जयपुर. पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत क्रम-3 महानगर द्वितीय ने 23 वर्षीय एमबीए छात्रा से (charges against former IAS Mohanty in rape case) दुष्कर्म से जुडे़ मामले में आरोपी पूर्व आईएएस बीबी मोहंती पर कोर्ट की ओर से लगाए चार्ज संशोधित करने के लिए राज्य सरकार की ओर से पेश प्रार्थना पत्र को खारिज कर दिया है.
प्रार्थना पत्र में विशेष लोक अभियोजक ललिता संजीव महरवाल ने बताया कि मामले में आरोप पत्र पेश होने के बाद कोर्ट ने मोहंती के खिलाफ सिर्फ 354ए और 376(2) के तहत ही चार्ज लगाए थे. जबकि मोहंती पीड़िता को आईएएस की तैयारी करा रहे थे और शिक्षक की भूमिका में थे. इसके अलावा मोहंती ने पीड़िता के साथ साथ बार-बार दुष्कर्म किया था. ऐसे में मोहंती के खिलाफ 376(2)(एफ) और 376(2) के तहत भी चार्ज लगाए जाने चाहिए.
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इसका विरोध करते हुए मोहंती की ओर से कहा गया कि अभियोजन पक्ष ने मामले की सुनवाई में देरी करने के लिए यह प्रार्थना पत्र पेश किया है. बचाव पक्ष की ओर से वर्ष 2021 में ही अंतिम लिखित बहस पेश की जा चुकी है, लेकिन अभियोजन पक्ष ने अब तक अपना जवाब पेश नहीं किया है. इस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने प्रार्थना पत्र खारिज कर दिया.
बता दें कि 23 वर्षीय एमबीए छात्रा ने 25 जनवरी 2014 को तत्कालीन आईएएस बीबी मोहंती के खिलाफ महेश नगर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी. जिसमें कहा गया था कि मोहंती ने आईएएस की तैयारी कराने के नाम पर डेढ साल तक उसके साथ कई जगह ले जाकर दुष्कर्म किया था. मालूम हो की इससे पूर्व पीड़िता ने अपने हॉस्टल संचालक के खिलाफ भी दुष्कर्म का मामला दर्ज कराया था, लेकिन अदालत में पक्षद्रोही होने के कारण अदालत ने हॉस्टल संचालक को बरी करते हुए पीड़िता के खिलाफ प्रसंज्ञान लिया था.