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सेटेलाइट अस्पताल में चरमराई स्वास्थ्य व्यवस्था, एक बेड पर 4 मरीज लेटने पर मजबूर

जयपुर के चाकसू सेटेलाइट अस्पताल में इन दिनों वायरल और डेंगू के मरिजों में लगातार बढ़ोतरी हो रही है. यहीं तक की अस्पताल में एक ही बेड पर 3-4 मरीज नजर आ रहे हैं. वहीं अस्पताल की ओपीडी में रोजाना करीब 800 से 900 मरीज आ रहे हैं, जिनमें से ज्यादातर वायरल बुखार या डेंगू से ग्रसित है.

जयपुर न्यूज, jaipur news
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Published : Oct 30, 2019, 7:13 PM IST

चाकसू (जयपुर). चाकसू में स्थित सेटेलाइट अस्पताल का इन दिनों हाल खराब है, यहां डेंगू और वायरल के मरीजों की लगातार तादाद बढ़ रही है. क्षेत्र में डेंगू और वायरल बुखार ने अपने पांव पसार रहा है. अस्पताल ओपीडी में करीब 800 से 900 मरीज रोजाना पहुंच रहे हैं, जिसमें अधिकांश मरीज डेंगू व वायरल बुखार के हैं.

सेटेलाइट अस्पताल में नहीं है डेगू की जांच सुविधा

मामले को लेकर जब अस्पताल में भर्ती मरीजों से जानकारी ली तो पता चला कि कई घरों 4-5 सदस्य बुखार की चपेट में हैं. लेकिन, इसको लेकर चिकित्सा विभाग की नींद अभी नहीं टूटी है. अस्पताल में भर्ती मरीजों का कहना है कि उन्हें डेंगू की जांच भी बाहर से करवानी पड़ रही है. जबकि, क्षेत्र का सबसे बड़ा सेटेलाइट अस्पताल होने के बावजूद भी यहां डेंगू की जांच की कोई सुविधा नहीं है.

पढ़ेंः अलवर: निकाय चुनाव को लेकर बढ़ी सरगर्मी, भाजपा ने जारी किया आवेदन पत्र

अस्पताल में एक बेड पर 2-3 नहीं बल्कि 4 मरीजों का इलाज चल रहा है.वहीं अस्पताल में सरकारी आंकड़ों में क्षेत्र से अबतक 25 से 30 डेंगू मरीज पाए गए हैं. लेकिन, अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या देखकर सरकारी आंकड़ों की पोल साफ खुलती दिखाई देती है.

पढ़ें: आपणी सरकार: बीकानेर निकाय चुनाव को लेकर कांग्रेस-भाजपा में एक के मुकाबले दस आवेदन

मरीज और उनके तीमारदारों की माने तो उनके गांव क्षेत्र, कॉलोनियों में अभी तक चिकित्सा विभाग स्थानीय प्रशासन की ओर से फॉगिंग या कोई दवा का छिड़काव नहीं किया गया. जिससे क्षेत्र में लगातार घर-घर मरीजों की संख्या बढ रही है. फिर भी चिकित्सा विभाग की तरफ कोई पुख्ता इंतजाम नहीं किया गया है.

चाकसू (जयपुर). चाकसू में स्थित सेटेलाइट अस्पताल का इन दिनों हाल खराब है, यहां डेंगू और वायरल के मरीजों की लगातार तादाद बढ़ रही है. क्षेत्र में डेंगू और वायरल बुखार ने अपने पांव पसार रहा है. अस्पताल ओपीडी में करीब 800 से 900 मरीज रोजाना पहुंच रहे हैं, जिसमें अधिकांश मरीज डेंगू व वायरल बुखार के हैं.

सेटेलाइट अस्पताल में नहीं है डेगू की जांच सुविधा

मामले को लेकर जब अस्पताल में भर्ती मरीजों से जानकारी ली तो पता चला कि कई घरों 4-5 सदस्य बुखार की चपेट में हैं. लेकिन, इसको लेकर चिकित्सा विभाग की नींद अभी नहीं टूटी है. अस्पताल में भर्ती मरीजों का कहना है कि उन्हें डेंगू की जांच भी बाहर से करवानी पड़ रही है. जबकि, क्षेत्र का सबसे बड़ा सेटेलाइट अस्पताल होने के बावजूद भी यहां डेंगू की जांच की कोई सुविधा नहीं है.

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अस्पताल में एक बेड पर 2-3 नहीं बल्कि 4 मरीजों का इलाज चल रहा है.वहीं अस्पताल में सरकारी आंकड़ों में क्षेत्र से अबतक 25 से 30 डेंगू मरीज पाए गए हैं. लेकिन, अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या देखकर सरकारी आंकड़ों की पोल साफ खुलती दिखाई देती है.

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मरीज और उनके तीमारदारों की माने तो उनके गांव क्षेत्र, कॉलोनियों में अभी तक चिकित्सा विभाग स्थानीय प्रशासन की ओर से फॉगिंग या कोई दवा का छिड़काव नहीं किया गया. जिससे क्षेत्र में लगातार घर-घर मरीजों की संख्या बढ रही है. फिर भी चिकित्सा विभाग की तरफ कोई पुख्ता इंतजाम नहीं किया गया है.

Intro:तो निजी लैबो पर महंगी जांच कराना बनी मरीजों की मजबूरी

चाकसू सेटेलाइट अस्पताल में एक बेड पर 2-3 नहीं 4 मरीजों का चल रहा है इलाज
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चाकसू (जयपुर). कहने को तो चाकसू में क्षेत्र का सबसे बड़ा सेटेलाइट अस्पताल पर इन दिनों हाल खराब। यहां डेंगू के ढंक से लगातार बढ़ रही मरीजों की तादाद से अंदाजा लगा लीजिए कि क्षेत्र में डेंगू व वायरल बुखार ने किस तरह से अपने पांव पसार रहा हैं। Body:अस्पताल ओपीडी में आठ सौ से हजार मरीज रोजाना पहुंच रहे है। जिसमें अधिकांश मरीज डेंगू व वायरल बुखार के है। मामले को लेकर जब अस्पताल में भर्ती मरीजों से जानकारी ली गई तो चौकाने वाला मामला सामने आया है। कि कई घरों 4-5 सदस्य यहाँ बुखार की चपेट में है।

बाइट-01: डॉ. राजेश चौधरी, चिकित्सा अधिकारी, चाकसू।

लेकिन बावजूद इसके चिकित्सा विभाग की नींद अभी नहीं टूटी, अस्पताल में भर्ती मरीजों का कहना है कि उन्हें डेंगू की जांच भी बाहर से करवानी पड़ रही। जबकि क्षेत्र का सबसे बड़ा सेटेलाइट अस्पताल होने के बावजूद भी यहाँ डेंगू की जांच की कोई सुविधा नहीं है। जिससे मरीज को मजबूरी में बाहर निजी लेबो पर जाकर ही महंगी दरों पर जांच करवानी पड़ रही। जिससे उनकी जेब भी ढ़ीली हो गई।

बाइट-02, 03 : मरीज के परिजन।Conclusion:इधर, अस्पताल में सरकारी आंकड़ों में क्षेत्र में अबतक 25 से 30 डेंगू मरीज पाए गए है। लेकिन अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या देकर सरकारी आंकड़ों की पोल साफ खुलती दिखाई देती है।

बाईट-04 : डॉ. हरप्रीत कौर, चिकित्सक, चाकसू।

मरीज और उनके तीमारदारों की माने तो उनके गांव क्षेत्र, कॉलोनियों में अभी तक चिकित्सा विभाग स्थानीय प्रशासन की ओर से फॉगिंग या कोई दवा का छिड़काव किया गया। जिससे क्षेत्र में लगातार घर-घर मरीजों की संख्या बढ रही है। फिर भी चिकित्सा विभाग की तरफ कोई पुख्ता इंतजाम नहीं है।

-ईटीवी भारत के लिए चाकसू से मुकेश के सिर्रा की रिपोर्ट।
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