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कोरोना का नया वेरिएंट माइल्ड इन्फेक्शन जैसा, लेकिन कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी

राजस्थान में कोविड के मामले सामने आने के बाद सीएम से लेकर प्रदेश का स्वास्थ्य महकमा सब अलर्ट मोड में नजर आ रहे हैं. भले ही कोविड की इस लहर को खतरनाक नहीं माना जा रहा है बावजूद इसके डॉक्टर्स ने ढिलाई नहीं बरतने की सलाह दी है. वहीं स्टेट कोविड मैनेजमेंट टीम का गठन किया गया है. साथ ही कोविड के मद्देनजर बेड,ऑक्सीजन और दवाइयां को लेकर मॉक ड्रिल करते हुए व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जा रही हैं.

कोरोना को लेकर स्वास्थ्य महकमा अलर्ट
कोरोना को लेकर स्वास्थ्य महकमा अलर्ट
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Dec 23, 2023, 5:18 PM IST

Updated : Dec 23, 2023, 6:14 PM IST

कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी

जयपुर. दुनियाभर में कोरोना की दस्तक ने एक बार फिर से सभी को सकते में डाल दिया है. दुनिया के 41 देशों में कोविड-19 के नए वैरिएंट JN.1 का पता लगा है. विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक अब तक इस नए वैरिएंट के 7 हजार से अधिक मामले रिपोर्ट किए जा चुके हैं. भारत में भी JN.1 वैरिएंट के कई मामले आ चुके हैं. देश के कई राज्यों में कोविड केस अचानक बढ़े हैं.

राजस्थान में भी कमेटी बनाकर कोविड-19 की रोकथाम और नियंत्रण की जिम्मेदारी सौंपी गई है. प्रदेश के सबसे बड़े सरकारी मेडिकल कॉलेज से जुड़े अस्पतालों के डॉक्टर्स ने भी जिम्मेदारी संभाल ली है. एसएमएस, जेके लोन, जयपुरिया और पं दीनदयाल अस्पताल में अलग से कोविड वार्ड बनाया गया है, जबकि कोविड पॉजिटिव मरीजों को भी आइसोलेट किया जा रहा है. अस्पताल प्रशासन की ओर से दवाओं के लिए भी अलग से व्यवस्थाएं की जा रही है.

पढ़ें: देश में कोविड-19 के 752 नए मामले, चार मरीजों की मौत

स्वास्थ्य महकमा अलर्ट मोड पर: डॉक्टर्स का कहना है कि भले ही कोरोना वायरस का नया म्युटेंट खतरनाक नहीं हो, लेकिन सभी इंतजाम जरूर सुनिश्चित किया जा रहे हैं. दूसरी गंभीर बीमारियों से ग्रसित मरीजों की खास तौर पर निगरानी रखने की जरूरत है. डॉक्टर्स ने ये भी स्पष्ट किया कि हाल ही में जो कोरोना से एक मौत हुई वो केवल कोविड से नहीं बल्कि को-मॉर्बिडिटी यानी अन्य किसी गंभीर बीमारी से ग्रसित होने की वजह से हुई है. वहीं राज्य सरकार के निर्देश पर 26 दिसंबर को मॉक ड्रिल कर बेड दवाइयां और ऑक्सीजन की व्यवस्थाओं को और सुनिश्चित किया जाएगा. हालांकि पं दीनदयाल अस्पताल का एक्सटेंशन होने की वजह से फिलहाल ऑक्सीजन प्लांट सक्रिय नहीं है.

कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी
कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी

कोरोना को लेकर अलर्ट: हालांकि सर्दी के मौसम में खांसी, बुखार, जुकाम और गला खराब होने की समस्या होना सामान्य बात है. केरल, कर्नाटक, तमिलनाडु, गोवा और महाराष्ट्र में कोविड के नए वेरिएंट JN.1 पाया गया है. राजस्थान का चिकित्सा महकमा निगरानी के साथ-साथ मैनेजमेंट में भी जुट गया है, हालांकि राजस्थान में सामने आए मरीजों के कोविड वेरिएंट की पहचान नहीं हो सकी है, लेकिन इनके सैंपल जिनोम सीक्वेंसिंग के लिए जरूर भेजे गए हैं. सैंपल के रिपोर्ट 5 से 7 दिन में आएगी, हालांकि विशेषज्ञों की माने तो इस बार कोविड का JN.1 वेरिएंट माइल्ड इंफेक्शन जैसा नजर आया है.

कोरोना को लेकर स्वास्थ्य महकमा अलर्ट
कोरोना को लेकर स्वास्थ्य महकमा अलर्ट

पढ़ें: कोरोना के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए एक्शन मोड में चिकित्सा विभाग, कोविड मैनेजमेन्ट टीम का गठन

बहरहाल, कोविड के मामलों को लेकर जहां केन्द्र से लेकर राज्य सरकार अलर्ट मोड पर है. वहीं, डॉक्टर अब लोगों को सचेत रहने की भी हिदायत दे रहे हैं ताकि कोविड संक्रमण ना फैले और प्रदेश में हालात ना बिगड़े.

कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी

जयपुर. दुनियाभर में कोरोना की दस्तक ने एक बार फिर से सभी को सकते में डाल दिया है. दुनिया के 41 देशों में कोविड-19 के नए वैरिएंट JN.1 का पता लगा है. विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक अब तक इस नए वैरिएंट के 7 हजार से अधिक मामले रिपोर्ट किए जा चुके हैं. भारत में भी JN.1 वैरिएंट के कई मामले आ चुके हैं. देश के कई राज्यों में कोविड केस अचानक बढ़े हैं.

राजस्थान में भी कमेटी बनाकर कोविड-19 की रोकथाम और नियंत्रण की जिम्मेदारी सौंपी गई है. प्रदेश के सबसे बड़े सरकारी मेडिकल कॉलेज से जुड़े अस्पतालों के डॉक्टर्स ने भी जिम्मेदारी संभाल ली है. एसएमएस, जेके लोन, जयपुरिया और पं दीनदयाल अस्पताल में अलग से कोविड वार्ड बनाया गया है, जबकि कोविड पॉजिटिव मरीजों को भी आइसोलेट किया जा रहा है. अस्पताल प्रशासन की ओर से दवाओं के लिए भी अलग से व्यवस्थाएं की जा रही है.

पढ़ें: देश में कोविड-19 के 752 नए मामले, चार मरीजों की मौत

स्वास्थ्य महकमा अलर्ट मोड पर: डॉक्टर्स का कहना है कि भले ही कोरोना वायरस का नया म्युटेंट खतरनाक नहीं हो, लेकिन सभी इंतजाम जरूर सुनिश्चित किया जा रहे हैं. दूसरी गंभीर बीमारियों से ग्रसित मरीजों की खास तौर पर निगरानी रखने की जरूरत है. डॉक्टर्स ने ये भी स्पष्ट किया कि हाल ही में जो कोरोना से एक मौत हुई वो केवल कोविड से नहीं बल्कि को-मॉर्बिडिटी यानी अन्य किसी गंभीर बीमारी से ग्रसित होने की वजह से हुई है. वहीं राज्य सरकार के निर्देश पर 26 दिसंबर को मॉक ड्रिल कर बेड दवाइयां और ऑक्सीजन की व्यवस्थाओं को और सुनिश्चित किया जाएगा. हालांकि पं दीनदयाल अस्पताल का एक्सटेंशन होने की वजह से फिलहाल ऑक्सीजन प्लांट सक्रिय नहीं है.

कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी
कोरोना स्प्रेड रोकने के लिए एहतियात बरतना जरूरी

कोरोना को लेकर अलर्ट: हालांकि सर्दी के मौसम में खांसी, बुखार, जुकाम और गला खराब होने की समस्या होना सामान्य बात है. केरल, कर्नाटक, तमिलनाडु, गोवा और महाराष्ट्र में कोविड के नए वेरिएंट JN.1 पाया गया है. राजस्थान का चिकित्सा महकमा निगरानी के साथ-साथ मैनेजमेंट में भी जुट गया है, हालांकि राजस्थान में सामने आए मरीजों के कोविड वेरिएंट की पहचान नहीं हो सकी है, लेकिन इनके सैंपल जिनोम सीक्वेंसिंग के लिए जरूर भेजे गए हैं. सैंपल के रिपोर्ट 5 से 7 दिन में आएगी, हालांकि विशेषज्ञों की माने तो इस बार कोविड का JN.1 वेरिएंट माइल्ड इंफेक्शन जैसा नजर आया है.

कोरोना को लेकर स्वास्थ्य महकमा अलर्ट
कोरोना को लेकर स्वास्थ्य महकमा अलर्ट

पढ़ें: कोरोना के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए एक्शन मोड में चिकित्सा विभाग, कोविड मैनेजमेन्ट टीम का गठन

बहरहाल, कोविड के मामलों को लेकर जहां केन्द्र से लेकर राज्य सरकार अलर्ट मोड पर है. वहीं, डॉक्टर अब लोगों को सचेत रहने की भी हिदायत दे रहे हैं ताकि कोविड संक्रमण ना फैले और प्रदेश में हालात ना बिगड़े.

Last Updated : Dec 23, 2023, 6:14 PM IST
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