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SPECIAL REPORT : पाली में टिड्डियों का खौफ कायम, किसान इस तरह से कर रहे मुकाबला - locust problem rajasthan news

प्रदेशभर में टिड्डियां किसानों के खेतों में कहर बरपा रही हैं. पाली के रोहट में भी 3 दिनों से लगातार टिड्डियों का दल डेरा जमाए हुए है. कृषि विभाग के अधिकारी टिड्डी दल के बड़ी संख्या में पहुंचने का अनुमान नहीं लगा सके. इसके बाद इनसे बचाव के लिए किसानों ने तरह-तरह के उपाय करने शुरू कर दिए.

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पाली में टिड्डियों का कहर जारी
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Published : Jan 9, 2020, 10:33 PM IST

पाली. जिले में टिड्डियों के दल ने खेतों में जमकर तबाही मचाई हुई है. एकबारगी टिड्डियों को भगा रहे किसान भी इनके बीच घिर गए. बुधवार शाम को 5 बजे के करीब टिड्डी दल के पहुंचने पर अफरा-तफरी का माहौल हो गया. गढ़वाड़ा के निकट खेतों में खड़ी फसलों पर टिड्डी दल के हमले के बीच काश्तकारों ने खेतों की बाड़े जला दी, तो कई जगहों पर टायरों को जलाकर धुआं किया गया. साथ ही खेतों में ट्रैक्टरों को दौड़ाकर टिड्डी को भगाने की मशक्कत में जुट गए.

पाली में टिड्डियों का कहर जारी

रोहट और बाली इलाके में टिड्डी दल किसानों का नुकसान करने के बाद अब किसानों को सहायता राशि का मरहम लगाने की तैयारी शुरू हो चुकी है, लेकिन सहायता राशि का यह महरम भी उन किसानों को ही मिलने वाला है, जिनके खेतों में 33 प्रतिशत से अधिक खराबा हुआ है. हालांकि अभी भी रोहट इलाके में टिड्डी दल का हमला लगातार जारी है.

यह भी पढ़ें- PAK से आई आफत के खात्मे के लिए 'टिड्डी किलर मंत्री' ने बना दी किसान सेना

प्राकृतिक आपदा कोष से किसानों के लिए सहायता राशि

टीड्डी दल के प्रवेश करने के बाद तीसरे दिन गुरुवार को पाली में रोहट इलाके के चाटेलाव, रुपावास सहित कुछ गांव में टिड्डी दल ने अपना डेरा जमा रखा है. लगातार इस टिड्डी दल द्वारा खेतों में फसलों को चट करने के बाद किसानों के खराबे को लेकर प्रशासन की ओर से आकलन करना शुरू करवा दिया गया है. टिड्डी दलों के किसानों को दिए इस दर्द पर महरम लगाने के लिए प्राकृतिक आपदा कोष से किसानों के लिए सहायता राशि जारी की जाएगी.

जिला कलेक्टर दिनेश चंद्र जैन के अनुसार टिड्डी दल से जिले के 8 गांव के किसान सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं. इन 8 गांवों में किसानों की फसलों को टिड्डियों ने पूरी तरह से चट कर दिया है. उन्होंने बताया है कि रोहट और बाली इलाके में टिड्डी दल ने सबसे ज्यादा तांडव मचाया है. इन दोनों ही क्षेत्रों के गांव में पटवारियों को नुकसान का आकलन कर गिरदावरी तैयार करने का निर्देश दे दिया गया है.

2 दिन से कोशिश जारी

प्रशासन पिछले 2 दिनों से रोहट इलाके में आए टिड्डी दल को नियंत्रित करने के लिए लगातार प्रयास कर रहा है. बुधवार को प्रशासन की ओर से 40 से ज्यादा ट्रैक्टर से स्प्रे कर इलाके में ही टिड्डी दल को रोकने का प्रयास किया गया. जिसमें प्रशासन लगभग सफल रहा है. गुरुवार को बचे हुए टिड्डी दल को नष्ट करने के लिए चाटेलाव आसपास के गांव में टीमों को छिड़काव के लिए लगा रखा है.

यह भी पढे़ं- केंद्रीय कृषि मंत्री ने 2-3 दिन में टिड्डियों को पूरी तरह से नष्ट करने का दावा किया था, सप्ताह बाद भी टिड्डियों पर नहीं हुआ नियंत्रण

कलेक्टर का कहना है कि पाली में अब टिड्डी दल का खतरा कम हो चुका है, लेकिन टीमों को अभी भी प्रभावित इलाके में तैनात कर रखा है. जब तक इनका प्रभाव इलाके से पूरी तरह से खत्म नहीं होता है, तब तक यह राहत दल यहां मौजूद रहेंगे. पहले तो इन धरतीपुत्रों पर कुदरत की मार और अब टिड्डियों का कहर बरपा रहा है. अब देखना यह होगा कि अन्नदाता को इस समस्या से बचाने सरकार क्या-क्या कदम उठाती है.

पाली. जिले में टिड्डियों के दल ने खेतों में जमकर तबाही मचाई हुई है. एकबारगी टिड्डियों को भगा रहे किसान भी इनके बीच घिर गए. बुधवार शाम को 5 बजे के करीब टिड्डी दल के पहुंचने पर अफरा-तफरी का माहौल हो गया. गढ़वाड़ा के निकट खेतों में खड़ी फसलों पर टिड्डी दल के हमले के बीच काश्तकारों ने खेतों की बाड़े जला दी, तो कई जगहों पर टायरों को जलाकर धुआं किया गया. साथ ही खेतों में ट्रैक्टरों को दौड़ाकर टिड्डी को भगाने की मशक्कत में जुट गए.

पाली में टिड्डियों का कहर जारी

रोहट और बाली इलाके में टिड्डी दल किसानों का नुकसान करने के बाद अब किसानों को सहायता राशि का मरहम लगाने की तैयारी शुरू हो चुकी है, लेकिन सहायता राशि का यह महरम भी उन किसानों को ही मिलने वाला है, जिनके खेतों में 33 प्रतिशत से अधिक खराबा हुआ है. हालांकि अभी भी रोहट इलाके में टिड्डी दल का हमला लगातार जारी है.

यह भी पढ़ें- PAK से आई आफत के खात्मे के लिए 'टिड्डी किलर मंत्री' ने बना दी किसान सेना

प्राकृतिक आपदा कोष से किसानों के लिए सहायता राशि

टीड्डी दल के प्रवेश करने के बाद तीसरे दिन गुरुवार को पाली में रोहट इलाके के चाटेलाव, रुपावास सहित कुछ गांव में टिड्डी दल ने अपना डेरा जमा रखा है. लगातार इस टिड्डी दल द्वारा खेतों में फसलों को चट करने के बाद किसानों के खराबे को लेकर प्रशासन की ओर से आकलन करना शुरू करवा दिया गया है. टिड्डी दलों के किसानों को दिए इस दर्द पर महरम लगाने के लिए प्राकृतिक आपदा कोष से किसानों के लिए सहायता राशि जारी की जाएगी.

जिला कलेक्टर दिनेश चंद्र जैन के अनुसार टिड्डी दल से जिले के 8 गांव के किसान सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं. इन 8 गांवों में किसानों की फसलों को टिड्डियों ने पूरी तरह से चट कर दिया है. उन्होंने बताया है कि रोहट और बाली इलाके में टिड्डी दल ने सबसे ज्यादा तांडव मचाया है. इन दोनों ही क्षेत्रों के गांव में पटवारियों को नुकसान का आकलन कर गिरदावरी तैयार करने का निर्देश दे दिया गया है.

2 दिन से कोशिश जारी

प्रशासन पिछले 2 दिनों से रोहट इलाके में आए टिड्डी दल को नियंत्रित करने के लिए लगातार प्रयास कर रहा है. बुधवार को प्रशासन की ओर से 40 से ज्यादा ट्रैक्टर से स्प्रे कर इलाके में ही टिड्डी दल को रोकने का प्रयास किया गया. जिसमें प्रशासन लगभग सफल रहा है. गुरुवार को बचे हुए टिड्डी दल को नष्ट करने के लिए चाटेलाव आसपास के गांव में टीमों को छिड़काव के लिए लगा रखा है.

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कलेक्टर का कहना है कि पाली में अब टिड्डी दल का खतरा कम हो चुका है, लेकिन टीमों को अभी भी प्रभावित इलाके में तैनात कर रखा है. जब तक इनका प्रभाव इलाके से पूरी तरह से खत्म नहीं होता है, तब तक यह राहत दल यहां मौजूद रहेंगे. पहले तो इन धरतीपुत्रों पर कुदरत की मार और अब टिड्डियों का कहर बरपा रहा है. अब देखना यह होगा कि अन्नदाता को इस समस्या से बचाने सरकार क्या-क्या कदम उठाती है.

Intro:पाली. पाली के रोहट व बाली क्षेत्र में टिड्डी दलों द्वारा किसानों का नुकसान करने के बाद अब किसानों को सहायता राशि का मरहम लगाने की तैयारी शुरू हो चुकी हैं। लेकिन, सहायता राशि का यह महरम भी उन किसानों को ही मिलने वाला।है जिनके खेतों में 33 प्रतिशत से अधिक खराबा हुआ है। हालांकि अभी भी रोहट क्षेत्र में टिड्डी दल का हमला लगातार जारी है। टीडी दल के प्रवेश करने के बाद तीसरे दिन गुरुवार को पाली में रोहट क्षेत्र के चाटेलाव, रुपावास सहित कुछ गांव में टिड्डी दल ने अपना डेरा जमा रखा है। लगातार इस टिड्डी दल द्वारा खेतों में फसलों को चट करने के बाद किसानों के खराबे को लेकर प्रशासन की ओर से आकलन करना शुरू करवा दिया गया है। टिड्डी दल द्वारा किसानों को दिए इस दर्द पर महरम लगाने के लिए प्राकृतिक आपदा कोष से किसानों के लिए सहायता राशि जारी की जाएगी। जिला कलेक्टर दिनेश चंद्र जैन ने बताया है कि पाली के टिड्डी दल से 8 गांव के किसान सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। इन 8 गांव में किसानों की फसलों को टिड्डियों ने पूरी तरह से चट कर दी है। उन्होंने बताया है कि रोहट व बाली में क्षेत्र में टिड्डी दल द्वारा सबसे ज्यादा खराबा किया गया है। और इन दोनों ही क्षेत्रों के गांव में पटवारियों को नुकसान का आकलन कर गिरदावरी तैयार करने का निर्देश दे दिया गया है।


Body:जिला कलेक्टर दिनेश चंद्र जैन ने बताया कि प्रशासन की ओर से पिछले 2 दिनों से रोहट क्षेत्र में आए टिड्डी दल को नियंत्रित करने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। बुधवार को प्रशासन की ओर से 40 से ज्यादा ट्रैक्टर द्वारा स्प्रे कर क्षेत्र में ही टिड्डी दल को रोकने का प्रयास किया था। जिसमें प्रशासन लगभग सफल रहा है। गुरुवार को बचे हुए टिड्डी दल को नष्ट करने के लिए चाटेलाव व रुपावास सहित आसपास के गांव में टीमों को छिड़काव के लिए लगा रखा है। उन्होंने बताया कि इन टिड्डी दल द्वारा जिन किसानों के खेतों में नुकसान हुआ है। उनकी गिरदावरी रिपोर्ट बनाने के लिए स्थानीय पटवारियों व अधिकारियों को निर्देशित कर दिया गया है। इन सभी किसानों को प्राकृतिक आपदा कोष से सहायता राशि प्रदान की जाएगी। जिला कलेक्टर ने यह भी बताया कि यह सहायता राशि उन किसानों को मिलेगी। जिन किसानों के खेतों में 33 प्रतिशत से अधिक खराब हुआ है। अधिक खराब होने के आकलन पर किसानों को नियमानुसार सहायता राशि उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने बताया कि पाली में अब टिड्डी दल का खतरा कम हो चुका है। लेकिन टीमों को अभी भी प्रभावित क्षेत्र में तैनात कर रखा है। जब तक इनका प्रभाव क्षेत्र से पूरी तरह से खत्म नहीं होता है। तब तक यह राहत दल डीडी प्रभावित क्षेत्र में ही तैनात रहेंगे।

समाचार में जिला कलेक्टर दिनेशचन्द्र जैन की बाईट है।


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