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पनपालिया गांव में ग्रामीणों ने लिया पंचायत चुनाव के बहिष्कार का निर्णय

चूरू के सरदारशहर में पनपालिया गांव के लोगों ने ग्राम पंचायत चुनावों का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है. उन्होंने यह कदम गांव को नई बनी ग्राम पंचायत घड़सीसर में जोड़े जाने के खिलाफ उठाया है.

चुनाव के बहिष्कार का निर्णय, boycott panchayat elections
पंचायत चुनाव का बहिष्कार
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Published : Jan 23, 2020, 1:54 AM IST

सरदारशहर (चूरू). दूसरी ग्राम पंचायत में जोडने के विरोध में पनपालिया गांव के लोगों ने पंचायत राज चुनाव का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है. साथ ही इसके विरोध में गांव की गुवाड़ में एकत्रित होकर विरोध जताया.

बता दें कि पनपालिया गांव पहले ग्राम पंचायत अड़सीसर से जुड़ा हुआ था, जो मात्र एक किमी पर स्थित है. अब परिसीमन के बाद अड़सीसर से हटाकर नई बनी ग्राम पंचायत घड़सीसर में जोड़ दिया गया है. जो गांव से 11 किमी दूर पड़ता है. ग्रामीणों को पहले अड़सीसर जाना पड़ेगा, फिर वहां से घड़सीसर जाना पड़ेगा.

ग्रामीणों ने लिया पंचायत चुनाव के बहिष्कार का निर्णय

ग्रामीणों ने बताया कि पनपालिया गांव वर्षों से अड़सीसर के साथ जुड़ा हुआ था. अब 11 किमी दूर घड़सीसर से जोड़कर ग्रामीणों के साथ अन्याय किया है. जब तक यह गांव वापस अड़सीसर से नहीं जोड़ा जाएगा, तब तक सभी चुनावों का बहिष्कार किया जाएगा. इस गांव में तीन वार्ड हैं, एक बार तीनों वार्ड में नामांकन किया गया, फिर ग्रामीणों ने चुनाव बहिष्कार के बाद पर्चे उठा लिए. जिसके कारण अब इन वार्डों में चुनाव नहीं होंगे और एक भी ग्रामीण वोट देने के लिए घड़सीसर नहीं जाएगा.

पढ़ें: डूंगरपुर पंचायत चुनाव में बवाल, उपद्रवियों ने दो जीप और एक बाइक को किया आग के हवाले

ग्रामीणों ने बताया कि पनपालिया क्षेत्र में राज्य सरकार से मान्यता प्राप्त तीन ढाणियां हैं. जिनकी दूरी भी अधिक है. ढाणी रामकुमार से घड़सीसर की दूरी 18 किमी, ढाणी चत्रसाल सिंह की दूरी 14 किमी और ढाणी बालूराम की दूरी 14 किमी पड़ती है. यह सब राजनैतिक द्वेषता के चलते किया गया है. सरकार की ओर से किए गए परिसीमन से पनपालिया गांव के लोग परेशान होंगे, जिसको लेकर ग्रामीणों में भारी रोष व्याप्त है.

ग्रामीणों ने बताया कि पहले जब यह प्रक्रिया चल रही थी, तब भी उपखण्ड अधिकारी, कलक्टर आदि को ज्ञापन दिए गए. फिर भी सुनवाई नहीं होने पर आक्रोशित ग्रामीणों को चुनाव बहिष्कार का निर्णय लेना पड़ा.

सरदारशहर (चूरू). दूसरी ग्राम पंचायत में जोडने के विरोध में पनपालिया गांव के लोगों ने पंचायत राज चुनाव का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है. साथ ही इसके विरोध में गांव की गुवाड़ में एकत्रित होकर विरोध जताया.

बता दें कि पनपालिया गांव पहले ग्राम पंचायत अड़सीसर से जुड़ा हुआ था, जो मात्र एक किमी पर स्थित है. अब परिसीमन के बाद अड़सीसर से हटाकर नई बनी ग्राम पंचायत घड़सीसर में जोड़ दिया गया है. जो गांव से 11 किमी दूर पड़ता है. ग्रामीणों को पहले अड़सीसर जाना पड़ेगा, फिर वहां से घड़सीसर जाना पड़ेगा.

ग्रामीणों ने लिया पंचायत चुनाव के बहिष्कार का निर्णय

ग्रामीणों ने बताया कि पनपालिया गांव वर्षों से अड़सीसर के साथ जुड़ा हुआ था. अब 11 किमी दूर घड़सीसर से जोड़कर ग्रामीणों के साथ अन्याय किया है. जब तक यह गांव वापस अड़सीसर से नहीं जोड़ा जाएगा, तब तक सभी चुनावों का बहिष्कार किया जाएगा. इस गांव में तीन वार्ड हैं, एक बार तीनों वार्ड में नामांकन किया गया, फिर ग्रामीणों ने चुनाव बहिष्कार के बाद पर्चे उठा लिए. जिसके कारण अब इन वार्डों में चुनाव नहीं होंगे और एक भी ग्रामीण वोट देने के लिए घड़सीसर नहीं जाएगा.

पढ़ें: डूंगरपुर पंचायत चुनाव में बवाल, उपद्रवियों ने दो जीप और एक बाइक को किया आग के हवाले

ग्रामीणों ने बताया कि पनपालिया क्षेत्र में राज्य सरकार से मान्यता प्राप्त तीन ढाणियां हैं. जिनकी दूरी भी अधिक है. ढाणी रामकुमार से घड़सीसर की दूरी 18 किमी, ढाणी चत्रसाल सिंह की दूरी 14 किमी और ढाणी बालूराम की दूरी 14 किमी पड़ती है. यह सब राजनैतिक द्वेषता के चलते किया गया है. सरकार की ओर से किए गए परिसीमन से पनपालिया गांव के लोग परेशान होंगे, जिसको लेकर ग्रामीणों में भारी रोष व्याप्त है.

ग्रामीणों ने बताया कि पहले जब यह प्रक्रिया चल रही थी, तब भी उपखण्ड अधिकारी, कलक्टर आदि को ज्ञापन दिए गए. फिर भी सुनवाई नहीं होने पर आक्रोशित ग्रामीणों को चुनाव बहिष्कार का निर्णय लेना पड़ा.

Intro:सरदारशहर. दूसरी ग्राम पंचायत में जोडऩे के विरोध में पनपालिया गांव के लोगों ने पंचायत राज चुनाव का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है तथा इसके विरोध में गांव की गुवाड़ में एकत्रित होकर विरोध जताया। पनपालिया गांव पहले ग्राम पंचायत अड़सीसर से जुड़ा हुआ था। जो मात्र एक किमी पर स्थित है। अब परिसीमन के बाद अड़सीसर से हटाकर नई बनी ग्राम पंचायत घड़सीसर में जोड़ दिया गया। जो गांव से 11 किमी दूर पड़ता है। ग्रामीणों को पहले अड़सीसर जाना पड़ेगा फिर वहां से घड़सीसर जाना पड़ेगा। ग्रामीणों ने बताया कि पनपालिया गांव वर्षो से अड़सीसर के साथ जुड़ा हुआ था। अब 11 किमी दूर घड़सीसर से जोड़कर ग्रामीणों के साथ अन्याय किया है। जब इस गांव में अड़सीसर से नहीं जोड़ा जाएगा तब तक सभी चुनावों का बहिष्कार किया जाएगा। इस गांव में तीन वार्ड है। एक बार तीनों वार्ड में नामांकन किया गया फिर ग्रामीणों ने चुनाव बहिष्कार के बाद पर्चे उठा लिए गए। जिसके कारण अब इन वार्डो में चुनाव नहीं होंगे तथा एक भी ग्रामीण वोट देने के लिए घड़सीसर नहीं जाएगा। ग्रामीणों ने बताया कि पनपालिया क्षेत्र में राज्य सरकार से मान्यता प्राप्त तीन ढाणिया है। जिनकी दूरी भी अधिक है। ढाणी रामकुमार से घड़सीसर की दूरी 18 किमी, ढाणी चत्रसालसिंह की दूरी 14 किमी व ढाणी बालूराम की दूरी 14 किमी पड़ती है। यह सब राजनैतिक द्वेषता के चलते किया गया है। सरकार की ओरसे किए गए परिसीमन से पनपालिया गांव के लोग परेशान होगे। जिसको लेकर ग्रामीणों में भारी रोष व्याप्त है। ग्रामीणों ने बताया कि पहले जब यह प्रक्रिया चल रही थी तब भी उपखण्ड अधिकारी, कलक्टर आदि को ज्ञापन दिए गए फिर भी सुनवाई नहीं होने पर आक्रोशित ग्रामीणों को चुनाव बहिष्कार का निर्णय लेना पड़ा। Body:इस अवसर पर भींवदास, कुंभसिंह, माधोसिंह, दुलाराम कालेर, बीजदास, किशनाराम न्यौल, मालाराम मेघवाल, रतनसिंह, गोपालदास, ओमदास, धनदास, प्रभुसिंह पुरोहित, समुन्द्रसिंह, श्रवणदास, मघाराम सुथार, जगदीशप्रसाद प्रजापत, जैसाराम नाई, उदाराम सारण, प्रमेश्वरराम गोदारा, करणीसिंह, निरंजनसिंह, पूर्णसिंह, भवानीसिंह, हरूराम सारण, फुसाराम कालेरा, बंशीधर सुथार, श्रीचन्द मेहला, रूपाराम, संपतसिंह, चुनीलाल सुथार, रेवन्तराम नाइ्र, रामुराम सांसी सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण उपस्थित थे।Conclusion:बाईट- 1 से 4 पनपालिया गांव के लोग
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