ETV Bharat / state

बांसवाड़ा में भाजपा की हार का कारण राज्य सरकार की ओर से कराया गया परिसीमन रहाः ओम पालीवाल

बांसवाड़ा नगर परिषद चुनाव परिणाम आने के 3 दिन बाद भी भाजपा हार के सदमे से उबर नहीं पाई है. बांसवाड़ा से सभापति पद के उम्मीदवार ओम पालीवाल ने कहा कि टिकट वितरण में कुछ हद तक गलती हो सकती है. लेकिन हार का सबसे बड़ा कारण परिसीमन और कृति पूर्ण मतदाता सूचियां रही.

author img

By

Published : Nov 22, 2019, 4:54 PM IST

भाजपा की हार पर बोले पालीवाल, Paliwal said on BJP defeat

बांसवाड़ा. नगर परिषद चुनाव परिणाम आने के 3 दिन बाद भी भाजपा हार के सदमे से उबर नहीं पाई है. हालांकि पार्टी की ओर से फिलहाल हार के कारणों की तलाश के लिए कोई कमेटी गठित नहीं की गई है. लेकिन हार का कारण राज्य सरकार की ओर से कराए गए परिसीमन और त्रुटिपूर्ण मतदाता सूचियों के माथे मढ़ा जा रहा है.

बांसवाड़ा नगर परिषद चुनाव में भाजपा की हार पर बोले ओम पालीवाल

बता दें कि बांसवाड़ा नगर परिषद के 60 वार्डों में से भाजपा 21 सीटों पर ही सिमट कर रह गई. वहीं, कांग्रेस बहुमत के आंकड़े को पार करते हुए 36 वार्ड तक पहुंच गई, जबकि पार्टी को 30 वार्ड पार कर जाने की उम्मीद थी. नगर परिषद चुनाव का परिणाम आने के बाद से भाजपा नेता अपने-अपने स्तर पर हार के कारणों पर मंथन कर रहे हैं. पार्टी का स्पष्ट मानना है कि टिकट वितरण में भी गलतियां हुई है. लेकिन सबसे बड़े कारण के रूप में राज्य सरकार की ओर से चुनाव से पहले कराए गए वार्ड परिसीमन और उसके आधार पर वार्ड की नई सूचियां तैयार करवाया माना जा रहा है.

पढ़ें- पाली में चेयरमैन उम्मीदवारों के नामांकन के बाद कांग्रेस-भाजपा में भीतरघात का खतरा बढ़ा

बांसवाड़ा में 45 वार्ड थे जिन्हें वार्ड परिसीमन के बाद बढ़ाकर 60 कर दिया गया. इन 15 वार्डों में अन्य वार्डों का जो बंटवारा किया गया, वह भाजपा की उम्मीदों को झटका दे गया. भाजपा के गढ़ माने जाने वाले वार्डों को तोड़कर कांग्रेस के प्रभाव वाले इलाकों में सम्मिलित कर दिया गया, जिससे भाजपा का प्रभाव काफी हद तक घट गया. परिसीमन के अनुसार मतदाता सूचियां संशोधित की गई जो मतदान तक आधी अधूरी ही रही.

भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष और सभापति पद के उम्मीदवार ओम पालीवाल ने कहा कि टिकट वितरण में कुछ हद तक गलती हो सकती है. लेकिन सबसे बड़ा कारण परिसीमन और कृति पूर्ण मतदाता सूचियां रही. उन्होंने कहा कि लोग अलग-अलग वार्डों के कारण वोट देने तक नहीं पहुंचे.

पढ़ें: भाजपा नेता का Etv Bharat पर बयान- अजमेर में तीनों जगह बनेगा बीजेपी का बोर्ड, पार्षदों की हुई है बाड़ाबंदी

पालीवाल ने कहा कि हालांकि पार्टी ने सभापति का चेहरा घोषित नहीं किया था, लेकिन सब उनके नाम पर सहमत थे और उसी के अनुरूप काम कर रहे थे. फिलहाल, पार्टी सभापति और उपसभापति के चुनाव की तैयारियों में जुटी है. उसके बाद ही भाजपा की ओर से हार के कारणों की पड़ताल संभव है.

बांसवाड़ा. नगर परिषद चुनाव परिणाम आने के 3 दिन बाद भी भाजपा हार के सदमे से उबर नहीं पाई है. हालांकि पार्टी की ओर से फिलहाल हार के कारणों की तलाश के लिए कोई कमेटी गठित नहीं की गई है. लेकिन हार का कारण राज्य सरकार की ओर से कराए गए परिसीमन और त्रुटिपूर्ण मतदाता सूचियों के माथे मढ़ा जा रहा है.

बांसवाड़ा नगर परिषद चुनाव में भाजपा की हार पर बोले ओम पालीवाल

बता दें कि बांसवाड़ा नगर परिषद के 60 वार्डों में से भाजपा 21 सीटों पर ही सिमट कर रह गई. वहीं, कांग्रेस बहुमत के आंकड़े को पार करते हुए 36 वार्ड तक पहुंच गई, जबकि पार्टी को 30 वार्ड पार कर जाने की उम्मीद थी. नगर परिषद चुनाव का परिणाम आने के बाद से भाजपा नेता अपने-अपने स्तर पर हार के कारणों पर मंथन कर रहे हैं. पार्टी का स्पष्ट मानना है कि टिकट वितरण में भी गलतियां हुई है. लेकिन सबसे बड़े कारण के रूप में राज्य सरकार की ओर से चुनाव से पहले कराए गए वार्ड परिसीमन और उसके आधार पर वार्ड की नई सूचियां तैयार करवाया माना जा रहा है.

पढ़ें- पाली में चेयरमैन उम्मीदवारों के नामांकन के बाद कांग्रेस-भाजपा में भीतरघात का खतरा बढ़ा

बांसवाड़ा में 45 वार्ड थे जिन्हें वार्ड परिसीमन के बाद बढ़ाकर 60 कर दिया गया. इन 15 वार्डों में अन्य वार्डों का जो बंटवारा किया गया, वह भाजपा की उम्मीदों को झटका दे गया. भाजपा के गढ़ माने जाने वाले वार्डों को तोड़कर कांग्रेस के प्रभाव वाले इलाकों में सम्मिलित कर दिया गया, जिससे भाजपा का प्रभाव काफी हद तक घट गया. परिसीमन के अनुसार मतदाता सूचियां संशोधित की गई जो मतदान तक आधी अधूरी ही रही.

भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष और सभापति पद के उम्मीदवार ओम पालीवाल ने कहा कि टिकट वितरण में कुछ हद तक गलती हो सकती है. लेकिन सबसे बड़ा कारण परिसीमन और कृति पूर्ण मतदाता सूचियां रही. उन्होंने कहा कि लोग अलग-अलग वार्डों के कारण वोट देने तक नहीं पहुंचे.

पढ़ें: भाजपा नेता का Etv Bharat पर बयान- अजमेर में तीनों जगह बनेगा बीजेपी का बोर्ड, पार्षदों की हुई है बाड़ाबंदी

पालीवाल ने कहा कि हालांकि पार्टी ने सभापति का चेहरा घोषित नहीं किया था, लेकिन सब उनके नाम पर सहमत थे और उसी के अनुरूप काम कर रहे थे. फिलहाल, पार्टी सभापति और उपसभापति के चुनाव की तैयारियों में जुटी है. उसके बाद ही भाजपा की ओर से हार के कारणों की पड़ताल संभव है.

Intro:बांसवाड़ा। नगर परिषद चुनाव परिणाम आने के 3 दिन बाद भी भाजपा हार के सदमे से उबर नहीं पाई है। हालांकि पार्टी द्वारा फिलहाल हार के कारणों की तलाश के लिए कोई कमेटी गठित नहीं की गई है लेकिन मोटा मोटा हार का ठीकरा राज्य सरकार द्वारा कराए गए परिसीमन और त्रुटिपूर्ण मतदाता सूचियों के माथे मढा जा रहा है।


Body:नगर परिषद के 60 वार्डो में से पार्टी 21 सीटों पर ही सिमट कर रह गई वहीं कांग्रेस बहुमत के आंकड़े को क्रॉस करते हुए 36 वार्ड तक पहुंच गई जबकि पार्टी को 30 वार्ड पार कर जाने की उम्मीद थी। इन चुनाव परिणामों के आने के बाद से पार्टी नेता अपने अपने स्तर पर हार के कारणों पर मंथन कर रहे हैं। पार्टी का स्पष्ट मानना है कि टिकट वितरण में भी गलतियां हुई है लेकिन सबसे बड़े कारण के रूप में राज्य सरकार द्वारा चुनाव से पहले कराए गए वार्ड परिसीमन और उसके आधार पर वार्ड की नई सूचियां तैयार करवाया जाना आ रहा है। बांसवाड़ा में 45 वार्ड थे जिन्हें बढ़ाकर 60 कर दिया गया। इन 15 वार्डों में अन्य वार्डो का जो बंटवारा किया गया वह पार्टी की उम्मीदों को झटका दे गया। भाजपा के गढ़ माने जाने वाले वार्डों को तोड़कर टुकड़ों को कांग्रेस के प्रभाव वाले इलाकों में सम्मिलित कर दिया गया जिससे भाजपा का प्रभाव काफी हद तक घट गया। परिसीमन के अनुसार मतदाता सूचियां संशोधित की गई जो मतदान तक आधी अधूरी ही रही।


Conclusion:हालत यह थी कि एक ही परिवार के मतदाताओं को तीन-तीन चार चार वाडो के चक्कर लगाने पड़े। शहर के सभी वार्डों में मतदाताओं को इस समस्या का सामना करना पड़ा। भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष और सभापति पद के उम्मीदवार ओम पालीवाल ने माना कि टिकट वितरण में कुछ हद तक गलती हो सकती है लेकिन सबसे बड़ा कारण परिसीमन और कृति पूर्ण मतदाता सूचियां रही। लोग अलग-अलग वार्डो के कारण वोट देने तक नहीं पहुंचे। एक सवाल के जवाब में पालीवाल ने कहा कि हालांकि पार्टी ने सभापति का चेहरा घोषित नहीं किया था लेकिन सब उनके नाम पर सहमत थे और उसी के अनुरूप काम कर रहे थे। हां इससे थोड़ा बहुत जरूर नुकसान हो सकता है। फिलहाल पार्टी सभापति और उपसभापति के चुनाव की तैयारियों में जुटी है। उसके बाद ही पार्टी द्वारा हार के कारणों की पड़ताल संभव है।

बाइट...... ओम पालीवाल भाजपा नेता
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.