ETV Bharat / state

खरीफ फसल खोलेगी किसानों की किस्मत, रिकॉर्ड बुवाई से बंपर पैदावार की उम्मीद - खरीफ फसल खोलेगी किसानों की किस्मत

खरीफ की फसलें चित्तौड़गढ़ के किसानों के लिए इस बार वरदान साबित हुई है. किसानों ने खरीफ की फसलों के लिए रिकॉर्ड बुवाई की है जिससे बंपर पैदावार की उम्मीद है.

Record crops sowing in monsoon rains
खरीफ की फसल
author img

By

Published : Aug 26, 2022, 5:17 PM IST

चित्तौड़गढ़. इस मानसून में खरीफ की फसलें किसानों के लिए वरदान साबित हो सकती हैं. समय-समय पर बारिश होने के साथ फसलों में कोई रोग भी नहीं लगा. ऐसे में खरीफ फसल की बंपर पैदावार की उम्मीद जताई जा रही है. इस बार किसानों की ओर से रिकॉर्ड बुवाई की गई थी. इसमें सर्वाधिक मक्का रहा जबकि सोयाबीन की ओर भी किसानों (Kharif crop record sowing) का रुझान बढ़ा है. अब तक औसतन 95 प्रतिशत बारिश हो चुकी है. इससे किसानों को बड़े लाभ की (Kharif crops will give benefit to the farmers) उम्मीद है.

कृषि विभाग का मानना है कि खरीफ फसलों की न केवल रिकॉर्ड बुवाई की गई, बल्कि बंपर पैदावार होने की उम्मीद है. चित्तौड़गढ़ जिले में औसत बारिश 750 एमएम मानी गई है, जबकि अब तक लगभग 726 एमएम तक आंकड़ा पहुंच चुका है और गंभीरी, घोसुंडा, मातृकुंडिया, औराई सहित 20 से अधिक प्रमुख बांध और तालाब बारिश से लबालब हो गए हैं. वहीं, आधा दर्जन जल स्त्रोतों को छोड़कर अधिकांश में पानी का स्तर बढ़ा है. समय-समय पर बारिश का नतीजा रहा कि खरीफ की फसलें खेतों में लहलहा रही है. अब तक कोई बड़ा रोग भी नहीं आया, ऐसे में फसलों के पकने के समय बारिश हो जाए तो मक्का से लेकर सोयाबीन और दलहनी फसलों के साथ तिलहन की बंपर पैदावार की संभावना है.

कृषि उपनिदेशक शिवराम जांगिड़ का बयान

पढ़ें: हाड़ौती में दो लाख हेक्टेयर से ज्यादा फसल बाढ़ में खराब, झालावाड़ सबसे ज्यादा प्रभावित

रिकॉर्ड तोड़ मक्का, सोयाबीन की बुवाई: कृषि विभाग के आंकड़े बताते हैं कि चित्तौड़गढ़ जिले को 324000 सेक्टर सत्र में बुवाई का लक्ष्य मिला था. जिसके मुकाबले 334210 हेक्टेयर क्षेत्र में बुवाई की गई, जो कि लक्ष्य से 3.15 फीसदी अधिक है. सबसे अधिक मक्का की 155000 हेक्टेयर में बुवाई की गई. जबकि लक्ष्य 141000 का था. लक्ष्य के मुकाबले 9 प्रतिशत अधिक मक्का की बुवाई की गई. इसी प्रकार मूंगफली का लक्ष्य 70000 का था जबकि 28000 में की गई.

इसी प्रकार सोयाबीन 94500 हेक्टेयर में बोया गया. जबकि लक्ष्य 88 हजार हेक्टेयर का था. सोयाबीन की भी बुवाई इस साल 9 फीसद ज्यादा की गई. गन्ना, कपास, गवार और तिलहन की भी खासी बुवाई की गई. कृषि उपनिदेशक शिवराम जांगिड़ के अनुसार लगातार बारिश हो रही है. अब तक औसत की 95 फीसदी से अधिक बारिश हो चुकी है. जबकि किसानों ने लक्ष्य के मुकाबले 3 फीसदी अधिक खरीफ फसलों की बुवाई की है. वहीं फसलों में अब तक कोई बड़ा रोग भी नहीं देखा गया है. इसे देखते हुए इस बार बंपर पैदावार की उम्मीद है और निश्चित ही किसानों की आमदनी बढ़कर सामने आएगी.

चित्तौड़गढ़. इस मानसून में खरीफ की फसलें किसानों के लिए वरदान साबित हो सकती हैं. समय-समय पर बारिश होने के साथ फसलों में कोई रोग भी नहीं लगा. ऐसे में खरीफ फसल की बंपर पैदावार की उम्मीद जताई जा रही है. इस बार किसानों की ओर से रिकॉर्ड बुवाई की गई थी. इसमें सर्वाधिक मक्का रहा जबकि सोयाबीन की ओर भी किसानों (Kharif crop record sowing) का रुझान बढ़ा है. अब तक औसतन 95 प्रतिशत बारिश हो चुकी है. इससे किसानों को बड़े लाभ की (Kharif crops will give benefit to the farmers) उम्मीद है.

कृषि विभाग का मानना है कि खरीफ फसलों की न केवल रिकॉर्ड बुवाई की गई, बल्कि बंपर पैदावार होने की उम्मीद है. चित्तौड़गढ़ जिले में औसत बारिश 750 एमएम मानी गई है, जबकि अब तक लगभग 726 एमएम तक आंकड़ा पहुंच चुका है और गंभीरी, घोसुंडा, मातृकुंडिया, औराई सहित 20 से अधिक प्रमुख बांध और तालाब बारिश से लबालब हो गए हैं. वहीं, आधा दर्जन जल स्त्रोतों को छोड़कर अधिकांश में पानी का स्तर बढ़ा है. समय-समय पर बारिश का नतीजा रहा कि खरीफ की फसलें खेतों में लहलहा रही है. अब तक कोई बड़ा रोग भी नहीं आया, ऐसे में फसलों के पकने के समय बारिश हो जाए तो मक्का से लेकर सोयाबीन और दलहनी फसलों के साथ तिलहन की बंपर पैदावार की संभावना है.

कृषि उपनिदेशक शिवराम जांगिड़ का बयान

पढ़ें: हाड़ौती में दो लाख हेक्टेयर से ज्यादा फसल बाढ़ में खराब, झालावाड़ सबसे ज्यादा प्रभावित

रिकॉर्ड तोड़ मक्का, सोयाबीन की बुवाई: कृषि विभाग के आंकड़े बताते हैं कि चित्तौड़गढ़ जिले को 324000 सेक्टर सत्र में बुवाई का लक्ष्य मिला था. जिसके मुकाबले 334210 हेक्टेयर क्षेत्र में बुवाई की गई, जो कि लक्ष्य से 3.15 फीसदी अधिक है. सबसे अधिक मक्का की 155000 हेक्टेयर में बुवाई की गई. जबकि लक्ष्य 141000 का था. लक्ष्य के मुकाबले 9 प्रतिशत अधिक मक्का की बुवाई की गई. इसी प्रकार मूंगफली का लक्ष्य 70000 का था जबकि 28000 में की गई.

इसी प्रकार सोयाबीन 94500 हेक्टेयर में बोया गया. जबकि लक्ष्य 88 हजार हेक्टेयर का था. सोयाबीन की भी बुवाई इस साल 9 फीसद ज्यादा की गई. गन्ना, कपास, गवार और तिलहन की भी खासी बुवाई की गई. कृषि उपनिदेशक शिवराम जांगिड़ के अनुसार लगातार बारिश हो रही है. अब तक औसत की 95 फीसदी से अधिक बारिश हो चुकी है. जबकि किसानों ने लक्ष्य के मुकाबले 3 फीसदी अधिक खरीफ फसलों की बुवाई की है. वहीं फसलों में अब तक कोई बड़ा रोग भी नहीं देखा गया है. इसे देखते हुए इस बार बंपर पैदावार की उम्मीद है और निश्चित ही किसानों की आमदनी बढ़कर सामने आएगी.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.