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कोटा में टारगेट ग्रुप की सैंपलिंग से सामने आ रहे ज्यादा मरीज: प्रभारी सचिव - राजस्थान न्यूज़

प्रभारी सचिव पीके गोयल शनिवार को समीक्षा बैठक लेने कोटा पहुंचे. यहां उन्होंने कोरोना महामारी को लेकर वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक ली. इस बैठक में कोरोना संक्रमण को नियंत्रण करने, होम आइसोलेशन और इंस्टीट्यूशनल क्वॉरेंटाइन के बारे में भी समीक्षा की.

Kota News, प्रभारी सचिव पीके गोयल
कोटा के प्रभारी सचिव पीके गोयल ने ली समीक्षा बैठक
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Published : Aug 1, 2020, 10:11 PM IST

कोटा. कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिए राज्य सरकार के निर्देश पर कोटा जिले के प्रभारी सचिव पीके गोयल शनिवार को समीक्षा बैठक लेने कोटा पहुंचे. यहां कलेक्ट्रेट के टैगोर हॉल में उन्होंने कोरोना महामारी को लेकर वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक ली.

कोटा के प्रभारी सचिव पीके गोयल ने ली समीक्षा बैठक

पढ़ें: CM अशोक गहलोत ने BJP पर लगाए आरोप, कहा- गजेंद्र सिंह शेखावत को देना चाहिए इस्तीफा

इस बैठक में कोरोना संक्रमण को नियंत्रण करने, होम आइसोलेशन और इंस्टीट्यूशनल क्वॉरेंटाइन के बारे में भी समीक्षा की. साथ ही मरीज के पॉजिटिव आ जाने के बाद किस तरह से उसकी केयर की जा रही है, इस पर भी उन्होंने जानकारी ली. होम आइसोलेशन के मरीज पाबंदियों की पालना कर रहे हैं या नहीं, इसकी भी जानकारी जुटाई. कोविड-19 महामारी को रोकने के लिए जागरूकता की तैयारी पर भी अधिकारियों से चर्चा की.

पढ़ें: Special: मानसून आया पर अच्छी बारिश की बाट जोह रहे किसान, अब तक नहीं हुई बुवाई

वहीं, पत्रकारों से बातचीत करते हुए प्रभारी सचिव गोयल ने कहा कि कोटा में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या एकदम से बढ़ी है. हालांकि, ये संख्या बढ़ना चिंता की बात नहीं है, क्योंकि सेंपलिंग को सही और व्यवस्थित तरीके से किया जा रहा है. सैंपल उन्हीं लोगों के लिए जा रहे हैं, जिनमें कोरोना संक्रमण की ज्यादा संभावना है. टारगेटेड ग्रुप को ही सैंपल कलेक्शन में हिट किया जा रहा है. साथ ही उन लोगों के ज्यादा नमूने लिए जा रहे हैं, जिनको कोरोना संक्रमण होने का खतरा है. इनमें 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों और कोरोना वॉरियर्स के नमूने लिए रहे हैं.

'लॉकडाउन से लोग नहीं हो परेशान'

प्रभारी सचिव पीके गोयल कहा कि राज्य में परिस्थितियों के मुताबिक जिला कलेक्टर अपने एरिया में कई पाबंदी लगा रहे हैं. स्थानीय परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए मेडिकल विभाग के सीएमएचओ और मेडिकल कॉलेज प्रिंसिपल के साथ परिस्थिति की तुलना करते हुए लॉकडाउन भी लगाया जा रहा है. साथ ही छूट भी दी जा रही है. प्रभारी सचिव गोयल ने कहा कि लॉकडाउन और पाबंदियां इस तरह से लागू की जाए कि आम जनता को कोरोना के चलते असुविधा ना हो.

'पटरी पर लानी है लोगों की जिंदगी'

लॉकडाउन की वजह से पहले ही बाजार की स्थिति कमजोर हो गई है. इकोनामी में गिरावट आ गई है. ज्यादातर लोग बेरोजगार हो गए हैं. ऐसे में अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाना है. लोगों को रोजगार भी देने का प्रयास होना चाहिए. कोरोना संक्रमण को लेकर सावधानी बररते हुए लोगों की जिंदगी को पटरी पर लाना है.

राशन से लेकर स्पेशल स्कीम तक पर की चर्चा

बैठक के दौरान ही प्रभारी सचिव गोयल ने कोरोना के अलावा पानी, बिजली, कृषि, राशन, बारिश ज्यादा होने पर बाढ़ नियंत्रण और स्पेशल स्कीम के जरिए लोगों तक पहुंचने वाली राहत समय से पहुंचे, इस पर भी चर्चा की.

कोटा. कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिए राज्य सरकार के निर्देश पर कोटा जिले के प्रभारी सचिव पीके गोयल शनिवार को समीक्षा बैठक लेने कोटा पहुंचे. यहां कलेक्ट्रेट के टैगोर हॉल में उन्होंने कोरोना महामारी को लेकर वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक ली.

कोटा के प्रभारी सचिव पीके गोयल ने ली समीक्षा बैठक

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इस बैठक में कोरोना संक्रमण को नियंत्रण करने, होम आइसोलेशन और इंस्टीट्यूशनल क्वॉरेंटाइन के बारे में भी समीक्षा की. साथ ही मरीज के पॉजिटिव आ जाने के बाद किस तरह से उसकी केयर की जा रही है, इस पर भी उन्होंने जानकारी ली. होम आइसोलेशन के मरीज पाबंदियों की पालना कर रहे हैं या नहीं, इसकी भी जानकारी जुटाई. कोविड-19 महामारी को रोकने के लिए जागरूकता की तैयारी पर भी अधिकारियों से चर्चा की.

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वहीं, पत्रकारों से बातचीत करते हुए प्रभारी सचिव गोयल ने कहा कि कोटा में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या एकदम से बढ़ी है. हालांकि, ये संख्या बढ़ना चिंता की बात नहीं है, क्योंकि सेंपलिंग को सही और व्यवस्थित तरीके से किया जा रहा है. सैंपल उन्हीं लोगों के लिए जा रहे हैं, जिनमें कोरोना संक्रमण की ज्यादा संभावना है. टारगेटेड ग्रुप को ही सैंपल कलेक्शन में हिट किया जा रहा है. साथ ही उन लोगों के ज्यादा नमूने लिए जा रहे हैं, जिनको कोरोना संक्रमण होने का खतरा है. इनमें 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों और कोरोना वॉरियर्स के नमूने लिए रहे हैं.

'लॉकडाउन से लोग नहीं हो परेशान'

प्रभारी सचिव पीके गोयल कहा कि राज्य में परिस्थितियों के मुताबिक जिला कलेक्टर अपने एरिया में कई पाबंदी लगा रहे हैं. स्थानीय परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए मेडिकल विभाग के सीएमएचओ और मेडिकल कॉलेज प्रिंसिपल के साथ परिस्थिति की तुलना करते हुए लॉकडाउन भी लगाया जा रहा है. साथ ही छूट भी दी जा रही है. प्रभारी सचिव गोयल ने कहा कि लॉकडाउन और पाबंदियां इस तरह से लागू की जाए कि आम जनता को कोरोना के चलते असुविधा ना हो.

'पटरी पर लानी है लोगों की जिंदगी'

लॉकडाउन की वजह से पहले ही बाजार की स्थिति कमजोर हो गई है. इकोनामी में गिरावट आ गई है. ज्यादातर लोग बेरोजगार हो गए हैं. ऐसे में अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाना है. लोगों को रोजगार भी देने का प्रयास होना चाहिए. कोरोना संक्रमण को लेकर सावधानी बररते हुए लोगों की जिंदगी को पटरी पर लाना है.

राशन से लेकर स्पेशल स्कीम तक पर की चर्चा

बैठक के दौरान ही प्रभारी सचिव गोयल ने कोरोना के अलावा पानी, बिजली, कृषि, राशन, बारिश ज्यादा होने पर बाढ़ नियंत्रण और स्पेशल स्कीम के जरिए लोगों तक पहुंचने वाली राहत समय से पहुंचे, इस पर भी चर्चा की.

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