जयपुर. सीएम अशोक गहलोत ने पीएम को पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने बताया कि वर्तमान में योजना के तहत दलहन और तिलहन के कुल उत्पादन की 25 प्रतिशत सीमा ही समर्थन मूल्य पर खरीद के लिए निर्धारित की हुई है. इस कारण बहुत से किसानों की उपज की खरीद नहीं हो पाती है. उन्होंने समर्थन मूल्य पर खरीद की सीमा उत्पादन का 25 प्रतिशत से बढ़ाकर 50 प्रतिशत करने की मांग की है.
मुख्यमंत्री ने पत्र में कहा है कि योजना में एक किसान से एक दिन में अधिकतम 25 क्विंटल उपज खरीदने की अधिकतम सीमा निर्धारित की गई है. इस कारण से किसानों को एक ही बार में अपनी उपज बेचने में परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि योजना के दिशा-निर्देशों में एक किसान से प्रतिदिन खरीद की अधिकतम सीमा को हटाया जाए या इसमें वृद्धि की जाए. गहलोत ने कहा कि इस योजना में खरीद के लिए 90 दिवस की अवधि ही निर्धारित की गई है. इस अवधि के कम होने के कारण खरीद प्रक्रिया पर अत्यधिक दबाव रहता है और खरीद केन्द्रों पर भीड़ के कारण व्यवस्थाएं बनाए रखने में बाधा आती है.
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मुख्यमंत्री ने पीएम से आग्रह किया है कि इस 90 दिवस की अवधि को बढ़ाकर कम से कम 150 दिन किया जाना उचित होगा. ताकि किसानों को अगली फसल की तैयारी के लिए भी पर्याप्त समय मिल सके और वे बिना किसी परेशानी के खरीद केन्द्रों पर अपनी उपज बेच सकें. उन्होंने कहा कि प्रदेश में खरीफ की मूंग, उड़द, सोयाबीन और मूंगफली की खरीद प्रक्रिया जल्द प्रारम्भ होने वाली है और इसके प्रस्ताव केन्द्र को भिजवाए जा चुके हैं. उन्होंने अनुरोध किया है कि दलहन और तिलहन के उत्पादन में महत्वपूर्ण स्थान रखने वाले राजस्थान के मेहनतकश किसानों के हित में इस योजना की बाधाओं को शीघ्र दूर किया जाए. उन्होंने कहा है कि इससे किसान उत्पादन एवं उत्पादकता में वृद्धि के लिए प्रेरित होंगे और राज्य के साथ-साथ देश में कृषि विकास, खाद्य सुरक्षा एवं मूल्य स्थिरीकरण को बढ़ावा मिलेगा.