करौली. ग्रामीण विकास एव पंचायत राज मंत्री रमेश मीणा के बुधवार को आकस्मिक निरीक्षण में वन विभाग की ओर से निर्माणाधीन लवकुश वाटिका के घटिया निर्माण की पोल खुल गई. मंत्री ने घटिया निर्माण पर नाराजगी जताते हुए समिति गठित कर जांच कराने और दोषियों पर कार्रवाई के निर्देश दिए (Ramesh Meena took action in low quality work) हैं.
मंत्री रमेश मीणा रणगमा तालाब के समीप वन विभाग की ओर से 90 लाख रुपए की लागत से बनवाई जा रही लव कुश वाटिका के आकस्मिक निरीक्षण के लिए पहुंचे. मौके पर चारदिवारी, कमरे और अन्य निर्माण कार्य कराए जा रहे थे. मंत्री ने चारदिवारी का निर्माण कार्य जांचा, तो पोल खुल गई. चारदिवारी में बजरी सीमेंट का निर्धारित मात्रा में उपयोग नहीं था और वह खोखली बनाई हुई थी. इस पर मंत्री ने नाराजगी जताई.
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मंत्री रमेश मीणा ने एडीएम मुरलीधर प्रतिहार, डीएफओ सुरेश मिश्रा, पीडब्ल्यूडी SE मुरालीलाल सहित अन्य अधिकारियों को मौके पर बुलाया. मंत्री ने चारदिवारी, कमरे और अन्य स्ट्रक्चर को सभी के सामने तुड़वा कर घटिया निर्माण कार्य को दिखाया. मौके पर निर्माण में उपयोग की जा रही सामग्री की गुणवत्ता भी घटिया थी. निर्माणाधीन कमरे और अन्य स्ट्रक्चर का भी निर्माण घटिया था. मंत्री ने घटिया निर्माण पर नाराजगी जताते हुए जांच कराने और घटिया निर्माण को छुड़वाकर फिर से गुणवत्तापूर्ण निर्माण कराने के निर्देश दिए. मंत्री ने कहा कि सरकारी पैसे का दुरुपयोग और भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. दोषियों के खिलाफ कार्रवाई कराने के साथ गुणवत्तापूर्ण कार्य कराया जाएगा.
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अवैध रास्ते की जांच के दिए निर्देश: स्थानीय लोगों की शिकायत पर मंत्री जांच के लिए पहुंचे. इस दौरान एडीएम, डीएफओ, करौली तहसीलदार सहित अन्य अधिकारी भी मौजूद रहे. मंत्री ने कहा कि स्थानीय लोगों ने सरकारी भूमि से अवैध रूप से रास्ता निकालने की शिकायत की है. वन अधिकारियों पर भी मिलीभगत के आरोप लगाए गए हैं. आरोप है कि भू माफियाओं से मिलीभगत कर आवासीय कॉलोनी के लिए अवैध रूप से रास्ता निकाला गया है. मंत्री ने कहा कि सरकारी भूमि से रास्ता निकालना अधिकारियों की लापरवाही है. उन्होंने एडीएम को सीमांकन कराने और सरकारी भूमि को सुरक्षित करने के निर्देश दिए. साथ ही मामले की जांच करा कर दोषियों पर कार्रवाई के निर्देश दिए.