बांसवाड़ा. जिले में 9 हजार की रिश्वत के साथ गिरफ्तार किए गए डॉक्टर और उसके साथी को एंटी करप्शन ब्यूरो द्वारा मंगलवार को ब्यूरो की विशेष कोर्ट में पेश किया गया. जहां से उन्हें न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया है. हालांकि ब्यूरो की ओर से गिरफ्तारी के तुरंत बाद दोनों ही आरोपियों के ठिकानों की तलाशी ली गई लेकिन वहां कुछ खास हासिल नहीं हुआ.
जानकारी के अनुसार ब्यूरो की बांसवाड़ा इकाई के प्रभारी अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक माधो सिंह सोढ़ा ने दोनों ही आरोपियों डॉ जसवंत मेघवाल और लैब टेक्नीशियन दिनेश चंद्र मीणा को मंगलवार को उदयपुर स्थित विशेष न्यायालय में पेश किया गया.
ब्यूरो की दलील को गंभीर मानते हुए कोट की ओर से उन्हें जेल भेजने के आदेश दिए गए है. अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सोढा के अनुसार कार्रवाई के बाद ब्यूरो टीम की ओर से आरोपियों के घर तलाशी ली गई. लेकिन कोई भी खास मामला सामने नहीं आया. इस पर दोनों को कोर्ट के आदेश पर जेल भेज दिया गया.
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बता दें कि भाजपा के जिला महामंत्री पूंजी लाल गायरी द्वारा ब्यूरो कार्यालय में शिकायत की गई थी कि बस्सी आडा स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी डॉ जसवंत मेघवाल द्वारा उनके सफाई ठेके के भुगतान के लिए प्रतिमाह साढे 4 हजार रुपये की दर से रिश्वत मांग रहे हैं.
2 महीने के भुगतान के पेटे संतोषजनक कार्य का प्रमाण पत्र बनाने की एवज में 9 हजार रुपये की रिश्वत मांग रहे हैं. ब्यूरो टीम द्वारा सोमवार को बस्सी आडा में जब कार्रवाई की गई, तो डॉक्टर ने फरियादी से अपने लैब टेक्नीशियन दिनेश चंद्र मीणा को रिश्वत की राशि दिलाई. इस पर ब्यूरो टीम ने दोनों को मौके से गिरफ्तार कर लिया और रिश्वत की राशि बरामद कर ली थी.