भीलवाड़ा. बहन और भाई के अटूट प्रेम का प्रतीक माने जाने वाला रक्षाबंधन का त्योहार बाजार में रौनक ले आया है. शहर के तमाम बाजार राखियों से सज गए हैं और बाजारों में महिलाओं व युवतियों की खासी भारी भीड़ नजर आई. इस बार बहनों ने चाइनीज राखियों से दूरी बना पारंपरिक राखियों को अपनाया (Women boycott Chinese rakhis in Bhilwara) है.
शहर सहित जिलेभर में गुरुवार को रक्षाबंधन का पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया जाएगा. भाई-बहन के अटूट बंधन के इस पवित्र पर्व को लेकर शहर में उत्साह चरम पर दिखाई दे रहा है. बाजार में राखियां खरीदने के लिए महिला और युवतियों की भीड़ उमड़ रही है. शहर के आजाद चौक, नेता जी मार्केट, बाजार नं 2, सराफा बाजार सहित अन्य सभी बाजारों में भी रौनक दिखाई दे रही है. गुरुवार को शुभ मुहूर्त में बहनें अपने भाई की कलाई पर राखी बांधकर उनकी लंबी उम्र के लिए कामना करेंगी. भाई भी बदले में अपनी बहन को उपहार दे उनकी रक्षा करने का वचन देंगे.
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राखी खरीदने आई एक महिला ने कहा कि राखी भाई-बहन के अटूट रिश्ते का प्रतीक है. हम अपने भाई के राखी बांध कर उनकी लंबी उम्र और सुख, शांति, समृद्धि की कामना करेंगे. इस त्योहार का हम पूरे साल इंतजार करते हैं. आज हम भाई के लिए राखी लेने आए हैं. हमने चाइनीज राखियों का विरोध भी किया है. हम चाइनीज राखियां ना खरीद कर साधारण लच्छे की राखी ले रहे हैं. दुकानदारों ने फैशनेबल राखियों से अपनी दुकानें सजाई हैं. दुकानों पर कूंदी, चांदी, रुद्राक्ष से लेकर अन्य कई वैरायटियों की राखी की मांग अधिक देखी जा रही है. बाजारों में 10 से लेकर 500 रुपए तक की राखियां मिल रही हैं.