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डूंगरपुर: रघुनाथपुरा PHC में कोविशील्ड वैक्सीन के 500 डोज खराब...चिकित्सा विभाग जांच के नाम पर लीपापोती में जुटा

देश कोरोना महामारी से जूझ रहा है और इससे बचाव को लेकर वैक्सीन ही सबसे कारगर उपाय है लेकिन जिले में चिकित्सा विभाग की लापरवाही से वैक्सीन के 500 डोज खराब हो गए।

Dungarpur Raghunathpura PHC Vaccine Case
कोविशील्ड वैक्सीन के डोज खराब
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Published : Jun 8, 2021, 9:14 PM IST

डूंगरपुर. रघुनाथपुरा PHC में कोविशील्ड वैक्सीन के डोज खराब होने का मामला सामने आने के बाद चिकित्सा विभाग जांच के नाम पर लीपापोती करने में जुटा है.

कोविशील्ड वैक्सीन के डोज खराब

दरअसल डूंगरपुर जिले में कोरोना वैक्सीनेशन को लेकर 24 मई को कोविशील्ड वैक्सीन के 500 डोज प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र रघुनाथपुरा में रखे गए थे. लेकिन जिस आईएलआर फ्रीज में इन 500 डोज को रखा गया उसमें मैसेज अलर्ट सिस्टम नहीं था और इस कारण फ्रीज का तापमान अचानक माइनस में चला गया. अलर्ट सिस्टम नहीं होने से इसकी जानकारी भी किसी को नहीं मिल पाई और वैक्सीन खराब हो गई.

पढ़ें-तपते धोरों में 'प्यास' से मर गई 5 साल की मासूम, घंटों बेसुध पड़ी रही नानी...विपक्ष ने सरकार को घेरा

मामले की भनक ब्लॉक सीएमएचओ डॉ अमोल परमार को लगी तो अस्पताल पंहुचे और वैक्सीन के बारे में जानकारी मांगी. लेकिन पीएचसी प्रभारी डॉ रामचंद्र ने फ्रीज की चाबी नहीं होना बताकर पल्ला झाड़ लिया. अब मामला सामने आने के बाद चिकित्सा विभाग की ओर से मामले की जांच करवाने की बात कहीं जा रही है.

इसके लिए सीएमएचओ डॉ महेंद्र परमार की ओर से तीन सदस्यों की जांच टीम भी बना दी है. जो अगले दो दिनों में जांच के बाद रिपोर्ट पेश करेगी. इस मामले को लेकर सीएमएचओ ने बताया कि जांच रिपोर्ट आने के बाद ही इस बारे में कुछ बता पाएंगे. लेकिन सबसे बड़ी बात यह है कि वैक्सीन को लेकर विभागीय अधिकारियों की ओर से लापरवाही बरती गई, जिस कारण डोज खराब हो गए.

डूंगरपुर. रघुनाथपुरा PHC में कोविशील्ड वैक्सीन के डोज खराब होने का मामला सामने आने के बाद चिकित्सा विभाग जांच के नाम पर लीपापोती करने में जुटा है.

कोविशील्ड वैक्सीन के डोज खराब

दरअसल डूंगरपुर जिले में कोरोना वैक्सीनेशन को लेकर 24 मई को कोविशील्ड वैक्सीन के 500 डोज प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र रघुनाथपुरा में रखे गए थे. लेकिन जिस आईएलआर फ्रीज में इन 500 डोज को रखा गया उसमें मैसेज अलर्ट सिस्टम नहीं था और इस कारण फ्रीज का तापमान अचानक माइनस में चला गया. अलर्ट सिस्टम नहीं होने से इसकी जानकारी भी किसी को नहीं मिल पाई और वैक्सीन खराब हो गई.

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मामले की भनक ब्लॉक सीएमएचओ डॉ अमोल परमार को लगी तो अस्पताल पंहुचे और वैक्सीन के बारे में जानकारी मांगी. लेकिन पीएचसी प्रभारी डॉ रामचंद्र ने फ्रीज की चाबी नहीं होना बताकर पल्ला झाड़ लिया. अब मामला सामने आने के बाद चिकित्सा विभाग की ओर से मामले की जांच करवाने की बात कहीं जा रही है.

इसके लिए सीएमएचओ डॉ महेंद्र परमार की ओर से तीन सदस्यों की जांच टीम भी बना दी है. जो अगले दो दिनों में जांच के बाद रिपोर्ट पेश करेगी. इस मामले को लेकर सीएमएचओ ने बताया कि जांच रिपोर्ट आने के बाद ही इस बारे में कुछ बता पाएंगे. लेकिन सबसे बड़ी बात यह है कि वैक्सीन को लेकर विभागीय अधिकारियों की ओर से लापरवाही बरती गई, जिस कारण डोज खराब हो गए.

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