जयपुर. मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने जो सीता माता को लेकर विवादित बयान दिया था, उससे तो वह पीछे हट गए हैं. उन्होंने कहा है कि सीता माता हमारी आराध्य देवी हैं, जिसे हम आज भी मानते हैं और भगवान श्री राम हमारे पूजनीय हैं. लेकिन गुढ़ा के निशाने पर बुधवार को इस मामले में बयान देने वाले सांसद दीया कुमारी और केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत जरूर आ गए हैं.
राजेंद्र सिंह गुढ़ा ने दीया कुमारी को लेकर कहा कि दीया कुमारी जो संस्कार और संस्कृति सिखा रही हैं, यह मेरे लिए शर्म की बात है. उन्होंने कहा कि हम खुद भगवान श्री राम के वंशज हैं और अक्सर यह कहा जाता है कि जिसने अच्छा काम किया उसमें राम घुस गया और जिसने खराब काम किया उसका राम निकल गया. इसमें भाजपा नेता कहां संस्कार की बात कर रहे हैं. वहीं, केंद्रीय मंत्री शेखावत को भी उन्होंने निशाने पर लेते हुए कहा कि गजेंद्र सिंह के बारे में मेरी जानकारी में है कि उन्होंने भुंमरा गांव में जो अग्निकांड हुआ था, उसमें पीड़ितों को 51 लाख देने की घोषणा की थी, लेकिन वह 51 लाख अब तक पीड़ितों को उन्होंने नहीं दिए.
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विवाद जिसमें भाजपा और कांग्रेस के राजपूत नेता एक दूसरे पर कर रहे बयानबाजी : आपको बता दें कि मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने उदयपुरवाटी विधानसभा में गुढ़ा गोड़जी के सरकारी अस्पताल में एक कार्यक्रम में कहते दिख रहे थे कि सीता माता कितनी सुंदर होंगी, उसकी कल्पना नहीं की जा सकती. उनके आकर्षण के कारण ही श्री राम और रावण जैसे अद्भुत पुरुष पागल हो गए. वैसे ही आजकल सीएम गहलोत और पायलट मेरे पीछे भाग रहे हैं. इसका मतलब मुझ में भी कोई क्वालिटी है.
जब यह वीडियो वायरल हुआ तो केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने इसे अपने ट्विटर अकाउंट पर शेयर करते हुए लिखा था कि हिंदुओं की हंसी उड़ाने और अपने वोट बैंक की चर्चा करने के लिए कितना नीचे गिरेंगे यह कांग्रेसी ? भारत की आस्था प्रभु श्री राम को पागल बताते हुए राजस्थान सरकार के मंत्री राजेंद्र गुढ़ा को स्वयं के अस्तित्व पर शर्म नहीं आई और यह जानबूझकर दिया गया बयान है.
ऐसे में उनके बयानों की वजह से आज कांग्रेस की स्थिति शूर्पणखा जैसी हो गई है. वहीं, सांसद दीया कुमारी ने भी बयान जारी कर कहा था कि हिंदू देवी-देवताओं और सनातन संस्कृति का अपमान करना कांग्रेस नेताओं की आदत बन चुकी है. माता-सीता को लेकर अपमानजनक टिप्पणी करने वह हिंदुओं की आस्था को आहत करने के लिए मंत्री राजेंद्र गुढ़ा को माफी मांगनी चाहिए.