बाड़मेर. दिल्ली में हुई बैठक में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच हुई सुलह से कांग्रेस को बड़ी राहत मिलती नजर आ रही है. ऐसा इसलिए क्योंकि गहलोत-पायलट गुट के नेताओं के बीच भले ही आंतरिक रूप से एकजुटता नहीं हो, लेकिन सार्वजनिक रूप से एकजुटता देखने को मिल रही है. गहलोत के बाड़मेर प्रवास के दौरान कांग्रेस के नेताओं ने एकजुटता का संदेश दिया. पायलट गुट के कैबिनेट मंत्री हेमाराम चौधरी और ओबीसी आरक्षण के मामले को लेकर गहलोत से नाराज माने जा रहे विधायक हरीश चौधरी भी मुख्यमंत्री के साथ नजर आए.
पायलट और गहलोत के बीच सुलह का असरः प्रदेश में इसी साल विधानसभा चुनाव होने हैं और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का बाड़मेर दौरा अपने आप में खास माना जा रहा है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के दौरे को लेकर दोनों गुट के नेता एकजुट नजर आए. बाड़मेर दौरे पर पहुंचे मुख्यमंत्री ने सर्किट हाउस में कांग्रेस विधायकों एवं वरिष्ठ नेताओं के साथ बैठक कर मंथन किया औश्र फीडबैक लिया. बताया जा रहा है कि बैठक में सबको एकजुटता के साथ आगामी विधानसभा चुनाव लड़ने का संदेश दिया गया.
ये रहे बैठक में शामिलः गहलोत ने कैबिनेट मंत्री हेमाराम चौधरी, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं विधायक अमीन खान, पंजाब कांग्रेस प्रभारी एवं विधायक हरीश चौधरी, विधायक मेवाराम जैन, विधायक मदन प्रजापत, विधायक पदमाराम मेघवाल, जिला प्रमुख महेंद्र चौधरी, कांग्रेस नेता कर्नल मानवेंद्र सिंह जसोल, पूर्व मंत्री गफूर अहमद समेत तमाम कांग्रेस के नेताओं के साथ बैठे करके विभिन्न मुद्दों पर मंथन किया. हरीश चौधरी ने ट्विटर पर एक तस्वीर शेयर की है, जिसमें मुख्यमंत्री के साथ कांग्रेस के विधायक एवं कई नेता बैठे नजर आ रहे हैं.