनके मुद्दे जाने.
बता दें कि, विज्ञान संकाय नहीं होना इस चुनाव में गांव में बड़ा मुद्दा है. क्योंकि ग्रामीणों का कहना है कि, साइंस की पढ़ाई के लिए बालिकाओं को जिला मुख्यालय भेजना पड़ता है. जिसमें काफी परेशानी होती है. विज्ञान संकाय के नहीं होने से कई बच्चे मजबूरी में दूसरा विषय चुनते हैं.
युवा सरपंच चाहते हैं ग्रामीण
इस पंचायत चुनाव में ग्रामीण मतदाताओं में युवा उम्मीदवार को लेकर भी उत्साह है. ग्रामीणों का कहना है कि सरपंच युवा होगा तो काम ज्यादा होगा. पढ़ा लिखा और युवा सरपंच अपनी सोच से गांव का सर्वांगीन विकास करेगा. खास कर शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में गांव का विकास हो सकेगा.
युवाओं को चाहिए खेल मैदान
ग्राम पंचायत चुनाव को लेकर युवा मतदाता भी उत्साहित है. चुनाव के मुद्दों को लेकर ग्राम पंचायत के युवाओं से जब बात की गई तो, उन्होंने खेल मैदान के मुद्दा उनके लिए बड़ा है. उनका कहना है कि इलाके के काफी युवा सेना में जाना चाहते हैं. लेकिन तैयारी के लिए कोई जगह नहीं मिलती. इसके साथ साथ घूमने के लिए भी कोई जगह नहीं है, ऐसे में खेल स्टेडियम बहुत बड़ी जरूरत है.
बुजुर्ग बोले- सड़कों का मुद्दा भी सबसे बड़ा
वहीं गांव के बुजुर्गों का कहना है कि गांव में काफी जगह जलभराव की समस्या है. इसका समाधान होना बेहद जरूरी है. गांव में सड़कें नहीं होने की वजह से जगह-जगह पानी भरता है. लोगों को परेशानी होती है. साथ ही ग्राम पंचायत से जिला मुख्यालय पर जाने के वाली सड़क भी खस्ताहाल है. वहीं गांव में नालियों और गंदे पानी की भी भारी समस्या है. ऐसे में इस चुनाव में सड़कों का मुद्दा भी सबसे अहम रहेगा. साथ ही नाली और गंदे पानी के निकासी की व्यवस्था करना भी एक अहम मुद्दा होगा.
मैदान में युवा प्रत्याशी
बता दें कि पिपराली पंचायत समिति के ग्राम पंचायत से चैनपुरा दादली में 3,992 मतदाता हैं. इनमें से 2,235 पुरुष मतदाता है और 1,757 महिला मतदाता हैं. वहीं इस बार ग्राम पंचायत में सरपंच पद के लिए 5 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं. खास बात यह है कि इनमें से तीन युवा उम्मीदवार हैं, जिनकी उम्र 30 साल से भी कम है. पंचायत के लिए चुनाव लड़ रहे अशोक कुमार गुर्जर सबसे कम उम्र का प्रत्याशी है. अशोक कुमार केवल 22 साल के प्रत्याशी हैं. जबकी सबसे अधिक उम्र के प्रत्याशी बजरंग लाल हैं, जो की 55 साल के हैं.
ऐसे में अब देखना यह होगा कि चैनपुरा दादली ग्राम पंचायत चुनाव के नतीजे क्या होते हैं. कौन सा उम्मीदवार मतदाताओं के मुद्दे को अपना मुद्दा बनाकर चुनाव लड़ता है. ग्राम पंचायत की जनता अगले 5 साल के लिए किसे अपना सरपंच चुनती है.