कोटा. मेडिकल प्रवेश परीक्षा (नीट यूजी 2023) के परिणाम के बाद 11.45 लाख विद्यार्थी काउंसलिंग का इंतजार कर रहे हैं. मेडिकल काउंसलिंग कमिटी में दिव्यांग विद्यार्थियों के लिए एक नोटिफिकेशन जारी किया है. जिसके अनुसार अब उम्मीद की जा सकती है कि आने वाले कुछ दिन में काउंसलिंग के लिए शेड्यूल जारी कर दिया जाएगा.
एजुकेशन एक्सपर्ट देव शर्मा ने बताया कि नोटिफिकेशन में दिव्यांग विद्यार्थियों से संबंधित दिव्यांगता प्रमाण पत्र का ऑनलाइन पोर्टल शुरू होने की जानकारी दी है. यह काउंसलिंग के जल्द शुरू होने का संकेत हैं. इस दिव्यांगता प्रमाण पत्र जारी करने के लिए नामित (डेजिग्नेटिड) मेडिकल संस्थानों से ऑनलाइन जारी किया गया दिव्यांगता का प्रमाण पत्र प्राप्त कर लें. इसके लिए स्टूडेंट को किसी एक संस्थान में उपस्थित होकर दिव्यांगता की जांच करानी होगी. इसके बाद एमसीसी के ऑनलाइन-पोर्टल से जारी किए जाने वाला दिव्यांगता प्रमाण पत्र संबंधित मेडिकल संस्थान की सहायता से ले सकेगा. देव शर्मा ने बताया कि एमसीसी इसके लिए 16 मेडिकल संस्थानों को ही अनुमति दी है. राजस्थान में केवल एसएमएस मेडिकल कॉलेज इसमें शामिल हैं.
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MBBS सीट में 20 व क्वालीफाई स्टूडेंट 30 फीसदी : देव शर्मा ने बताया कि पिछले दो साल में मेडिकल संस्थानों की संख्या 595 से बढ़कर 704 हो गई है. एमबीबीएस सीटों की संख्या भी 89 हजार से बढ़कर 1.07 लाख हो गई है. यह आंकड़े एमबीबीएस में प्रवेश के इच्छुक विद्यार्थियों को खुश जरूर करते हैं, लेकिन एमबीबीएस प्रवेश के लिए आयोजित नीट यूजी के क्वालीफाई स्टूडेंट की संख्या बढ़ने पर हताश भी करते है. क्योंकि साल साल 2021 से 2023 में क्वालीफाई स्टूडेंट्स की संख्या 2.75 लाख बढ़ी है. यह बढ़ोतरी करीब 30 फीसदी है, जबकि एमबीबीएस सीटों में बढ़ोतरी महज 20 फीसदी हुई है.
नीट यूजी और एमबीबीएस सीटों के 3 सालों के आंकड़े :
- साल 2021 में 595 मेडिकल कॉलेजों की 89 हजार सीटें थी. जबकि क्वालीफाई स्टूडेंट की संख्या 8.7 लाख थी.
- साल 2022 में मेडिकल कॉलेज 645 और सीटें 97293 हो गईं, जबकि क्वालीफाई स्टूडेंट की संख्या 9.93 लाख थी.
- साल 2023 में मेडिकल कॉलेजों की संख्या अभी तक 704 हो गई है. इनमें सीटें 1.07 लाख हैं, जबकि क्वालीफाई स्टूडेंट की संख्या 11.45 लाख है.