कोटा. मामले के अनुसार तीन बार कोटा की लाडपुरा सीट से बीजेपी के विधायक रहे भवानी सिंह राजावत दो दिन पहले लोगों की शिकायत पर उद्योगनगर एरिया की लौहार बस्ती पहुंचे थे. जहां पर पूर्व विधायक ने जयपुर विद्युत वितरण निगम लिमिटेड की फ्रेंचाइजी कंपनी और कोटा की बिजली व्यवस्था संभाल रही कोटा इलेक्ट्रिसिटी डिसटीब्यूशन लिमिटेड के अधिकारियों के खिलाफ जमकर कड़े शब्दों के प्रहार किए थे. साथ ही बिजली कंपनी के कार्मिकों सीनियर कंजूमर ऑफिसर एसपी सिंह और जेईएन शोभित से भीड़ के सामने कान पकड़वा कर लोगों से माफी भी मंगवाई थी.
इस मामले को राज्य मानवाधिकार आयोग ने गंभीर माना है, केईडीएल कार्मिकों के मानव अधिकारों का हनन हुआ है. आयोग ने नाराजगी जताते हुए मुख्य सचिव और कोटा एसपी से 26 अगस्त तक रिपोर्ट मांगी है. इस मामले में उद्योग नगर थाना पुलिस ने केईडीएल की शिकायत पर पूर्व विधायक भवानी सिंह राजावत के खिलाफ राजकार्य में बाधा धमकाने और गाली गलौज करने का मुकदमा दर्ज कर लिया है.
इस मामले को राज्य मानवाधिकार आयोग ने गंभीर माना है, केईडीएल कार्मिकों के मानव अधिकारों का हनन हुआ है. आयोग ने नाराजगी जताते हुए मुख्य सचिव और कोटा एसपी से 26 अगस्त तक रिपोर्ट मांगी है. साथ ही केईडीएल के अधिकारियों के सामने लोगों से कहा कि इस बार जब भी कंपनी के लोग आपके इलाके के घरों में आए, तो उन्हें कमरों में बंद कर लेना और मुझे बुला लेना.
राजावत यही नहीं रुके थे, उन्होंने साफ कहा कि गरीब का बिल भले ही 10 हजार आए या 15 हजार, वो केवल 500 रुपए ही जमा करवाएगा. वहीं दबंगई दिखाते हुए केईडीएल के कर्मचारियों को कान पकड़वा कर माफी मंगवाई थी.
पुलिस का कहना है कि पूर्व विधायक राजावत और उनके कार्यकर्ताओं के खिलाफ बिजली कंपनी के कार्मिकों के साथ दुर्व्यवहार, धमकी देने और अपमानजनक व्यवहार के मामले में प्रकरण दर्ज कर लिया है. जिसकी जांच कर आगे की कार्रवाई की जाएगी. हालांकि पूर्व विधायक राजावत के लिए इस तरह का यह पहला मामला नहीं है. इससे पहले भी कई सरकारी कर्मचारियों के साथ में बदतमीजी और अभद्रता करने के मामला सामने आ चुके है.