बाड़मेर. राजस्थान इन दिनों चर्चा का केंद्र बना हुआ है. क्योंकि तीन ऐसी घटनाएं प्रदेश में देखने को मिली, जिन्होंने बर्बरता की सारी हदें पार कर दी. नागौर, बाड़मेर के बाद जैसलमेर में मारपीट की घटना के वीडियो में बर्बरता की सारी हदें पार हो गई. वहीं, बाड़मेर में अल्पसंख्यक युवक के साथ हुई मारपीट के वायरल वीडियो मामले से जुड़ी हर खबर को ईटीवी भारत ने लगातार प्रमुखता से दिखाया. ऐसे में सोमवार को इस पूरे मामले को लेकर पुलिस अधीक्षक शरद चौधरीे मीडिया से रूबरू हुए और इस मामले में पुलिस द्वारा की गई अब तक की कार्रवाई को विस्तार से बताया.
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उन्होंने बताया कि पीड़ित जो कि पहले पुलिस या मीडिया किसी के सामने नहीं आया था उसको पुलिस ने मांगलियावास से लेकर आई थी. तत्पश्चात पीड़ित के बयानों की वीडियोग्राफी कराई गई थी. उसके अगले दिन पीड़ित के शरीर के अंगों की सोनोग्राफी करवा गई थी. जिसकी रिपोर्ट भी आ चुकी है अब तक इस पूरे मामले में चार अभियुक्त गिरफ्तार किए गए हैं और अनुसंधान में अगर और भी कोई अभियुक्त बनता है तो उसकी भी गिरफ्तारी की जाएगी.
पुलिस अधीक्षक ने बताया कि पीड़ित द्वारा मुख्य आरोपी मोती सिंह के यहां खेताराम नाम का एक नौकर है जो उस होटल पर काम करता है, उसके मोबाइल चुराने की बात को लेकर सारा का घटनाक्रम प्रारंभ होता है. उसके बाद मारपीट का वीडियो वायरल हुआ. पीड़ित के भाई ने 20 तारीख को यह प्रकरण सुबह 7.30 बजे दर्ज कराया. उसी रात मुख्य अभियुक्त समेत एक अन्य को गिरफ्तार किया गया. 12 घंटे के अंदर पुलिस ने 2 लोगों को गिरफ्तार किया. 24 घंटे के अंदर तीसरे अभियुक्त की गिरफ्तारी की गई और 2 दिन बाद चौथे अभियुक्त की गिरफ्तारी की गई, जो कि नामजद नहीं था. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि अगर अनुसंधान में और भी कोई अभियुक्त बनता है तो उसे भी गिरफ्तार किया जाएगा.