जोधपुर. बहुचर्चित संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटी घोटाले के आरोप में घिरे केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत की ओर से राजस्थान हाईकोर्ट में पेश याचिका पर जस्टिस मनोज कुमार गर्ग ने सुनवाई से इनकार करते हुए मामला दूसरी बेंच के समक्ष भेज दिया. अब राजस्थान हाईकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश एमएम श्रीवास्तव के समक्ष मामला जाएगा और वहां से अन्य बेंच में लिस्ट के लिए रेफर किया जाएगा.
केंद्रीय मंत्री शेखावत की ओर से राजस्थान हाई कोर्ट मुख्यपीठ में विविध आपराधिक याचिका पेश करते हुए मल्टी स्टेट कॉपरेटिव सोसायटी होने से सभी मामले सीबीआई को सुपुर्द कर जांच कराने की मांग की है. साथ ही एसओजी में दर्ज एफआईआर को भी निरस्त कराने की गुहार है. वरिष्ठ अधिवक्ता धीरेन्द्र सिंह दासपा ने केंद्रीय मंत्री शेखावत की ओर से मामले को लिस्टे करवाया, लेकिन जस्टिस मनोज कुमार गर्ग का रोस्टर होने से इस पर सुनवाई से इनकार कर दिया. अब मामला दूसरी बेंच के समक्ष रेफर होगा और वहां पर सुनवाई होगी.
गौरतलब है कि संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटी राजस्थान और गुजरात दोनों राज्यों में होने से केंद्रीय मंत्री शेखावत ने भारत सरकार के नए कानून के तहत मामले को सीबीआई के समक्ष रेफर करने एवं एसओजी की एफआईआर को निरस्त करने की याचिका पेश की थी. संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसायटी घोटाले से जुड़े मामले राजस्थान और गुजरात दोनों ही राज्यों में दर्ज किए गए हैं. गुजरात के मामले पहले ही केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो को भेज दिए गए हैं और अब राजस्थान के मामले भी सीबीआई को रेफर करने की याचिका दायर की गई, लेकिन फिलहाल इस पर सुनवाई नहीं हो पाई है. अब देखना है कि कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश इस मामले को सुनवाई के लिए दूसरी बेंच के समक्ष कब रेफर करते हैं.