जयपुर. राज्य के किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य पर मूंग, उड़द, मूंगफली और सोयाबीन की 10.57 लाख मीट्रिक टन के खरीद के प्रस्ताव भारत सरकार को भेजे गए हैं. जिसके तहत 15 अक्टूबर से किसानों के ऑनलाइन पंजीकरण की प्रक्रिया को शुरू किया जाएगा.
मूंग, उड़द और सोयाबीन की 1 नवंबर से और 7 नवंबर से मूंगफली खरीद प्रस्तावित है. यह जानकारी मुख्य सचिव डीबी गुप्ता ने शासन सचिवालय में आयोजित दलहन और तिलहन खरीद की राज्यस्तरीय स्टीयरिंग कमेटी की बैठक के दौरान दी. जहां बैठक में सहकारिता, कृषि, राजफैड, नेफेड, आरएसडब्लयूसी, सीडब्लयूसी के साथ ही संबंधित अधिकारी मौजूद थे.
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वहीं इस बैठक के दौरान मुख्य सचिव डी बी गुप्ता ने कहा कि खरीद 90 दिन की अवधि के लिए होगी. उन्होंने बताया कि किसानों को शीघ्र भुगतान हो इसके लिए वेयर हाउस रिसिप्ट तत्काल नेफेड को भिजवानें की व्यवस्था की जाएगी. उन्होंने निर्देश दिए कि नेफेड वेयर हाउस पर सर्वेयर को अधिक से अधिक संख्या में नियुक्त करें. जिससे खरीदी गई उपज समय पर गोदामों में जमा हो सके. उन्होंने पर्याप्त मात्रा में भंडारण की व्यवस्था सुनिश्चित करने और गोदामों पर उपज जमा कराने के दौरान परिवहन में अव्यवस्था नहीं होने के संबंध में निर्देश दिए.
वहीं अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त निरंजन आर्य ने कहा कि किसानों को समय पर भुगतान हो इसके लिए आवश्यक कार्यशील पूंजी और रिवाल्विंग फंड उपलब्ध कराए जाएंगे. जिससे नेफेड से राशि प्राप्त नहीं होने पर किसानों को शीघ्र भुगतान किया जा सके. उन्होंने कहा कि वित्त विभाग से राजफैड को सहयोग प्रदान किया जाएगा. अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, राजस्थान राज्य भंडारण निगम पवन कुमार गोयल ने कहा कि भंडारण को लेकर गोदामों की समय पर व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी.
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वहीं प्रमुख शासन सचिव, सहकारिता नरेश पाल गंगवार ने कहा कि मूंग की 3 लाख मीट्रिक टन, उड़द 96 हजार, सोयाबीन 3.54 लाख और मूंगफली 3.07 लाख मीट्रिक टन की खरीद का लक्ष्य रखा गया है. उन्होंने कहा कि किसानों का ऑनलाइन पंजीयन आधार आधारित अभिप्रमाणन से किया जाएगा और बायोमैट्रिक सत्यापन असफल होने पर आधार ओटीपी की सुविधा भी किसानों को दी जाएगी. वहीं, प्रबंध निदेशक, राजफैड सुषमा अरोड़ा ने कहा कि खरीद के लिए राज्य में 300 खरीद केन्द्र स्थापित किए जाएंगे और जिला कलेक्टरों से भी इस संबंध में और राय ली जा रही है.