जयपुर. राजधानी जयपुर में अलग-अलग जगहों पर फर्जी कॉल सेंटर बनाकर विदेशियों से ठगी की वारदातों को अंजाम देने के मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए 40 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. शहर में चार जगहों पर फर्जी कॉल सेंटर संचालित किए जा रहे थे, जिनपर छापेमारी कर बड़े पैमाने पर उपकरण जब्त किए गए हैं.
4 जगहों पर फर्जी कॉल सेंटर : पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने बताया कि शहर में कई जगहों पर फर्जी कॉल सेंटर बनाकर मोबाइल एप्लीकेशन के माध्यम से राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ठगी की वारदातों को अंजाम दिया जा रहा है. पुलिस मुख्यालय की इंटेलिजेंस टीम, पुलिस कमिश्नरेट की सीएसटी और स्थानीय पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई में बड़े पैमाने पर ठगी की वारदातों का खुलासा हुआ है. अतिरिक्त पुलिस आयुक्त (प्रथम) कैलाशचंद विश्नोई ने बताया कि चित्रकूट, भांकरोटा, करणी विहार और रामनगरिया थाना इलाकों में छापेमारी कर 40 युवक-युवतियों को गिरफ्तार किया गया है.
इस तरह देते वारदातों को अंजाम : पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने बताया कि युवक-युवतियां अलग-अलग एप्लिकेशन और संचार तकनीक का प्रयोग करते हुए यूएसए के बुजुर्ग लोगों को अपना निशाना बनाते और विभिन्न अपराधों में फंसाने की धमकी देते. उनका इंटरनेट डेटा और कंप्यूटर सिस्टम हैक कर ये वारदातों को अंजाम देते थे. उन्होंने बताया कि ये विदेशी लोगों को टारगेट कर उनके खिलाफ अरेस्ट वारंट जारी होने की धमकी देते थे. टैक्सास से जारी फर्जी न्यायिक आदेश की कॉपी भेजकर भी कई लोगों को डराने-धमकाने की जानकारी सामने आई है. जब इन्हें लगता कि शिकार पूरी तरह से इनके जाल में फंस चुका है तो ये मामला निपटाने और अरेस्ट वारंट निरस्त करने के नाम पर बिटकॉइन में वसूली करते हैं.
कंप्यूटर पर हैकिंग का मैसेज भेजते : अतिरिक्त पुलिस आयुक्त कैलाशचंद विश्नोई ने बताया कि करणी विहार और भांकरोटा इलाके में पकड़े गए फर्जी कॉल सेंटरों पर विदेश में बैठे लोगों के कंप्यूटर पर हैकिंग का मैसेज भेजकर उनकी आइडेंटिटी को अपराध में काम में लेने की बात कहकर डराया जाता था. इसके बाद हैकिंग दुरुस्त करने के बदले ठगी की वारदातों को अंजाम दिया जाता था.