कोटा. नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा (NEET UG 2023) की एग्जाम तारीख 7 मई घोषित की हुई है. इस परीक्षा को होने में अभी करीब 3 महीने शेष है. इस बीच देश की एमबीबीएस सीटें लगातार बढ़ रही हैं. वर्तमान में यह आंकड़ा 99763 पर पहुंच गया है. ऐसे में आगामी दिनों में नेशनल मेडिकल काउंसलिंग (NMC) से लेटर ऑफ परमिशन (LOP) एक दो और कॉलेजों को मिलेगी तब एमबीबीएस सीटों की संख्या में इजाफा होगा.
उम्मीद है कि अगले माह तक देश की मेडिकल सीटें बढ़ कर एक लाख के पार हो जाएंगी. इसका फायदा नीट यूजी 2023 देने वाले विद्यार्थियों को मिलेगा. उन्हें देश में ही ज्यादा एमबीबीएस सीटों पर प्रवेश मिल जाएगा. नेशनल मेडिकल कमिशन की आधिकारिक वेबसाइट पर वर्तमान में 654 मेडिकल कॉलेजों में 99763 सीटें बताई गई हैं. जिनमें करीब 330 सरकारी और 324 निजी व डीम्ड मेडिकल कॉलेज हैं. सरकारी मेडिकल कॉलेजों की सीट 47250 और प्राइवेट व डीम्ड यूनिवर्सिटी 52500 हो गई है.
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कोविड के बाद सीटों में 60 फीसदी इजाफा, परीक्षार्थी 25 प्रतिशत बढ़ेः कोरोना के पहले नीट यूजी 2019 में 14.1 लाख विद्यार्थियों ने नीट यूजी की परीक्षा दी थी. जबकि इस दौरान 497 मेडिकल कॉलेजों में 60800 सीटें थी. इनमें कोविड-19 के 2 साल 2020 और 2021 को छोड़कर सीटों में बढ़ोतरी हुई है. अब 645 मेडिकल कॉलेजों में 97293 सीटें हो गई हैं. इस दौरान परीक्षा देने वाले विद्यार्थियों की संख्या 17.6 लाख है. सीटों में यह बढ़ोतरी करीब 60 फ़ीसदी है. हालांकि परीक्षार्थियों की संख्या में 25 फ़ीसदी की बढ़ोत्तरी हुई है. कोविड-19 के 2 साल के बाद करीब 148 मेडिकल कॉलेजों की बढ़ोतरी हुई है.
एक सरकारी सीट के लिए 38 विद्यार्थी होंगे दावेदारः देश में मेडिकल की सीट एक लाख हो जाने पर नीट यूजी में इस साल करीब 18 लाख विद्यार्थियों के बैठने की संभावनाएं हैं. ऐसे में प्रत्येक एमबीबीएस सीट पर करीब 19 विद्यार्थियों में कंपटीशन होगा. वही जिस तरह से सरकारी सीटें करीब 50 हजार के आसपास हैं. ऐसे में 38 विद्यार्थियों के बीच में एक सरकारी सीट के लिए कंपटीशन होगा. हालांकि इस बार संभावना जताई जा रही है कि करीब 104000 एमबीपीएस सीटें नीट की काउंसलिंग के दौरान तक हो जाएंगी.
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2022 में बढ़ी थी 5900 सीटेंः साल 2021 में मेडिकल काउंसलिंग कमेटी की काउंसलिंग के जरिए भारत में 606 मेडिकल कॉलेजों की 91,415 सीटों पर प्रवेश दिया गया था. जिनमें 292 सरकारी और 314 डीम्ड यूनिवर्सिटी या प्राइवेट मेडिकल कॉलेज थे. तब सरकारी और प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों में सीटों का अनुपात देखा जाए तो 55 फीसदी सीटें प्राइवेट व 45 फीसदी सीटें सरकारी गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेजों के पास थी. 2021 में सरकारी करीब 41 हजार और प्राइवेट 50 हजार 500 सीटें थी. इसी तरह से साल 2022 की काउंसलिंग में 645 मेडिकल कॉलेज हो गए. जिनमें करीब 325 सरकारी और 320 निजी व डीम्ड मेडिकल कॉलेज थे. जिनमें 97293 सीटें थी. ऐसे में अब सीटों का प्रतिशत भी बढ़ गया. सरकारी सीटों का प्रतिशत बढ़कर 48 हो गया. सरकारी मेडिकल कॉलेजों की सीट 47000 और प्राइवेट व डीम्ड यूनिवर्सिटी 52500 हो गई थी. ऐसे में करीब 5900 सीटें साल 2022 में बढ़ी थी.
नीट यूजी 2019
- नीट परीक्षा में 14.1 लाख विद्यार्थी हुए थे शामिल.
- मेडिकल संस्थान कुल 497 थे.
- एमबीबीएस की 60800 सीटें थी.
- कुल 23 स्टूडेंट प्रत्येक मेडिकल सीट के लिए दावेदार थे.
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नीट यूजी 2022
- कुल 17.6 लाख विद्यार्थी परीक्षा में शामिल हुए थे.
- मेडिकल संस्थान 645 थे.
- कुल 97293 सीटें एमबीबीएस की थीं.
- प्रत्येक मेडिकल सीट के लिए 18 स्टूडेंट्स दावेदार थे.
आज की स्थिति व 2023 का आंकलन
- मेडिकल संस्थान 654 हैं.
- एमबीबीएस की सीटें 99763 हैं.
- कुल 18 लाख के करीब विद्यार्थी परीक्षा में शामिल हो सकते हैं.
- प्रत्येक सीट के लिए 18 स्टूडेंट्स होंगे दावेदार.