धौलपुर. जिले के राजाखेड़ा पंचायत समिति सभागार में शनिवार को जिला कलेक्टर राकेश कुमार जायसवाल ने उपखंड स्तरीय अधिकारियों की बैठक ली. जिला कलेक्टर ने अधिकारियों के साथ बैठक करते हुए उनसे नरेगा और स्वच्छ भारत मिशन के कार्यों को लेकर फीडबैक लिया.
जिला कलेक्टर ने बताया कि नरेगा योजना के अंतर्गत जिले भर में करीब बीस हजार पांच सौ श्रमिक कार्य कर रहे हैं. लेकिन लॉकडाउन के कारण आय और रोजगार के साधनों की कमी को देखते हुए, अब इन श्रमिकों की संख्या को बढ़ाकर पैंतालीस हजार से पचास हजार करने की कार्य योजना पर विचार किया जा रहा है.
जिला कलेक्टर ने बताया कि गांव में जो सड़कें बनी हैं, उनकी किनारे करीब 5 से 6 फीट की पटरी के निर्माण के साथ ही स्वयं सहायता समूहों की सहायता से मास्क के वितरण की योजना पर बल दिया गया. जिला कलेक्टर ने बताया कि धौलपुर जिले में जो भी कोरोना संक्रमित मरीज पाए गए हैं, वह बाहर के जिलों से आए हुए हैं.
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वहीं अब जिले में करीब अठारह हजार प्रवासी श्रमिकों के आने की संभावना है. जिनके आने पर उनकी स्क्रीन और होम क्वॉरेंटाइन की व्यवस्था के लिए पूर्व में ही ग्राम स्तरीय निगरानी दल, ग्राम पंचायत स्तरीय कोर कमेटी और ग्राम स्तरीय कोरोना वॉलिंटियर्स दलों का गठन किया गया है. वॉलिंटियर्स के लिए करीब साढ़े दस हजार लोगों को चयनित किया गया है.
जिला कलेक्टर ने बताया कि जिले में बाहर के कोरोना हॉटस्पॉट राज्यों जैसे गुजरात, महाराष्ट्र, बिहार, उत्तर प्रदेश से प्रवासी श्रमिकों के आने की संभावना है. जिसके लिए इन प्रवासी श्रमिकों की ग्रामवार सूची बनाने के निर्देश दिए गए है.
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उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए धौलपुर जिला ऑरेंज श्रेणी में रखा गया है. जिसके आधार पर 3 मई के बाद लॉकडाउन के तीसरे चरण की शुरुआत होने पर जिले में लगभग सभी आर्थिक गतिविधियां शुरू हो जाएंगी. ऐसे में सभी लोग पहले की तरह लॉकडाउन के नियमों का पालन करते हुए, सोशल डिस्टेंस बनाए रखें.
कलेक्टर ने जानकारी दी कि 4 मई से शुरू होने जा रहे लॉकडाउन के तीसरे चरण में नाई की दुकान को छोड़कर लगभग सभी आर्थिक गतिविधियां और दुकानें खुल जाएंगी. वहीं इसमें सभी प्रकार के सामाजिक, धार्मिक और खेलकूद सम्बन्धी आयोजनों पर प्रतिबन्ध के साथ 10 वर्ष से कम और 60 वर्ष से अधिक के लोगों का अनावश्यक मूवमेंट पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा.