डूंगरपुर. जिले में 77 हजार हैक्टेयर में रबी की फसल की बुवाई पूरी हो चुकी है और अब खाद की डिमांड बढ़ गई है. ऐसे में किसान खाद के लिए कतारों में लग रहे है. वही डूंगरपुर क्रय-विक्रय सहकारी समिति की ओर से 65 से ज्यादा लैम्प्स पर खाद का वितरण किया जा रहा है. जहां करीब 4 हजार कट्टों से ज्यादा खाद उपलब्ध है.
सर्दी का असर बढ़ने के साथ ही किसान खेतो में जुटे हुए है. कृषि विभाग के अनुसार जिले में इस बार 77 हजार हैक्टेयर में रबी की फसलों की बुवाई की गई है. सबसे ज्यादा 49 हजार हैक्टेयर में गेंहू की बुवाई की गई है. जिले में कही पर गेंहू में पहली बार तो कई जगह पर दूसरी बार पिलाई (सिंचाई) की जा रही हैं.
इसके साथ ही फसलों के लिए खाद (उर्वरक) की डिमांड भी शुरू हो गई है. जिले में रबी की फसल के लिए करीब 2 हजार 500 क्विंटल खाद की डिमांड है, जिसमे से करीब 2 हजार क्विंटल खाद क्रय-विक्रय सहकारी समिति और लैम्प्स में उपलब्ध है.
क्रय-विक्रय सहकारी समिति डूंगरपुर के सहायक इंचार्ज कमल दवे ने बताया कि क्रय-विक्रय में वर्तमान में 398 बैग यूरिया उपलब्ध है. किसान खाद लेने के लिए पंहुच रहे है. किसानों को आधार कार्ड के जरिये पोस मशीन से खाद का वितरण किया जा रहा है.
जिले में 123 लैम्प्स है, जिसमें से 65 लैम्प्स में खाद का वितरण किया जा रहा है. इसके अलावा डीएपी खाद भी उपलब्ध है, लेकिन इसकी डिमांड बहुत ही कम है. कमल दवे ने बताया कि यूरिया खाद के 45 किलो के एक बैग की कीमत करीब 270 रुपये है. वहीं डीएपी 1200 रुपये प्रति बैग उपलब्ध है. उन्होंने बताया कि डिमांड के मुताबिक खाद को उपलब्ध करवाने के प्रयास किये जा रहे है.