डूंगरपुर. लॉकडाउन की वजह से जिले में तीन महीनों से निजी बसों के चक्के थमें हुए हैं. बावजूद इसके निजी बसों के संचालक टैक्स, फाइनेंस की किश्तों समेत चौतरफा मार झेल रहे हैं. ऐसे में बस ऑपरेटर अब सरकार से टैक्स माफ करने की गुहार लगा रहे हैं.
जिले में निजी बस ओपेरेटरों ने बसों पर लगने वाले टैक्स को माफ करने की मांग को लेकर डूंगरपुर विधायक गणेश घोघरा और पूर्व सांसद ताराचंद भगोरा को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन दिया है. ज्ञापन में 6 माह का टैक्स माफ करने की मांग की गई है. एसोसिएशन के अध्यक्ष वल्लभराम पाटीदार ने बताया कि, पिछले तीन माह से कारोबार पूरी तरह बंद है. इस जनजाति क्षेत्र में कोई भी बस ऑपरेटर आर्थिक रूप से सक्षम नहीं है. सभी ऋण के माध्यम से बसों का संचालन करते है और अपनी आजीविका चलाते हैं.
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उन्होंने बताया कि राज्य सरकार की ओर से परीक्षण के तौर पर शुरू की गई लम्बी मार्गाें की बसों में ही सवारियों के अभाव के कारण रोजाना बस निरस्त करनी पड़ रही है. ऐसी स्थिति में निजी बसों का संचालन घाटे का सौदा है. यदि इस समय अन्य राज्य सरकारों की तरह निजी बस ऑपरेटरों का 6 माह का टैक्स माफ नहीं किया गया तो आने वाली आर्थिक विषमता को देखते हुए अगले निर्णय तक संघ की ओर से निजी बसों का संचालन पूर्ण रूप से बंद रखा जाएगा. उन्होंने सरकार से उनकी मांगों को पूरा करने की मांग रखी है.