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खेतड़ी : पंडित झाबरमल शर्मा की 132वीं जयंती मनाई गई

पत्रकारिता के भीष्म पितामह कहे जाने वाले पं. झाबरलाल शर्मा की 132वीं जयंती विवेकानंद राजकीय महाविद्यालय खेतड़ी में मनाई गई.

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पंडित झाबरमल शर्मा की 132वीं जयंती
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Published : Jan 24, 2020, 8:36 AM IST

खेतड़ी (झुंझुनू). पत्रकारिता के भीष्म पितामह पं. झाबरमल शर्मा की 132 वीं जयन्ति गुरुवार को स्वामी विवेकानंद राजकीय महाविद्यालय खेतड़ी में मनाई गई. इस समारोह में मुख्य अतिथि पूर्व प्रधान बजरंगसिंह चारावास उपस्थित रहे. समारोह की अध्यक्षता स्वामी दयासरानंद ने की.

पंडित झाबरमल शर्मा की 132वीं जयंती

पूर्व विधायक हजारीलाल गुर्जर,कांग्रेस ब्लाक अध्यक्ष गोकुलचन्द सैनी,विश्व मानव अधिकार संघ के प्रदेश अध्यक्ष फतेहसिंह बड़ाऊ, राधेश्याम शर्मा, श्रीनारायण हॉस्पिटल के प्रबन्ध निदेशक एसपी यादव, ईश्वर पाण्डे,विजयपाल भाटीवाड, चिरंजीलाल चौधरी, अशोक सिंह शेखावत भी मौजूद रहे.

इस अवसर पर वक्ताओं ने कहा, कि पंडित झाबरमल शर्मा त्याग की प्रतिमूर्ति थे. उन्होंने उस जमाने में पत्रकारिता की, जब अंग्रेजों के खिलाफ लिखना तो दूर बोलना भी जुर्म होता था. पंडित जी ने स्वामी विवेकानंद और राजा अजीत सिंह और खेतड़ी के रिश्तों को जगजाहिर किया. यही वजह है, कि आज सम्पूर्ण विश्व में जब भी स्वामी विवेकानंद का नाम आता है, वहां खेतड़ी का नाम बड़े सम्मान के साथ लिया जाता है. उनके प्रयासों से राजस्थान का प्रथम रामकृष्ण मिशन खेतड़ी में ही खुला था. जिसके वह जीवनपर्यंत अध्यक्ष रहे. वे जसरापुर से खेतड़ी पैदल प्रतिदिन रामकृष्ण मिशन में शोध कार्य के लिए आते थे, लेकिन अपने भोजन की पोटली और पानी की केतली साथ रखते थे.

पढ़ें: टोंकः जैन मंदिर से चोरी के वारदात में 3 आरोपी गिरफ्तार, कुंए से मिला दानपात्र, अभी मूर्तियों की तलाश जारी

उन्होंने कहा, कि हमें इस बात का गर्व है कि पत्रकारिता के भीष्म पितामह पंडित झाबरमल शर्मा की जन्म स्थली और कर्मस्थली खेतड़ी रहा है. उन्होंने खेतड़ी का इतिहास, सीकर का इतिहास, आदर्श नरेश, खेतड़ी नरेश और विवेकानंद सहित दर्जनों पुस्तको के माध्यम से खेतड़ी और स्वामी विवेकानंद के रिश्तों की जानकारी दी है. वहीं पंडित झाबरमल शर्मा जयंती समारोह में आये हुए अतिथियों का डॉ. राघवेन्द्र पाल, कुंजबिहारी शर्मा, अनिल शर्मा, लक्ष्मीकांत शर्मा, संजय सैनी, गिरवर सिंह निर्वाण, नरेन्द्र स्वामी, निकेश पारीक, सुभाष मान, गोपालराम सैनी, प्रदीप तंवर, जयन्त खाखरा, यश शर्मा, रघुनंदन शाह, राजेन्द्र नवीन, राहुल शर्मा, राकेश वर्मा, अनिल अग्रवाल, बलबीर मीणा, रोताश मीणा ने साफा पहनाकर और माला पहना कर सम्मान किया.

समारोह के संयोजक गोपाल शर्मा ने कार्यक्रम की रुपरेखा पर प्रकाश डाला. मोहित सक्सेना ने स्वागत भाषण दिया और अन्त में डॉ. संतोष सैनी ने लोगों का आभार व्यक्त किया.

खेतड़ी (झुंझुनू). पत्रकारिता के भीष्म पितामह पं. झाबरमल शर्मा की 132 वीं जयन्ति गुरुवार को स्वामी विवेकानंद राजकीय महाविद्यालय खेतड़ी में मनाई गई. इस समारोह में मुख्य अतिथि पूर्व प्रधान बजरंगसिंह चारावास उपस्थित रहे. समारोह की अध्यक्षता स्वामी दयासरानंद ने की.

पंडित झाबरमल शर्मा की 132वीं जयंती

पूर्व विधायक हजारीलाल गुर्जर,कांग्रेस ब्लाक अध्यक्ष गोकुलचन्द सैनी,विश्व मानव अधिकार संघ के प्रदेश अध्यक्ष फतेहसिंह बड़ाऊ, राधेश्याम शर्मा, श्रीनारायण हॉस्पिटल के प्रबन्ध निदेशक एसपी यादव, ईश्वर पाण्डे,विजयपाल भाटीवाड, चिरंजीलाल चौधरी, अशोक सिंह शेखावत भी मौजूद रहे.

इस अवसर पर वक्ताओं ने कहा, कि पंडित झाबरमल शर्मा त्याग की प्रतिमूर्ति थे. उन्होंने उस जमाने में पत्रकारिता की, जब अंग्रेजों के खिलाफ लिखना तो दूर बोलना भी जुर्म होता था. पंडित जी ने स्वामी विवेकानंद और राजा अजीत सिंह और खेतड़ी के रिश्तों को जगजाहिर किया. यही वजह है, कि आज सम्पूर्ण विश्व में जब भी स्वामी विवेकानंद का नाम आता है, वहां खेतड़ी का नाम बड़े सम्मान के साथ लिया जाता है. उनके प्रयासों से राजस्थान का प्रथम रामकृष्ण मिशन खेतड़ी में ही खुला था. जिसके वह जीवनपर्यंत अध्यक्ष रहे. वे जसरापुर से खेतड़ी पैदल प्रतिदिन रामकृष्ण मिशन में शोध कार्य के लिए आते थे, लेकिन अपने भोजन की पोटली और पानी की केतली साथ रखते थे.

पढ़ें: टोंकः जैन मंदिर से चोरी के वारदात में 3 आरोपी गिरफ्तार, कुंए से मिला दानपात्र, अभी मूर्तियों की तलाश जारी

उन्होंने कहा, कि हमें इस बात का गर्व है कि पत्रकारिता के भीष्म पितामह पंडित झाबरमल शर्मा की जन्म स्थली और कर्मस्थली खेतड़ी रहा है. उन्होंने खेतड़ी का इतिहास, सीकर का इतिहास, आदर्श नरेश, खेतड़ी नरेश और विवेकानंद सहित दर्जनों पुस्तको के माध्यम से खेतड़ी और स्वामी विवेकानंद के रिश्तों की जानकारी दी है. वहीं पंडित झाबरमल शर्मा जयंती समारोह में आये हुए अतिथियों का डॉ. राघवेन्द्र पाल, कुंजबिहारी शर्मा, अनिल शर्मा, लक्ष्मीकांत शर्मा, संजय सैनी, गिरवर सिंह निर्वाण, नरेन्द्र स्वामी, निकेश पारीक, सुभाष मान, गोपालराम सैनी, प्रदीप तंवर, जयन्त खाखरा, यश शर्मा, रघुनंदन शाह, राजेन्द्र नवीन, राहुल शर्मा, राकेश वर्मा, अनिल अग्रवाल, बलबीर मीणा, रोताश मीणा ने साफा पहनाकर और माला पहना कर सम्मान किया.

समारोह के संयोजक गोपाल शर्मा ने कार्यक्रम की रुपरेखा पर प्रकाश डाला. मोहित सक्सेना ने स्वागत भाषण दिया और अन्त में डॉ. संतोष सैनी ने लोगों का आभार व्यक्त किया.

Intro:Body:पंडित झाबरमल शर्मा ने खेतड़ी को कलम के बल पर विश्व के मानचित्र पर दिलवायी पहचान(132वीं जयन्ति मनाई)
खेतड़ी/झुंझुनू
पत्रकारिता के भीष्म पितामह पं.झाबरमल शर्मा की 132 वीं जयन्ति गुरुवार को स्वामी विवेकानंद राजकीय महाविद्यालय खेतड़ी में समारोह पूर्वक मनाई गई। समारोह में मुख्य अतिथि पूर्व प्रधान बजरंगसिंह चारावास थे। समारोह की अध्यक्षता स्वामी दयासरानंद ने की। पूर्व विधायक हजारीलाल गुर्जर,कांग्रेस के ब्लाक अध्यक्ष गोकुलचन्द सैनी,विश्व मानव अधिकार संघ के प्रदेश अध्यक्ष फतेहसिंह बड़ाऊ,राधेश्याम शर्मा,श्रीनारायण हॉस्पिटल के प्रबन्ध निदेशक एसपी यादव,ईश्वर पाण्डे,विजयपाल भाटीवाड,चिरंजीलाल चौधरी,अशोक सिंह शेखावत विशिष्ट अतिथि थे। इस अवसर पर वक्ताओ ने कहा कि पंडित झाबरमल शर्मा त्याग की प्रतिमूर्ति थे। पंडित झाबरमल शर्मा ने उस जमाने में पत्रकारिता की जब अंग्रेजो के खिलाफ लिखना तो दूर बोलना भी जुर्म होता था। पंडित जी ने स्वामी विवेकानंद व राजा अजीत सिंह व खेतड़ी के रिश्तो को जगजाहिर किया यही कारण है। आज सम्पूर्ण विश्व में जब भी स्वामी विवेकानंद का नाम आता है। खेतड़ी का नाम बड़े सम्मान के साथ लिया जाता है। उनके सद्प्रयासो से राजस्थान का प्रथम रामकृष्ण मिशन खेतउ़ी में खुला। जिसके वे जीवंत प्रयंत अध्यक्ष रहे। पंडित शर्मा जी त्याग की प्रतिमूर्ति थे। वे जसरापुर से खेतड़ी पैदल प्रतिदिन रामकृष्ण मिशन में शोध कार्य के लिए आते थे परन्तु अपने भोजन की पोटली व पानी की केतली साथ लेकर आते थे जब कभी कोई व्यक्ति उनसे पूछता था कि पंडित जी पानी तो मिशन में भी है तब उनका एक ही जवाब होता था। संस्था बेटी के समान होती है। उसके घर का पानी भी नही पीना चाहिए। इस अवसर पर उपस्थित युवाओ को उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए। खेतड़ी को विश्व के मानचित्र पर पहचान के लिए खेतड़ी सदैव पं.शर्मा का ऋणी रहेगा। हमे इस बात का गर्व है कि पत्रकारिता के भीष्म पितामह पंडित झाबरमल शर्मा की जन्म स्थली व कर्म स्थली खेतड़ी रहा हैं। उन्होने खेतड़ी का इतिहास,सीकर का इतिहास,आदर्श नरेश,खेतड़ी नरेश और विवेकानंद सहित दर्जनो पुस्तको के माध्यम से खेतड़ी व स्वामी विवेकानंद के रिश्तो की जानकारी दी है। समारोह के संयोजक गोपाल शर्मा ने कार्यक्रम की रुपरेखा पर प्रकार डाला तथा मोहित सक्सेना ने स्वागत भाषण दिया व अन्त में डा.संतोष सैनी ने धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम का शुभारम्भ अतिथियो ने पं.झाबरमल शर्मा के चित्र व स्वामी विवेकानंद की प्रतिमा पर दीप प्रज्जवलन व माल्याअर्पण कर किया। इस अवसर पर पूनम शर्मा व कोमल कुमावत ने आये हुये अतिथियो का तिलक लगाकर स्वागत किया। इस अवसर पर एमकेटीटी कालेज की छात्राओ शर्मिला,कोमल,रमिना व एमएलएस स्कूल की नन्ही बालिका महक सोनी ने देश भक्ति कार्यक्रमो की प्रस्तुति दी।
इन्होने कि सम्मान- पंडित झाबरमल शर्मा जयन्ति समारोह मे आये हुये अतिथियो का डा.राघवेन्द्र पाल,कुंजबिहारी शर्मा,अनिल शर्मा,लक्ष्मीकांत शर्मा,संजय सैनी,गिरवर सिंह निर्वाण,नरेन्द्र स्वामी,निकेश पारीक,सुभाष मान,गोपालराम सैनी,प्रदीप तंवर,जयन्त खाखरा,यश शर्मा,रघुनंदन शाह,राजेन्द्र नवीन,राहुल शर्मा,राकेश वर्मा,अनिल अग्रवाल,बलबीर मीणा,रोताश मीणा ने आए हुए अतिथियो का साफा पहनाकर व माला पहना कर सम्मान किया। इस अवसर पर प्रभुदयाल मीणा,सुमन देवी भूरिया,नरेश शास्त्री,नंदकिशोर चौकड़ीवाला,बंशीधर सैनी,पवन कौशिक,चुन्नीलाल चनेजा,भवानीशंकर शर्मा,राजकुमार व्यास,विनोद शर्मा,अनिता जांगिड़,रमेश जोशी,सांवरमल शास्त्री,डा.अवतार कृष्ण शर्मा,डा.सोमदत भगत,विजय खटाना,मानसिंह मान,महावीर प्रसाद तोगडिय़ा,राजवीर सिराधना,मनोज सेन,कल्पना,अनिता,सरजीत स्वामी,फूलचन्द मीणा,करतार शर्मा,रामकिशन यादव, सहित सैकडो लोग उपस्थित थे।

बाईट बजरंग सिंह चारावास, पुर्व प्रधानConclusion:
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