जयपुर. 15 मई को गहलोत सरकार को अपनी तीन मांगों पर 15 दिन का अल्टीमेटम देने के बाद राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने अब चुप्पी साध ली है. न केवल सचिन पायलट बल्कि उनके समर्थक विधायकों ने भी चुप्पी साध ली है. 15 मई के अल्टीमेटम के बाद से चाहे मंत्री सुभाष गर्ग, महेश जोशी या विधायक चेतन डूडी हों. सभी के बयान आने बंद हो गए हैं. वहीं जोधपुर में पायलट और गजेंद्र सिंह के पोस्टर लगाएं गए हैं. इसपर भी पायलट और उनके समर्थकों ने अपनी चुप्पी नहीं तोड़ी है.
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गहलोत का विरोध पर पार्टी के साथः इसी दौरान शुक्रवार को सचिन पायलट पहलवानों के धरने में शामिल होने दिल्ली के जंतर-मंतर पहुंचे थे. जहां उनके साथ विधायक रामनिवास गावड़िया और मुकेश भाकर भी मौजूद रहे. साफ है कि पायलट राजस्थान में भले ही अपनी सरकार पर सवाल खड़े कर रहे हों, लेकिन इसके साथ ही वह कांग्रेस पार्टी के मुद्दों में उसके साथ खड़े हो रहे हैं. ऐसे में कन्फ्यूजन के हालात बन गए हैं कि पायलट विरोध किसका कर रहे हैं ? पायलट के शुक्रवार को पहलवानों के समर्थन में दिल्ली जाने के बाद यह कहा जा रहा है कि पायलट केवल गहलोत का विरोध कर रहे हैं, लेकिन वह कांग्रेस पार्टी के साथ हैं.
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इन हालात में देश में कोई खुश नहीं हो सकताः पायलट ने दिल्ली में कहा कि जिस देश में जवान, किसान और पहलवान दुखी हों वह देश खुश नहीं हो सकता. सचिन पायलट ने कहा कि 27 दिन से हमारे देश का गौरव और खेल के जरिए देश और समाज का नाम रोशन करने वाले पहलवान धरने पर बैठे हैं, लेकिन इतने समय बाद भी उन्हें न्याय नहीं मिल रहा. जब देश का नौजवान, किसान और पहलवान दुखी हो तो देश में कोई खुश नहीं हो सकता. उन्होंने कहा कि जब खिलाड़ियों की मांग इतनी है कि उनके आरोपों की निष्पक्ष जांच हो तो फिर हमें मंथन करना होगा कि ऐसा क्यों नहीं हो रहा. उन्होंने सरकार से खिलाड़ियों की वाजिब मांगों पर कार्रवाई करने की मांग करते हुए कहा कि कानून और संविधान के तहत जो प्रावधान है, जो कार्रवाई होनी चाहिए. खिलाड़ी केवल वही कार्यवाही मांग रहे हैं और केंद्र सरकार को वह मांगे पूरी करनी चाहिए.
जोधपुर में पोस्टर लगाकर पायलट से पूछा सवालः सचिन पायलट ने जो भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाया तो उनसे इस बात के भी सवाल हुए कि वह संजीवनी मामले में हुए भ्रष्टाचार को लेकर केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत पर कार्रवाई की मांग क्यों नहीं कर रहे ? हालांकि सचिन पायलट इस सवाल का जवाब 7 अप्रैल को ही दे चुके हैं. जब उन्होंने कहा था कि संजीवनी मामले में कार्रवाई हो रही है और यह अच्छी बात है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई हुई. इसके बाद उनकी मांग यह है कि बाकी जो भ्रष्टाचार के मामले हैं उन पर भी कार्रवाई होनी चाहिए. पायलट के इन जवाबों के बावजूद जोधपुर में सचिन पायलट और केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत के बड़े-बड़े होर्डिंग लगाए गए हैं. उसमें सचिन पायलट से यही सवाल पूछा गया कि संजीवनी घोटाले पर चुप क्यों हो पायलट जी, जनता जवाब मांगती है ? हालांकि पायलट या उनके समर्थकों ने जोधपुर में लगे होर्डिंग्स को लेकर चुप्पी साध ली है. वैसे भी जोधपुर में लगे इन होर्डिंग को कुछ ही देर में हटा दिया गया था.