चित्तौड़गढ़. कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते पूरे देश में लॉक डाउन की स्थिति है और लोगों के आने-जाने और बाहर निकलने पर रोक लगी हुई है. इन परिस्थितियों में जेल विभाग भी सख्ती से कहां पीछे रह पाता.
जयपुर मुख्यालय के निर्देशानुसार चित्तौड़गढ़ जिला कारागृह में पूरी तरह से सख्ती बरती गई है और बंदियों की पेशी भी वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए करवाई जा रही है. ऐसे में बंदी जेल से बाहर नहीं लाए जा रहे. साथ ही जो नए बंदी आ रहे हैं उनको भी विशेष जांच के बाद अन्य बंदियों के साथ रखा जा रहा है. जिससे की जेल में कोरोना वायरस नहीं फैले.
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जानकारी के अनुसार कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते पूरे देश में लोगों को घरों में रहने के निर्देश दिए हैं. इससे की संक्रमण को फैलने से रोका जा सके. जेल ऐसा स्थान है जहां पर एक संक्रमित पहुंचता है तो उस परिसर में बंद सभी बंदियों में कोरोना वायरस फैलने की संभावना बढ़ जाती है, लेकिन राज्य सरकार के आदेश के बाद जेल विभाग भी हरकत में आया हुआ है और पूरी तरह से सख्ती बरत रहा है.
वहीं, करीब 10 दिन पूर्व ही बंदियों की परिजनों से मुलाकात पर रोक लगा दी गई थी. साथ ही जेल में आने वाले नए बंदी के हाथ बाहर साबुन और सेनिटाइजर से धुलवाए जाते हैं. और मेडिकल जांच होने के बाद 3 दिन तक उसे अलग बैरक में रखा जाता है. इसके बाद पुनः मेडिकल जांच करवाने पर चिकित्सा विभाग की सलाह पर ही उस बंदी को अन्य बंदियों के साथ शिफ्ट करने के निर्देश हैं.
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इसके अलावा बंदियों को पेशी जरूरी मामला होने पर ही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पूरी की जा रही है. इसके लिए जेल परिसर में अलग से वीडियो काॉन्फ्रेंसिंग रूम बना हुआ है. चित्तौड़गढ़ जिला जेल में अब तक करीब 51 बंदियों की पेशी ऑनलाइन वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हो चुकी है. जिससे बंदी जेल से बाहर नहीं जाए और संक्रमित होकर नहीं लौटे. जेल उप अधीक्षक डुलेसिंह ने बताया कि जेल विभाग के निर्देशों के अनुसार चित्तौड़गढ़ जिला जेल में सभी इंतजाम पूरे किए जा रहे हैं.