कोटपूतली (जयपुर). राजकीय बीडीएम अस्पताल में सोमवार को उस समय हड़कंप मच गया, जब दूषित भोजन के शिकार एक के बाद एक 13 मरीज अस्पताल पहुंचे . इन मरीजों में 6 बच्चे, 3 पुरुष और 4 महिलाएं शामिल थे. ये मरीज एक ही परीवार के है जो कि बानसूर के इसरा के बास के रहने वाले हैं. वहीं डॉक्टरों ने फौरन इनका इलाज इमरजेंसी में भर्ती कर शुरू किया.
मरीजों के परिजनों के मुताबिक रात को इन लोगों ने खाने में गेहूं-बाजरे की रोटी, गोभी की सब्जी खाई थी और दूध पिया था. हो सकता है कि खाने में कोई जहरीला जानवर पड़ गया हो. हालांकि, परिजनों का यह भी कहना है कि खाना पकाने के बर्तनों को संभाला गया तो ऐसा कुछ नहीं मिला. वहीं मरीजों की हालत खतरे से बाहर है. जांच रिपोर्ट आने के बाद इन्हें छुट्टी भी दे दी जाएग.
पढ़ेंः अब भाजपा से जुड़े पूर्व सैनिक CAA को लेकर लोगों को करेंगे जागृत
फूड पॉइजनिंग के मामलों पर डॉक्टरों की सलाह है कि खाना पकाते समय खास ध्यान रखना चाहिए, विशेषकर गांवों में. कई बार गांवों में खाना पकाकर खुला छोड़ दिया जाता है. इससे कई छोटे जानवर खाने में गिर सकते हैं. साथ ही बताया कि कई बार बासी खाना भी जहरीला हो जाता है. ऐसे में ज्यादा देर का पका खाना नहीं खाना चाहिए. इन बातों पर ध्यान देकर हम फूड पॉइजनिंग से बच सकते हैं.