रतनगढ़ (चूरू ). अमूमन नव दम्पत्ति शादी करते वक्त एक-दूसरे का साथ निभाने के लिए सात फेरे लेते हैं, लेकिन बीरमसर गांव में लोग एक ऐसी अनोखी शादी के साक्षी बने, जहां वर-वधु ने आठ फेरे लिए. यह आठवां फेरा उन्होंने पर्यावरण की सुरक्षा करने के लिए लिया. इस अनोखी शादी में लड़की पक्ष ने शादी की रश्मों में पौधों और पर्यावरण संरक्षण को प्राथमिकता दी. साथ ही बारातियों को भी पौधे सौंपकर लड़की की विदाई की गई और नव वर-वधु ने पर्यावरण संरक्षण का संकल्प लिया.
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जानकारी अनुसार बीरमसर निवासी चेतन सैनी की पुत्री डिम्पल की शादी चूरू निवासी जगदीश सैनी के पुत्र मुकेश सैनी के साथ हुई. मंच पर वर-वधु ने एक दूसरे को वरमाला पहनाने के साथ ही एक दूसरे को पौधे भेंट कर पर्यावरण संरक्षण का संदेश दिया. समर्पण संस्थान के अध्यक्ष विरेन्द्र सैन ने बताया कि पिछले पांच साल से संस्थान ने क्षेत्र में पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए कार्य कर रही हैं और आगे भी करते रहेंगे.